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चीन के साथ तनातनी के बीच LAC पर 'पिनाका' तैनात

लाइन ऑफ एक्चुअल कंट्रोल (LAC) पर चीन के साथ जारी सीमा विवाद को देखते हुए भारत ने सीमा पर पिनाका और स्मर्च मल्टीपल रॉकेट लॉन्चर तैनात किया है. इस लॉन्चर का नाम भगवान शिव के धनुष पिनाक के नाम पर रखा गया है.

पिनाका
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Published : Oct 22, 2021, 12:32 PM IST

Updated : Oct 22, 2021, 2:09 PM IST

नई दिल्ली : भारतीय सेना (Indian Army) ने असम में पिनाका और स्मर्च मल्टीपल रॉकेट (Pinaka & Smerch multiple rocket) लॉन्चर सिस्टम तैनात कर दिये हैं. लाइन ऑफ एक्चुअल कंट्रोल (LAC) पर चीन के साथ जारी सीमा विवाद को देखते हुए भारत ने सीमा पर इस रॉकेट लॉन्चर तैनात किया है. इस लॉन्चर का नाम भगवान शिव के धनुष 'पिनाक' के नाम पर रखा गया है.

उल्लेखनीय है कि मल्टीपल रॉकेट लॉन्चर पिनाका को पूरी तरह से भारतीय है. डिफेंस रिसर्च एंड डेवलपमेंट आर्गेनाइजेशन ने इसे विकसित किया है. पिनाका रॉकेट का सबसे कमजोर वेरिएंट MK-1 45 किलोमीटर दूर के टार्गेट को भी आसानी से भेद सकता है. MK-2 लॉन्चर की बात करें तो 90 किलोमीटर और सबसे उन्नत MK-3 लॉन्चर से 120 किलोमीटर तक हमला किया जा सकता है. यह रॉकेट 100 किलो तक के वजन के हथियार उठाने में सक्षम हैं. लॉन्चर की लंबाई 16 फीट तीन इंच से लेकर 23 फीट सात इंच तक है. 214 कैलिबर के इस लॉन्चर से एक साथ 12 पिनाका रॉकेट दागे जा सकते हैं. पिनाका रॉकेट की स्पीड करीब 5757 किमी प्रति घंटा है. अपनी इस तेज गति के कारण पिनाका दुश्मनों को संभलने का वक्त नहीं देता है. इसका मतलब यह है कि महज कुछ सेकेंड्स में यह दुश्मनों को राख में बदलने की ताकत रखता है.

बता दें कि 1999 में पाकिस्तान के साथ कारगिल युद्ध के दौरान मल्टीपल रॉकेट लॉन्चर पिनाका को उपयोग में लाया गया था. इसे ऊंचाई वाले इलाकों में भेजा गया था, जहां इस रॉकेट ने पाकिस्तान के बंकरों को नष्ट कर दिया था.

नई दिल्ली : भारतीय सेना (Indian Army) ने असम में पिनाका और स्मर्च मल्टीपल रॉकेट (Pinaka & Smerch multiple rocket) लॉन्चर सिस्टम तैनात कर दिये हैं. लाइन ऑफ एक्चुअल कंट्रोल (LAC) पर चीन के साथ जारी सीमा विवाद को देखते हुए भारत ने सीमा पर इस रॉकेट लॉन्चर तैनात किया है. इस लॉन्चर का नाम भगवान शिव के धनुष 'पिनाक' के नाम पर रखा गया है.

उल्लेखनीय है कि मल्टीपल रॉकेट लॉन्चर पिनाका को पूरी तरह से भारतीय है. डिफेंस रिसर्च एंड डेवलपमेंट आर्गेनाइजेशन ने इसे विकसित किया है. पिनाका रॉकेट का सबसे कमजोर वेरिएंट MK-1 45 किलोमीटर दूर के टार्गेट को भी आसानी से भेद सकता है. MK-2 लॉन्चर की बात करें तो 90 किलोमीटर और सबसे उन्नत MK-3 लॉन्चर से 120 किलोमीटर तक हमला किया जा सकता है. यह रॉकेट 100 किलो तक के वजन के हथियार उठाने में सक्षम हैं. लॉन्चर की लंबाई 16 फीट तीन इंच से लेकर 23 फीट सात इंच तक है. 214 कैलिबर के इस लॉन्चर से एक साथ 12 पिनाका रॉकेट दागे जा सकते हैं. पिनाका रॉकेट की स्पीड करीब 5757 किमी प्रति घंटा है. अपनी इस तेज गति के कारण पिनाका दुश्मनों को संभलने का वक्त नहीं देता है. इसका मतलब यह है कि महज कुछ सेकेंड्स में यह दुश्मनों को राख में बदलने की ताकत रखता है.

बता दें कि 1999 में पाकिस्तान के साथ कारगिल युद्ध के दौरान मल्टीपल रॉकेट लॉन्चर पिनाका को उपयोग में लाया गया था. इसे ऊंचाई वाले इलाकों में भेजा गया था, जहां इस रॉकेट ने पाकिस्तान के बंकरों को नष्ट कर दिया था.

Last Updated : Oct 22, 2021, 2:09 PM IST
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