लखनऊ : उत्तर प्रदेश के गोंडा से गिरफ्तार किए गए पाकिस्तानी खुफिया एजेंसी आईएसआई के पांच एजेंट ने बीते दिनों यूपी एसटीएस की पूछताछ में खुलासा किया था कि उन्हें यह बताया गया था कि जल्द ही सीमा पार से कुछ महिला और पुरुष आईएसआई एजेंट भेजे जाएंगे जो उन्हें आगे की ट्रेनिंग देंगे. सूत्रों के मुताबिक पूछताछ में महिला एजेंट की बात सामने आते ही एजेंसी सतर्क हो गई. यही वजह है कि पाकिस्तान से यूपी में अवैध रूप से आई सीमा गुलाम हैदर से पांच दिनों तक पूछताछ करने और एक माह तक की गई जांच के बाद भी अब तक एजेंसी क्लीन चिट नहीं दे सकी है. एटीएस के आधिकारिक सूत्रों के मुताबिक एजेंसी महिला आईएसआई एजेंट की तलाश कर रही है. उसके बाद ही सीमा हैदर पर कोई आखिरी फैसला लिया जा सकता है.
ISI एजेंट्स के खुलासे के बाद बढ़ी ATS की चिंता
19 जुलाई को यूपी पुलिस की ओर से प्रेस नोट जारी करते हुए सीमा गुलाम हैदर से जुड़ी अब तक की हुई जांच का ब्योरा दिया गया था. यूपी पुलिस के मुताबिक यूपी एटीएस की जांच और सीमा गुलाम हैदर द्वारा दिए गए बयान के मुताबिक वह गौतमबुद्धनगर के रहने वाले सचिन मीणा से मिलने के लिए ही पाकिस्तान से नेपाल के रास्ते यूपी में घुसी थी. यूपी पुलिस के इस बयान के बाद यह माना जाने लगा था कि सीमा गुलाम हैदर महज अवैध रूप से भारत आने की ही दोषी है. इसके अलावा कोई भी साजिश नहीं है. यही वजह है कि पूछताछ के बाद सीमा और सचिन को उनके घर भेज दिया गया. हालांकि यूपी एटीएस तब एक बार फिर हरकत में आई जब 15 और 18 जुलाई को तीन आईएसआई एजेंट रईस, सलमान और अरमान को गिरफ्तारी हुई और उन्होंने पूछताछ में कई बड़े खुलासे किए.
ISI एजेंट्स के खुलासे के बाद नजरबंद की गई थी सीमा हैदर
गिरफ्तार किए गए आईएसआई एजेंट की पूछताछ में हुए इस खुलासे के बाद ही 27 जुलाई को एक बार फिर से गौतमबुद्ध नगर रबुपुरा स्थित सचिन मीणा और सीमा के घर पर यूपी एटीएस और स्थानीय पुलिस की एक टीम पहुंची और उन्हे नजरबंद कर दिया गया. सूत्रों के मुताबिक एजेंसी को शक है कि आईएसआई ने जिन महिला एजेंट की बात गोंडा से गिरफ्तार किए गए आईएसआई एजेंट से कही है, सीमा हैदर वहीं एजेंट्स हो सकती है. सूत्रों के मुताबिक यही वजह है कि जांच और पूछताछ होने के बाद भी अब तक सीमा गुलाम हैदर को यूपी एटीएस पूरी तरह क्लीन चिट नहीं दे सकी है.