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मनी लॉन्ड्रिंग केस में महबूबा से पूछताछ, बोलीं- जांच एजेंसियों से चल रहा देश - पीडीपी अध्यक्ष महबूबा मुफ्ती से पूछताछ

ईडी ने अपने श्रीनगर कार्यालय में पीडीपी अध्यक्ष महबूबा मुफ्ती से मनी लॉन्ड्रिंग मामले में पूछताछ की. ईडी के समक्ष पेश होने के बाद जम्मू-कश्मीर की पूर्व मुख्यमंत्री मुफ्ती ने केंद्र सरकार पर हमला बोला और कहा कि देश को जांच एजेंसियों के द्वारा चलाया जा रहा है.

महबूबा मुफ्ती
महबूबा मुफ्ती
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Published : Mar 25, 2021, 12:50 PM IST

Updated : Mar 25, 2021, 7:11 PM IST

श्रीनगर : जम्मू-कश्मीर की पूर्व मुख्यमंत्री और पीडीपी अध्यक्ष महबूबा मुफ्ती मनी लॉन्ड्रिंग मामले में गुरुवार को श्रीनगर में प्रवर्तन निदेशालय (ईडी) के समक्ष पेश हुईं. मुफ्ती पूछताछ का सामना करने के लिए सुबह 11 बजे राजबाग में स्थित ईडी कार्यालय पहुंची थीं और शाम साढ़े चार बजे तक उनसे पूछताछ की गई.

ईडी दफ्तर पहुंचीं महबूबा मुफ्ती

पीपुल्स डेमोक्रेटिक पार्टी (पीडीपी) की अध्यक्ष सोमवार को दिल्ली में एजेंसी के समक्ष पेश नहीं हुई थीं. उन्होंने कहा था कि उनके पहले से ही कुछ कार्यक्रम हैं, जिन्हें रद्द नहीं किया जा सकता. उन्होंने ईडी अधिकारियों से दिल्ली के बजाय श्रीनगर में ही पूछताछ करने का अनुरोध किया था, जिसे मंजूर कर लिया गया.

'विशेष पार्टी के एजेंडे के अनुसार चल रहा देश'
ईडी के समक्ष पेश होने के बाद पीडीपी प्रमुख मुफ्ती ने कहा कि जो कोई भी केंद्र सरकार के खिलाफ बोलता है, उनके खिलाफ ईडी और एनआईए का इस्तेमाल किया जाता है. देश भारतीय संविधान के अनुसार नहीं, बल्कि किसी विशेष पार्टी के एजेंडे के अनुसार चल रहा है.

उन्होंने कहा कि उनके पिता मुफ्ती मोहम्मद सईद और उनके द्वारा बिजबेहारा में भूमि की बिक्री और मुख्यमंत्री के गुप्त कोष के उपयोग के संबंध में सवाल पूछे गए.

पीडीपी अध्यक्ष महबूबा मुफ्ती का बयान.

महबूबा मुफ्ती ने कहा कि देश में असहमति जताने वालों को अपराधी घोषित कर दिया जाता है. ईडी, सीबीआई या एनआईए द्वारा देश का शासन चलाया जा रहा है.

बता दें कि जम्मू-कश्मीर का विशेष दर्जा हटाए जाने के बाद एक साल से अधिक समय तक नजरबंदी में रहने के पश्चात 61 वर्षीय मुफ्ती को पिछले साल रिहा किया गया था. उन्हें राष्ट्रीय राजधानी में ईडी मुख्यालय में पेश होने के लिए नोटिस दिया गया था.

दिल्ली उच्च न्यायालय ने 19 मार्च को उन्हें दिए समन पर रोक लगाने से इनकार कर दिया था. उन्होंने अदालत से मामले में दिए समन को रद्द करने की मांग की थी. ईडी ने उस समय उन पर व्यक्तिगत रूप से पेश होने के लिए जोर नहीं दिया था. ईडी ने इससे पहले मुफ्ती को 15 मार्च को पेश होने के लिए कहा था.

पढ़ें- जम्मू-कश्मीर : सीआरपीएफ की नाका पार्टी पर ग्रेनेड हमला, एक जवान शहीद

मुफ्ती ने ईडी को लिखे पत्र में कहा था, मैं 22 मार्च को पेश होने की स्थिति में नहीं हूं क्योंकि मेरे पहले से कुछ कार्यक्रम हैं, जिन्हें इतने कम वक्त में रद्द नहीं किया जा सकता है. उन्होंने पत्र में कहा था, मैं श्रीनगर में खासतौर से अपने आवास पर या वीडियो कांफ्रेंस के जरिए पूछताछ में शामिल होने के लिए तैयार हूं.

श्रीनगर : जम्मू-कश्मीर की पूर्व मुख्यमंत्री और पीडीपी अध्यक्ष महबूबा मुफ्ती मनी लॉन्ड्रिंग मामले में गुरुवार को श्रीनगर में प्रवर्तन निदेशालय (ईडी) के समक्ष पेश हुईं. मुफ्ती पूछताछ का सामना करने के लिए सुबह 11 बजे राजबाग में स्थित ईडी कार्यालय पहुंची थीं और शाम साढ़े चार बजे तक उनसे पूछताछ की गई.

ईडी दफ्तर पहुंचीं महबूबा मुफ्ती

पीपुल्स डेमोक्रेटिक पार्टी (पीडीपी) की अध्यक्ष सोमवार को दिल्ली में एजेंसी के समक्ष पेश नहीं हुई थीं. उन्होंने कहा था कि उनके पहले से ही कुछ कार्यक्रम हैं, जिन्हें रद्द नहीं किया जा सकता. उन्होंने ईडी अधिकारियों से दिल्ली के बजाय श्रीनगर में ही पूछताछ करने का अनुरोध किया था, जिसे मंजूर कर लिया गया.

'विशेष पार्टी के एजेंडे के अनुसार चल रहा देश'
ईडी के समक्ष पेश होने के बाद पीडीपी प्रमुख मुफ्ती ने कहा कि जो कोई भी केंद्र सरकार के खिलाफ बोलता है, उनके खिलाफ ईडी और एनआईए का इस्तेमाल किया जाता है. देश भारतीय संविधान के अनुसार नहीं, बल्कि किसी विशेष पार्टी के एजेंडे के अनुसार चल रहा है.

उन्होंने कहा कि उनके पिता मुफ्ती मोहम्मद सईद और उनके द्वारा बिजबेहारा में भूमि की बिक्री और मुख्यमंत्री के गुप्त कोष के उपयोग के संबंध में सवाल पूछे गए.

पीडीपी अध्यक्ष महबूबा मुफ्ती का बयान.

महबूबा मुफ्ती ने कहा कि देश में असहमति जताने वालों को अपराधी घोषित कर दिया जाता है. ईडी, सीबीआई या एनआईए द्वारा देश का शासन चलाया जा रहा है.

बता दें कि जम्मू-कश्मीर का विशेष दर्जा हटाए जाने के बाद एक साल से अधिक समय तक नजरबंदी में रहने के पश्चात 61 वर्षीय मुफ्ती को पिछले साल रिहा किया गया था. उन्हें राष्ट्रीय राजधानी में ईडी मुख्यालय में पेश होने के लिए नोटिस दिया गया था.

दिल्ली उच्च न्यायालय ने 19 मार्च को उन्हें दिए समन पर रोक लगाने से इनकार कर दिया था. उन्होंने अदालत से मामले में दिए समन को रद्द करने की मांग की थी. ईडी ने उस समय उन पर व्यक्तिगत रूप से पेश होने के लिए जोर नहीं दिया था. ईडी ने इससे पहले मुफ्ती को 15 मार्च को पेश होने के लिए कहा था.

पढ़ें- जम्मू-कश्मीर : सीआरपीएफ की नाका पार्टी पर ग्रेनेड हमला, एक जवान शहीद

मुफ्ती ने ईडी को लिखे पत्र में कहा था, मैं 22 मार्च को पेश होने की स्थिति में नहीं हूं क्योंकि मेरे पहले से कुछ कार्यक्रम हैं, जिन्हें इतने कम वक्त में रद्द नहीं किया जा सकता है. उन्होंने पत्र में कहा था, मैं श्रीनगर में खासतौर से अपने आवास पर या वीडियो कांफ्रेंस के जरिए पूछताछ में शामिल होने के लिए तैयार हूं.

Last Updated : Mar 25, 2021, 7:11 PM IST
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