ETV Bharat / bharat

शांति समझौते पर हस्ताक्षर के लिए उल्फा प्रतिनिधिमंडल नई दिल्ली के लिए रवाना

author img

By PTI

Published : Dec 27, 2023, 9:04 PM IST

ULFA Pro Talk Delegation, signing of peace agreement in Assam, एक महत्वपूर्ण घटनाक्रम में, चार दशक लंबे उग्रवाद के मुद्दे को समाप्त करने के लिए यूनाइटेड लिबरेशन फ्रंट ऑफ असम (उल्फा), भारत सरकार और असम सरकार के बीच 29 दिसंबर को नई दिल्ली में एक त्रिपक्षीय समझौता होगा. इस बीच शांति समझौते पर हस्ताक्षर के लिए उल्फा के वार्ता समर्थक गुट की केंद्रीय समिति के साथ कार्य परिषद की 16 सदस्यीय टीम बुधवार तड़के दिल्ली के लिए रवाना हुई।

ULFA delegation
उल्फा प्रतिनिधिमंडल

गुवाहाटी: उल्फा का वार्ता समर्थक 16 सदस्यीय प्रतिनिधिमंडल इसके अध्यक्ष अरबिंद राजखोवा के नेतृत्व में 29 दिसंबर को केंद्र और राज्य सरकारों के साथ त्रिपक्षीय शांति समझौते पर प्रस्तावित हस्ताक्षर के लिए बुधवार को नई दिल्ली के लिए रवाना हुआ.

राजखोवा के अलावा, प्रतिनिधिमंडल के अन्य वरिष्ठ सदस्यों में संगठन के विदेश सचिव ससधर चौधरी, वित्त सचिव चित्रबन हजारिका, संस्कृति सचिव प्रणति डेका, डिप्टी कमांडर-इन-चीफ राजू बरुआ और अन्य शामिल हैं. संगठन के महासचिव अनूप चेतिया सोमवार से नई दिल्ली में डेरा डाले हुए हैं और उन्होंने मंगलवार को शांति वार्ताकार एके मिश्रा के साथ बातचीत की.

राजखोवा ने अपने प्रस्थान से पहले यहां लोकप्रिय गोपीनाथ बोरदोलोई अंतरराष्ट्रीय हवाई अड्डे पर संवाददाताओं से कहा कि वे 'आशावादी हैं कि समझौता असम के लोगों के हित में होगा और लंबित मुद्दे का समाधान होगा.'

केंद्रीय गृह मंत्रालय के अधिकारियों के बुधवार शाम को उल्फा नेताओं के साथ बातचीत करने की संभावना है. शांति समझौते पर 29 दिसंबर को केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह और असम के मुख्यमंत्री हिमंत विश्व शर्मा की उपस्थिति में हस्ताक्षर होने की संभावना है.

केंद्र ने इस साल अप्रैल में वार्ता समर्थक गुट को प्रस्तावित समझौते का मसौदा भेजा था. अगस्त में नयी दिल्ली में गुट के साथ चर्चा का एक और दौर आयोजित किया गया. अक्टूबर में, चेतिया ने कहा था कि उन्होंने मसौदा प्रस्तावों के संबंध में अपने सुझाव केंद्र को भेज दिए हैं. उल्फा का गठन 1979 में शिवसागर के रंग घर में हुआ था और 1990 में उस पर प्रतिबंध लगा दिया गया था जब उसने सरकार के खिलाफ सशस्त्र संघर्ष शुरू किया था.

संगठन 2011 में दो गुटों में विभाजित हो गया जब राजखोवा के नेतृत्व वाले वार्ता समर्थक गुट ने विदेश से राज्य लौटने और शांति वार्ता में भाग लेने का फैसला किया. वहीं, कमांडर परेश बरुआ के नेतृत्व वाला दूसरा समूह उल्फा (स्वतंत्र) तब तक वार्ता का विरोध कर रहा है जब तक संप्रभुता का खंड शामिल नहीं किया जाता.

गुवाहाटी: उल्फा का वार्ता समर्थक 16 सदस्यीय प्रतिनिधिमंडल इसके अध्यक्ष अरबिंद राजखोवा के नेतृत्व में 29 दिसंबर को केंद्र और राज्य सरकारों के साथ त्रिपक्षीय शांति समझौते पर प्रस्तावित हस्ताक्षर के लिए बुधवार को नई दिल्ली के लिए रवाना हुआ.

राजखोवा के अलावा, प्रतिनिधिमंडल के अन्य वरिष्ठ सदस्यों में संगठन के विदेश सचिव ससधर चौधरी, वित्त सचिव चित्रबन हजारिका, संस्कृति सचिव प्रणति डेका, डिप्टी कमांडर-इन-चीफ राजू बरुआ और अन्य शामिल हैं. संगठन के महासचिव अनूप चेतिया सोमवार से नई दिल्ली में डेरा डाले हुए हैं और उन्होंने मंगलवार को शांति वार्ताकार एके मिश्रा के साथ बातचीत की.

राजखोवा ने अपने प्रस्थान से पहले यहां लोकप्रिय गोपीनाथ बोरदोलोई अंतरराष्ट्रीय हवाई अड्डे पर संवाददाताओं से कहा कि वे 'आशावादी हैं कि समझौता असम के लोगों के हित में होगा और लंबित मुद्दे का समाधान होगा.'

केंद्रीय गृह मंत्रालय के अधिकारियों के बुधवार शाम को उल्फा नेताओं के साथ बातचीत करने की संभावना है. शांति समझौते पर 29 दिसंबर को केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह और असम के मुख्यमंत्री हिमंत विश्व शर्मा की उपस्थिति में हस्ताक्षर होने की संभावना है.

केंद्र ने इस साल अप्रैल में वार्ता समर्थक गुट को प्रस्तावित समझौते का मसौदा भेजा था. अगस्त में नयी दिल्ली में गुट के साथ चर्चा का एक और दौर आयोजित किया गया. अक्टूबर में, चेतिया ने कहा था कि उन्होंने मसौदा प्रस्तावों के संबंध में अपने सुझाव केंद्र को भेज दिए हैं. उल्फा का गठन 1979 में शिवसागर के रंग घर में हुआ था और 1990 में उस पर प्रतिबंध लगा दिया गया था जब उसने सरकार के खिलाफ सशस्त्र संघर्ष शुरू किया था.

संगठन 2011 में दो गुटों में विभाजित हो गया जब राजखोवा के नेतृत्व वाले वार्ता समर्थक गुट ने विदेश से राज्य लौटने और शांति वार्ता में भाग लेने का फैसला किया. वहीं, कमांडर परेश बरुआ के नेतृत्व वाला दूसरा समूह उल्फा (स्वतंत्र) तब तक वार्ता का विरोध कर रहा है जब तक संप्रभुता का खंड शामिल नहीं किया जाता.

ETV Bharat Logo

Copyright © 2024 Ushodaya Enterprises Pvt. Ltd., All Rights Reserved.