इंदौर : मध्य प्रदेश के इंदौर में पुलिस ने पिछले दिनों एक सेक्स रैकेट का खुलासा किया था, जिसमें बांग्लादेश से लाई गईं करीब 21 युवतियों को आरोपी के चंगुल से पुलिस ने मुक्त कराया था, लेकिन जो आरोपी बांग्लादेश से इन युवतियों को इंदौर लाकर देश के अलग-अलग हिस्सों में भेजता था, वह फरार हो गया था. मध्य प्रदेश पुलिस ने गत गुरुवार को गुजरात के सूरत शहर से उसे गिरफ्तार किया था.
पुलिस पूछताछ में आरोपी मुनीर उर्फ मुनीरुल ने चौंकाने वाले खुलासे किए हैं. वह 200 से ज्यादा बांग्लादेशी लड़कियों को भारत लाकर देह व्यापार के दलदल में धकेल चुका है. मुनीर पांच साल से इस धंधे में है. आरोपी अब तक 75 लड़कियों से शादी कर चुका है.
आरोपी मुनीर बांग्लादेशी लड़कियों को पोरस बॉर्डर से नाले के रास्ते भारत में एंट्री कराता था, जबकि बॉर्डर के पास के छोटे गांव में एजेंट्स के जरिये लड़कियों को मुर्शिदाबाद और आसपास के ग्रामीण इलाकों के जरिए भी भारत में प्रवेश कराता था. इस दौरान वह बॉर्डर पर तैनात जवानों को भी 20 से 25 हजार रुपये देता था. इस तरह वह बांग्लादेश से बड़ी संख्या में लड़कियों को देश के विभिन्न शहरों में पहुंचाता था, जहां मोटी रकम लेकर उन्हें वेश्यावृत्ति के दलदल में धकेल देता था.
इंदौर के विजय नगर थाना प्रभारी तहजीब काजी ने बताया कि देह व्यापार के एक पुराने मामले में शामिल एक एजेंट को सूरत शहर से गिरफ्तार किया गया है, उस पर 10 हजार रुपये का इनाम रखा गया था. आरोपी बांग्लादेशी लड़कियों को दलालों के माध्यम से अवैध रूप से देश में दाखिल कराता था, इसके बाद उनको देह व्यापार के लिए ट्रेनिंग देकर तैयार किया जाता था.
ट्रेनिंग के बाद ऑन डिमांड भेजी जाती थीं लड़कियां
मुनीर बांग्लादेश के जसोर का रहने वाला है. ज्यादातर लड़कियों से उसने शादी की, फिर भारत में लाकर बेच दिया. उसके पीछे बड़ा नेटवर्क है. पूछताछ में मुनीर ने बताया कि सेक्स रैकेट से जुड़ा गिरोह लड़कियों की पहले कोलकाता, फिर मुंबई में ट्रेनिंग कराता है. इसके बाद डिमांड पर लड़कियों को देश के दूसरे शहरों भोपाल व अन्य शहरों में सप्लाई करता था.
आरोपियों के निशाने पर गरीब परिवार की लड़कियां
बांग्लादेशी लड़कियों को यहां तक लाने के पीछे की कहानी जो सामने आई है, उसके अनुसार बांग्लादेश के एजेंट गरीब परिवार की लड़कियों को काम दिलाने के बहाने चोरी-छिपे बॉर्डर पार करवाकर कोलकाता तक लाते थे, जहां उन्हें एक हफ्ते से ज्यादा वक्त तक रखा जाता था. जहां उन्हें बॉडी लैंग्वेज और बेहतर रहन-सहन की ट्रेनिंग दी जाती थी. ट्रेंड होने पर लड़कियों को मुंबई भेजा जाता था, जहां दोबारा ट्रेनिंग दी जाती थी.
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इसके बाद दूसरे शहरों में ग्राहकों की डिमांड पर लड़कियों को उन शहरों में भेजा जाता था. कहीं भेजने से पहले उनके जरूरी कागजात रख लिए जाते थे. लड़कियों के बांग्लादेशी होने की पहचान एजेंट आंखों के जरिए करते थे. सूरत के स्पा सेंटर्स के अलावा इंदौर, भोपाल, ग्वालियर, पुणे, मुंबई, बेंगलुरु में भी लड़कियों को भेजते थे.
सूरत में सबसे अधिक हैं बांग्लादेशी युवतियां
पकड़े गए आरोपी ने बताया कि सबसे अधिक बांग्लादेशी युवतियां सूरत शहर में हैं, वहां के स्पा सेंटर दूसरी जगहों पर जिस्मफरोशी का धंधा कर रहे हैं. आने वाले दिनों में इस मामले में कुछ और आरोपियों को भी गिरफ्तार किया जा सकता है. यह भी बताया जा रहा है कि आरोपी बांग्लादेशी युवतियों को जिस्मफरोशी के धंधे में धकेलने के लिए नये-नये प्रयोग भी करते थे. शनिवार-रविवार के दिन भोपाल शहर में होने वाली पार्टियों में शिरकत करने के लिए बांग्लादेशी युवतियों को भेजा जाता था.