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विशाखापत्तनमः एएसपी के सामने 12 माओवादियों ने किया आत्मसमर्पण

भाकपा माओवादी पार्टी के पीपुल्स लिबरेशन गुरिल्ला आर्मी (पीएलजीए) सप्ताह के दौरान शनिवार को विशाखापत्तनम जिले के चिंतापल्ली इलाके में आंध्र प्रदेश पुलिस के समक्ष 12 सक्रिय नक्सलियों ने आत्मसमर्पण किया.

एएसपी के समक्ष 12 माओवादियों ने किया आत्मसमर्पण
एएसपी के समक्ष 12 माओवादियों ने किया आत्मसमर्पण
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Published : Dec 6, 2020, 2:32 PM IST

विशाखापत्तनम : चिंतापल्ली में सहायक पुलिस अधीक्षक (एएसपी) विद्या सागर नायडू के सामने 12 नक्सलियों ने आत्मसमर्पण किया है. ये सभी नक्सली गालिकोंडा क्षेत्र के पथरुडीगुंटा, पनासलबांडा, अकुलुरु और रामगड्डा के गांवों से थे.

माओवादियों के आत्मसमर्पण के बारे में जानकारी देते हुए, नायडू ने कहा, 'मिलिशिया सदस्य नक्सलियों के बर्बर कृत्यों से घबरा गए हैं, जो लोगों को मुखबिरों के तौर पर इस्तेमाल करने और केवल अटकलों के आधार पर उनकी हत्या कर देते हैं.'

एएसपी नायडू ने कहा कि नक्सल और सामान्य लोग विकास कार्यक्रमों के बारे में अधिक जागरूक हो गए हैं, कि उन्हें अपने क्षेत्र में हो रही नक्सल गतिविधियों के चलते परेशानियां हो रही हैं. इसके साथ ही वे पुलिस विभाग द्वारा किए जाने वाले नागरिक कार्रवाई कार्यक्रमों को भी देख रहे हैं.

पढ़ें : ओडिशा : सीआरपीएफ ने किया माओवादी शिविर का भंडाफोड़, हथियार बरामद

एएसपी ने आगे कहा कि मिलिशिया सदस्यों का कहना है कि माओवादी उन्हें अगवा कर रहे हैं और यह लोग विजाग एजेंसी इलाके में अपनी स्वेच्छा से नहीं, बल्कि मौत की धमकियों के कारण माओवादियों के लिए काम कर रहे हैं.

गांव माओवादियों के पारंपरिक गढ़ रहे हैं और उनके लिए यह महत्वपूर्ण क्रॉसिंग प्वाइंट्स हैं. फिर ऐसे क्षेत्रों से मिलिशिया सदस्यों का आत्मसमर्पण निश्चित रूप से चिंतापल्ली उपखंड में माओवादी पार्टी की कम होती ताकत का संकेत है.

विशाखापत्तनम : चिंतापल्ली में सहायक पुलिस अधीक्षक (एएसपी) विद्या सागर नायडू के सामने 12 नक्सलियों ने आत्मसमर्पण किया है. ये सभी नक्सली गालिकोंडा क्षेत्र के पथरुडीगुंटा, पनासलबांडा, अकुलुरु और रामगड्डा के गांवों से थे.

माओवादियों के आत्मसमर्पण के बारे में जानकारी देते हुए, नायडू ने कहा, 'मिलिशिया सदस्य नक्सलियों के बर्बर कृत्यों से घबरा गए हैं, जो लोगों को मुखबिरों के तौर पर इस्तेमाल करने और केवल अटकलों के आधार पर उनकी हत्या कर देते हैं.'

एएसपी नायडू ने कहा कि नक्सल और सामान्य लोग विकास कार्यक्रमों के बारे में अधिक जागरूक हो गए हैं, कि उन्हें अपने क्षेत्र में हो रही नक्सल गतिविधियों के चलते परेशानियां हो रही हैं. इसके साथ ही वे पुलिस विभाग द्वारा किए जाने वाले नागरिक कार्रवाई कार्यक्रमों को भी देख रहे हैं.

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एएसपी ने आगे कहा कि मिलिशिया सदस्यों का कहना है कि माओवादी उन्हें अगवा कर रहे हैं और यह लोग विजाग एजेंसी इलाके में अपनी स्वेच्छा से नहीं, बल्कि मौत की धमकियों के कारण माओवादियों के लिए काम कर रहे हैं.

गांव माओवादियों के पारंपरिक गढ़ रहे हैं और उनके लिए यह महत्वपूर्ण क्रॉसिंग प्वाइंट्स हैं. फिर ऐसे क्षेत्रों से मिलिशिया सदस्यों का आत्मसमर्पण निश्चित रूप से चिंतापल्ली उपखंड में माओवादी पार्टी की कम होती ताकत का संकेत है.

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