नई दिल्ली: नागरिक उड्डयन राज्य मंत्री वी के सिंह ने सोमवार राज्यसभा में कहा कि हाल की सुरक्षा संबंधी घटनाओं के बाद स्पाइसजेट को कारण बताओ नोटिस जारी करने में कोई देरी नहीं हुई है. नागरिक उड्डयन राज्य मंत्री वी के सिंह ने एक लिखित उत्तर में यह जानकारी दी. उन्होंने कहा, 'हाल के दिनों में रिपोर्ट की गई घटनाओं का विश्लेषण किया गया था और स्पाइसजेट लिमिटेड से स्पष्टीकरण मांगा गया था.'
यह पूछे जाने पर कि क्या स्पाइसजेट को डीजीसीए के नोटिस में उल्लेख किया गया है कि सितंबर 2021 के वित्तीय मूल्यांकन में पुर्जों की कमी थी. इसपर केंद्र ने जवाब दिया,' डीजीसीए नोटिस .. से पता चला है कि एयरलाइन 'कैश एंड कैरी' पर काम कर रही है और आपूर्तिकर्ता / अनुमोदित विक्रेता हैं जिसे नियमित आधार पर भुगतान नहीं किया जा रहा है जिससे पुर्जों की कमी हो रही है.' डीजीसीए की सुरक्षा निगरानी प्रक्रिया में क्रमिक अनुवर्ती कदमों की श्रृंखला शामिल है.
इसमें अन्य बातों के साथ-साथ सुधारात्मक कार्रवाई करने के लिए एयरलाइनों पर नजर रखी जाती हैं. एयरलाइनों द्वारा की गई सुधारात्मक कार्रवाई की समीक्षा भी होती है. इसमें शामिल व्यक्ति / एयरलाइन को वित्तीय दंड लगाने सहित चेतावनी, निलंबन, रद्द करने का अधिकार है.' सुरक्षा निरीक्षण प्रक्रिया एक सतत अभ्यास है. हाल ही में 9 जुलाई 2022 से 13 जुलाई 2022 तक स्पाइसजेट के सभी ऑपरेटिंग विमानों पर कई स्पॉट चेक की गई थी. 48 विमानों पर कुल 53 स्पॉट चेक किए गए थे.
इस दौरान कोई बड़ा महत्वपूर्ण सुरक्षा उल्लंघन नहीं पाया गया था. हालांकि, एक सुरक्षा उपाय के रूप में डीजीसीए ने स्पाइसजेट को डीजीसीए की पुष्टि करने के बाद ही संचालन के लिए कुछ पहचाने गए विमान (10) का उपयोग करने का आदेश दिया था. इसके तहत सभी दोषों / खराबी को ठीक कर करने के बाद ही संचालन की अनुमति का प्रावधान था.' केंद्र ने अपने लिखित जवाब में उन दावों को भी खारिज कर दिया कि एयरलाइंस के साथ हर दिन लगभग 30 सिस्टम विफलता से संबंधित सुरक्षा घटनाएं होती हैं.
गौरतलब है कि 5 जुलाई, 2022 को दिल्ली से दुबई के लिए उड़ान भरते समय स्पाइसजेट के एक विमान को कराची, पाकिस्तान में इमरजेंसी लैंडिंग करनी पड़ी थी, जिससे हंगामा मच गया था. इस पर विवरण प्रदान करते हुए, केंद्र ने एक अन्य उत्तर में कहा कि 'स्पाइसजेट बी 737-8 मैक्स विमान पंजीकरण वीटीएमएक्सजी के साथ, दिल्ली से दुबई के लिए उड़ान के दौरान, कॉकपिट चालक दल ने ईंधन असंतुलन चेतावनी मिलने के बाद असामान्य ईंधन प्रवाह देखा.
इस घटना के लिए नॉन नॉर्मल चेकलिस्ट (NNC) और ईंधन रिसाव के संदेह में विमान को कराची की ओर मोड़ने का फैसला किया. केबिन क्रू ने आपातकाल की घोषणा नहीं की.' बयान में आगे कहा गया, 'कराची में लैंडिंग के बाद की जांच और निरीक्षण में ईंधन रिसाव का खुलासा नहीं हुआ.' इसके अलावा, एक अन्य भारतीय उड़ान इंडिगो की शारजाह-हैदराबाद की उड़ान को 17 जुलाई को पायलट द्वारा तकनीकी गड़बड़ी की सूचना के बाद पाकिस्तान के कराची हवाई अड्डे की ओर मोड़ दिया गया था.
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पिछले 2 महीनों में एयरलाइनों द्वारा रिपोर्ट की गई तकनीकी गड़बड़ियों की एक लंबी श्रृंखला के बीच, देश में विमानन क्षेत्र एक वास्तविक कठिन चुनौती का सामना कर रहा है, जिससे यात्रियों और चालक दल के सदस्यों के जीवन को खतरे में डाल दिया गया. जबकि यह केवल एक मुद्दा नहीं है, क्योंकि यह कई बार बताया गया है कि विभिन्न एयरलाइनों के कई कर्मचारियों को समय पर भुगतान नहीं किया जा रहा है, जिससे उनमें अविश्वास और असंतोष की भावना पैदा हो रही है.