कवर्धा: तरेगांव थाना क्षेत्र के रपटा गांव में शनिवार को मामूली सी बात पर सनकी पति ने लाठी से पीट पीटकर पत्नी की हत्या कर दी. घटना को अंजाम देने के बाद आरोपी छत्तीसगढ़ छोड़कर भागने की फिराक में था. फरार होने से पहले आरोपी बैंक से पैसा निकालने पहुंचा था. लेकिन इसी दौरान पुलिस ने घेराबंदी कर आरोपी को गिरफ्तार कर लिया.
इस बात पर आया गुस्सा और कर दी हत्या: घटना कबीरधाम जिले के तरेगांव थाना क्षेत्र के रपटा गांव की है. यहां एक सनकी पति ने सो रही पत्नी को जगाकर तंबाकू मांगा. नींद में होने के चलते पत्नी ने तंबाकू लाने से मना कर दिया. इस छोटी सी बात पर आरोपी पति बुतराम बैगा को इतना गुस्सा आया कि पास में रखे लाठी से सो रही पत्नी के सिर पर ताबड़तोड़ वार कर दिया. इससे पत्नी बिराजो बाई की मौके पर ही मौत हो गई.
भागकर पहुंचा दामाद के घर: पत्नी को मौत के घाट उतारने के बाद आरोपी वहां से भागकर अपने दामाद के घर पहुंचा. घटना के बारे में बताकर वहां से भी फरार हो गया. इसके बाद ग्राम दलदली के बैंक से पैसा निकालने पहुंचा. पैसा निकालकर आरोपी छत्तीसगढ़ छोड़कर भागने की फिराक में था. इधर आरोपी के दामाद ने तरेगांव थाने में जाकर ससुर बुतराम बैगा के अपराध की जानकारी दी. पुलिस तत्काल हरकत में आई और आरोपी को दलदली गांव पहुंच कर गिरफ्तार कर लिया.
आरोपी ने हत्या की बताई ये वजह: आरोपी बुतराम बैगा ने पुलिस के सामने बयान दिया कि "वो पड़ोस के गांव केशमर्दा में अपने रिश्तेदार के घर शादी में गया हुआ था. शनिवार सुबह चार बजे वापस घर लौटा. इस दौरान पत्नी बिराजो बाई आंगन में सोई हुई थी. पत्नी को उठाकर तंबाकू लाने को कहा. लेकिन पत्नी नींद में थी और तंबाकू लाने से मना कर दिया. इससे इतना गुस्सा आया कि पास में रखे लाठी से सिर पर वार कर दिया, जिससे उसकी मौके पर ही मौत हो गई."
न्यायिक हिरासत में भेजा गया जेल: बोड़ला एसडीओपी जगदीश उईके ने बताया कि "घटना शनिवार सुबह चार बजे की है. पत्नी की हत्या करने के बाद आरोपी भागने की फिराक में था. उसके भागने से पहले ही दामाद को घटना की जानकारी दे दी थी. इसके बाद आरोपी बुतराम बैगा को दलदली गांव से गिरफ्तार कर लिया गया है. आरोपी को न्यायालय में पेश किया गया, जहां से उसे ज्युडीशियल रिमांड पर जेल भेज दिया गया."
पुलिस हत्या के पीछे नशे को ही कारण मान रही है. नशा न केवल स्वास्थ्य को खराब कर रहा, बल्कि रिश्तों का भी गला घोंट रहा है. शनिवार को रपटा गांव में हुई घटना इसकी बानगी भर है.