नई दिल्ली : प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की सुरक्षा में चूक के मामले में गृह मंत्रालय की ओर से गठित तीन सदस्यीय टीम घटनास्थल पर पहुंच गयी है. और इस घटना की विस्तृत जांच शुरू कर दी है. वहीं इस मामले में फिरोजपुर के नजदीक थाना कुलगढ़ी में सौ से अधिक अज्ञात लोगों पर मामला पर दर्ज किया गया है.
गृह मंत्रालय की जांच टीम घटना स्थल पर पहुंची. गृह मंत्रालय की ओर से नियुक्त तीन सदस्यीय जांच दल पंजाब के उस जगह पर पहुंच गया है, जहां पर प्रधानमंत्री की सुरक्षा में चूक हुई थी. पीएम का काफिल इस जगह पर 20 मिनट तक फंसा रहा था.
गौरतलब है कि प्रधानमंत्री मोदी की सुरक्षा में चूक की जांच (pm modi security breach inquiry) करने के लिए गृह मंत्रालय ने जांच समिति का गठन किया है. गृह मंत्रालय की उच्चस्तरीय समिति पंजाब के फिरोजपुर में पीएम मोदी के काफिले को रोके जाने के कारणों की पड़ताल करेगी. गृह मंत्रालय की समिति का गठन घटना के एक दिन बाद किया गया है. पीएम मोदी को कुछ प्रदर्शनकारियों द्वारा सड़क अवरुद्ध किए जाने के कारण 20 मिनट तक फ्लाईओवर पर फंसे रहने के बाद पंजाब की अपनी यात्रा से वापस लौटना पड़ा था.
समिति में कौन- कौन शामिल हैं-
गृह मंत्रालय की तीन सदस्यीय समिति का नेतृत्व सुरक्षा सचिव सुधीर कुमार सक्सेना (Security Secretary Sudhir Kumar Saxena) करेंगे. सक्सेना कैबिनेट सचिवालय में पदस्थापित हैं. उनके अलावा इस समिति में इंटेलिजेंस ब्यूरो (आईबी) के संयुक्त निदेशक बलबीर सिंह (IB Joint Director Balbir Singh) और स्पेशल प्रोटेक्शन ग्रुप (एसपीजी) के महानिरीक्षक (आईजी) एस सुरेश (SPG IG S Suresh) भी शामिल होंगे.
गृह मंत्रालय ने एक बयान में कहा कि पांच जनवरी, 2022 को प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की पंजाब के फिरोजपुर की यात्रा (Narendra Modi Ferozepur visit) के दौरान सुरक्षा व्यवस्था में गंभीर चूक (PM serious security lapses) की जांच के लिए समिति का गठन किया है. फिरोजपुर में पीएम की सुरक्षा में चूक की घटना पर गृह मंत्रालय ने कहा, इस घटना से उजागर हुआ है कि वीवीआईपी गंभीर सुरक्षा जोखिम (VVIP exposure to grave security risk) का सामना कर रहे हैं.
पंजाब सरकार से इस मामले में सौंपी रिपोर्ट
जानकारी के मुताबिक पंजाब सरकार ने इस में अपनी जांच रिपोर्ट गृह मंत्रालय को सौप दी है. केंद्रीय गृह मंत्रालय ने राज्य सरकार को तत्काल रिपोर्ट दाखिल करने का निर्देश देते हुए कहा कि उसने आवश्यक तैनाती सुनिश्चित नहीं की, जबकि गृह मंत्री अमित शाह ने कहा कि प्रधानमंत्री की यात्रा के दौरान सुरक्षा प्रक्रिया में इस तरह की लापरवाही पूरी तरह से अस्वीकार्य है और जवाबदेही तय की जाएगी. पंजाब के मुख्यमंत्री चरणजीत सिंह चन्नी ने इस बात से इनकार किया कि घटना के पीछे कोई सुरक्षा चूक या राजनीतिक मकसद था और कहा कि उनकी सरकार जांच के लिए तैयार है.
बता दें कि पांच जनवरी को पंजाब में प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी का कार्यक्रम रद्द (PM punjab program cancelled) हो गया था. गृह मंत्रालय ने इसे पीएम की सुरक्षा में चूक (PM Security breach) बताया. बठिंडा एयरपोर्ट लौटने पर पीएम मोदी (Modi in Bhatinda) ने एयरपोर्ट अधिकारियों से कहा, अपने सीएम को थैंक्स कहना (apne cm ko thanks kehna) कि मैं जिंदा वापस लौट आया. पीएम का यह बयान समाचार एजेंसी एएनआई में आया था.
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इसके बाद प्रधानमंत्री मोदी के फिरोजपुर दौरे पर केंद्रीय मंत्री स्मृति ईरानी (pm modi ferozepur visit Smriti Irani) ने कहा कि पंजाब में कांग्रेस के खूनी इरादे नाकाम रहे. जो लोग कांग्रेस पार्टी में मोदी से घृणा करते हैं वो आज प्रधानमंत्री को, उनकी सुरक्षा को कैसे भंग किया जाए, इसके लिए प्रयासरत थे. दिल्ली भाजपा मुख्यालय में संवाददाता सम्मेलन के दौरान ईरानी ने पंजाब की कांग्रेस सरकार से सवाल किया कि जब सुरक्षाकर्मियों ने मुख्यमंत्री कार्यालय से संपर्क साधने की कोशिश की तो क्यों कोई संवाद नहीं किया गया?
पंजाब के मुख्यमंत्री चरनजीत सिंह चन्नी (Punjab Chief Minister Charanjit Singh Channi) ने पीएम की सुरक्षा में हुई चूक (PM's security lapse)मामले पर सफाई दी है. उन्होंने कहा कि पीएम की सुरक्षा को कोई खतरा नहीं था और किसी तरह की चूक नहीं की हुई है. वहीं पंजाब कांग्रेस के नेता सुनील जाखड़ (Punjab Congress leader Sunil Jakhar) ने कहा कि पीएम के दौरे पर जो भी हुआ वह पंजाबियत के खिलाफ है.