मुंबई: आईआईटी बॉम्बे के 18 वर्षीय छात्र दर्शन सोलंकी की आत्महत्या मामले की जांच चल रही है. दर्शन ने कथित तौर पर 12 फरवरी को अपने छात्रावास की सातवीं मंजिल से कूद कर अपनी जान दे दी थी. प्रारंभिक जांच में पुलिस ने इसे आत्महत्या का मामला बताया था. लेकिन परिजनों ने पुलिस की इस थ्योरी को मानने से इनकार कर दिया. वह लगातार दर्शन की हत्या का शक जाता रहे थे. सोमवार को इस मामले को मुंबई क्राइम ब्रांच की विशेष जांच दल (एसआईटी) को स्थानांतरित कर दिया गया. अब केस की जांच मुंबई क्राइम ब्रांच के संयुक्त पुलिस आयुक्त लखमी गौतम करेंगे. मुंबई पुलिस के मुताबिक पुलिस उपायुक्त (क्राइम ब्रांच) कृष्णकांत उपाध्याय और सहायक पुलिस आयुक्त जय प्रकाश भोसले भी टीम का हिस्सा रहेंगे.
आपको बता दें कि 18 वर्षीय छात्र दर्शन सोलंकी ने कथित तौर इसी महीने 12 फरवरी को अपने छात्रावास की 7वीं मंजिल से छलांग लगा दी थी. अब तक पुलिस इस मामले को एक्सीडेंटल डेथ मान रही थी. 13 फरवरी को दर्शन के परिवार ने दावा किया कि सोलंकी को IIT बॉम्बे में जातिगत भेदभाव का सामना करना पड़ रहा था. हालांकि, आईआईटी बॉम्बे ने एक बयान जारी कर उन खबरों का खंडन भी किया था. आईआईटी बॉम्बे ने लोगों से अनुरोध किया था कि इस तरह की अफवाह ना फैलाएं.
मुंबई पुलिस का कहना है कि सोलंकी के परिवार ने जाति आधारित उत्पीड़न का आरोप लगाया है. उनका कहना है कि दर्शन सोलंकी की मौत के पीछे की वजह कुछ और है. परिवार ने मामले की जांच एसआईटी से कराने की मांग की थी. तब पुलिस ने बयान जारी कर कहा था कि अभी पुलिस की जांच पूरी नहीं हुई है. बिना जांच पूरी हुए किसी भी निष्कर्ष पर पहुंचना गलत होगा. पुलिस ने कहा था कि दर्शन सोलंकी के दोस्तों से मिली जानकारी के आधार पर ऐसा कोई संकेत नहीं मिला है कि उसके साथ किसी तरह का भेदभाव हो रहा था.
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सोलंकी के परिवार ने जताई हत्या की आशंका: दर्शन के पिता का कहना है कि उनका बेटा आत्महत्या नहीं सकता. उसको परेशान किया गया है. उन्होंने आरोप लगाया कि उनके बेटे की हत्या की गई है. उन्होंने कहा कि दर्शन ने जातिगत भेदभाव की शिकायत की थी. लेकिन कोई कोर्रवाई नहीं की गई. दर्शन की बहन जाह्नवी ने भी कहा कि परिवार को सौ प्रतिशत यकीन है कि उनकी हत्या की गई है.