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नाम पर विवाद के बाद तिरंगे के रंग में रंगा गुंटूर का जिन्ना टावर

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Published : Feb 2, 2022, 11:44 AM IST

बीजेपी की आपत्ति के बाद गुंटुर जिले में जिन्ना टावर का नाम तो नहीं बदला, मगर इसका रंग-रूप बदल गया है. अब इसे तिरंगे वाले कलर में रंग दिया गया है.

Jinnah Tower in Andhra Pradesh
Jinnah Tower in Andhra Pradesh

गुंटूर : आंध्रप्रदेश में गुंटूर जिले में जिन्ना टावर का विवाद ने नया रंग ले लिया है. टावर के नाम पर बीजेपी की आपत्ति के बाद जिन्ना टावर को तिरंगे में रंग दिया गया है. अब इसके पास राष्ट्रीय ध्वज फहराने की व्यवस्था की जाएगी. हालांकि इसका नाम अभी भी नहीं बदला गया है. बीजेपी इस टावर का नाम डॉ. एपीजे अब्दुल कलाम करने की मांग कर रही है.

  • Andhra Pradesh: Guntur's Jinnah Tower, on which Hindu Vahini activists tried to unfurl the national flag on January 26, was painted in Tricolour by ruling YSRCP MLA Mohammad Mustafa on Tuesday. pic.twitter.com/Q6Mdi1k8ZO

    — ANI (@ANI) February 2, 2022 " class="align-text-top noRightClick twitterSection" data=" ">

गुंटूर ईस्ट के विधायक मोहम्मद मुस्तफा ने कहा कि विभिन्न ग्रुपों के अनुरोध पर टावर को तिरंगे वाले कलर में रंगने और उसके पास राष्ट्रीय ध्वज फहराने के लिए एक खंभा लगाने का निर्णय लिया गया है. उन्होंने कहा कि गुरुवार को जिन्ना टावर पर राष्ट्रीय ध्वज फहराने के लिए जरूरी इंतजाम किए जाएंगे. विधायक मुस्तफा ने मंगलवार को जीएमसी मेयर कवती मनोहर नायडू के साथ सुरक्षा व्यवस्था का जायजा लेने के लिए टावर का निरीक्षण किया.

विधायक मोहम्मद मुस्तफा ने कहा कि बड़े मुस्लिम नेताओं ने भी स्वतंत्रता संग्राम के दौरान अंग्रेजों के खिलाफ लड़ाई लड़ी. आजादी मिलने के बाद, कुछ मुसलमान देश छोड़कर पाकिस्तान में बस गए. लेकिन हम अपने देश में भारतीय के रूप में बने रहना चाहते थे और हम अपनी मातृभूमि से प्यार करते हैं.

Jinnah Tower in Andhra Pradesh
गुंटूर के विधायक मोहम्मद मुस्तफा भी जिन्ना टावर के विवाद में कूद पड़े हैं. उन्होंने इसका नाम बदलने से इनकार किया है.

भारतीय जनता पार्टी की आलोचना करते हुए उन्होंने कहा कि जिन्ना टावर का मुद्दा उठाने वाली बीजेपी नेताओं को सांप्रदायिक झड़पों को भड़काने के बजाय कोविड महामारी के बीच जरूरतमंद लोगों की मदद करना चाहिए.

बता दें कि 26 जनवरी को कुछ लोग तिरंगा फहराने के लिए जिन्ना टावर में घुस गए थे. बाद में उन्हें हिरासत में लिया गया था.

बीजेपी की आंध्र प्रदेश यूनिट ने पिछले साल दिसंबर में गुंटूर नगर निगम आयुक्त चल्ला अनुराधा को एक ज्ञापन सौंपा था, जिसमें जिन्ना टावर का नाम बदलने और इसे पूर्व राष्ट्रपति अब्दुल कलाम के नाम पर रखने की मांग की गई थी.

बता दें कि जिन्ना टावर के नाम बदलने के मुद्दे पर बीजेपी लगातार हमलावर रही है. भाजपा के राष्ट्रीय सचिव, सुनील देवधर ने 26 जनवरी की घटना के बाद आंध्रप्रदेश सरकार की आलोचना की थी. उन्होंने सरकार से पूछा था कि आंध्र प्रदेश का गुंटूर भारत गणराज्य का हिस्सा है या नहीं. उन्होंने एक अन्य ट्वीट में कहा कि हम पाकिस्तान में नहीं हैं. उन्होंने कहा था कि बीजेपी गुंटूर में जिन्ना टावर का नाम बदलने और इसका नाम डॉ एपीजे अब्दुल कलाम रखने की लड़ाई नहीं छोड़ेगी.

पढ़ें : चीन ने गलवान में जख्मी हुए PLA कमांडर को सौंपी विंटर ओलंपिक की मशाल

गुंटूर : आंध्रप्रदेश में गुंटूर जिले में जिन्ना टावर का विवाद ने नया रंग ले लिया है. टावर के नाम पर बीजेपी की आपत्ति के बाद जिन्ना टावर को तिरंगे में रंग दिया गया है. अब इसके पास राष्ट्रीय ध्वज फहराने की व्यवस्था की जाएगी. हालांकि इसका नाम अभी भी नहीं बदला गया है. बीजेपी इस टावर का नाम डॉ. एपीजे अब्दुल कलाम करने की मांग कर रही है.

  • Andhra Pradesh: Guntur's Jinnah Tower, on which Hindu Vahini activists tried to unfurl the national flag on January 26, was painted in Tricolour by ruling YSRCP MLA Mohammad Mustafa on Tuesday. pic.twitter.com/Q6Mdi1k8ZO

    — ANI (@ANI) February 2, 2022 " class="align-text-top noRightClick twitterSection" data=" ">

गुंटूर ईस्ट के विधायक मोहम्मद मुस्तफा ने कहा कि विभिन्न ग्रुपों के अनुरोध पर टावर को तिरंगे वाले कलर में रंगने और उसके पास राष्ट्रीय ध्वज फहराने के लिए एक खंभा लगाने का निर्णय लिया गया है. उन्होंने कहा कि गुरुवार को जिन्ना टावर पर राष्ट्रीय ध्वज फहराने के लिए जरूरी इंतजाम किए जाएंगे. विधायक मुस्तफा ने मंगलवार को जीएमसी मेयर कवती मनोहर नायडू के साथ सुरक्षा व्यवस्था का जायजा लेने के लिए टावर का निरीक्षण किया.

विधायक मोहम्मद मुस्तफा ने कहा कि बड़े मुस्लिम नेताओं ने भी स्वतंत्रता संग्राम के दौरान अंग्रेजों के खिलाफ लड़ाई लड़ी. आजादी मिलने के बाद, कुछ मुसलमान देश छोड़कर पाकिस्तान में बस गए. लेकिन हम अपने देश में भारतीय के रूप में बने रहना चाहते थे और हम अपनी मातृभूमि से प्यार करते हैं.

Jinnah Tower in Andhra Pradesh
गुंटूर के विधायक मोहम्मद मुस्तफा भी जिन्ना टावर के विवाद में कूद पड़े हैं. उन्होंने इसका नाम बदलने से इनकार किया है.

भारतीय जनता पार्टी की आलोचना करते हुए उन्होंने कहा कि जिन्ना टावर का मुद्दा उठाने वाली बीजेपी नेताओं को सांप्रदायिक झड़पों को भड़काने के बजाय कोविड महामारी के बीच जरूरतमंद लोगों की मदद करना चाहिए.

बता दें कि 26 जनवरी को कुछ लोग तिरंगा फहराने के लिए जिन्ना टावर में घुस गए थे. बाद में उन्हें हिरासत में लिया गया था.

बीजेपी की आंध्र प्रदेश यूनिट ने पिछले साल दिसंबर में गुंटूर नगर निगम आयुक्त चल्ला अनुराधा को एक ज्ञापन सौंपा था, जिसमें जिन्ना टावर का नाम बदलने और इसे पूर्व राष्ट्रपति अब्दुल कलाम के नाम पर रखने की मांग की गई थी.

बता दें कि जिन्ना टावर के नाम बदलने के मुद्दे पर बीजेपी लगातार हमलावर रही है. भाजपा के राष्ट्रीय सचिव, सुनील देवधर ने 26 जनवरी की घटना के बाद आंध्रप्रदेश सरकार की आलोचना की थी. उन्होंने सरकार से पूछा था कि आंध्र प्रदेश का गुंटूर भारत गणराज्य का हिस्सा है या नहीं. उन्होंने एक अन्य ट्वीट में कहा कि हम पाकिस्तान में नहीं हैं. उन्होंने कहा था कि बीजेपी गुंटूर में जिन्ना टावर का नाम बदलने और इसका नाम डॉ एपीजे अब्दुल कलाम रखने की लड़ाई नहीं छोड़ेगी.

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