चेन्नई: पेराम्बूर में प्रसिद्ध इंटीग्रेटेड कोच मैन्युफैक्चरिंग फैक्ट्री (आईसीएफ) एक नई प्रकार की ट्रेन का निर्माण शुरू करने के लिए तैयार है. इसे 'पुश एंड पुल ट्रेन' के नाम से जाना जाता है. आठ अनारक्षित (unreserved ) कोच और 12 स्लीपर कोच वाली ये नई ट्रेन 130 किमी प्रति घंटा तक की रफ्तार से फर्राटे भरेगी. इसमें उन्नत सुविधाएं भी होगी.
आईसीएफ ने अपनी अत्याधुनिक रेलवे तकनीक के लिए अंतरराष्ट्रीय स्तर पर पहचान हासिल की है, इससे पहले उसने 97 करोड़ रुपये की लागत से रेल-18, जिसे 'वंदे भारत एक्सप्रेस' के नाम से भी जाना जाता है, बनाई थी. उल्लेखनीय है कि 180 किमी/घंटा की गति से परिचालन करने वाली इस ट्रेन की शुरुआत फरवरी 2019 में हुई. वंदे भारत एक्सप्रेस ने अब तक निर्मित 31 ऐसी ट्रेनों के साथ 40 से अधिक मार्गों पर अपनी उपस्थिति स्थापित की है. वंदे भारत एक्सप्रेस को कई लोगों का समर्थन मिला है. इसकी अपेक्षाकृत उच्च किराया आम लोगों के लिए चिंताएं पैदा करती है. इसे देखते हुए भारतीय रेलवे का लक्ष्य इस वर्ष के अंत तक वंदे भारत ट्रेनों की संख्या को 75 तक बढ़ाने का लक्ष्य है जिससे इसकी पहुंच और अधिक बढ़ाई जा सके.
आईसीएफ में नई 'पुश एंड पुल ट्रेन' पर काम चल रहा है. इसमें वंदे भारत ट्रेन की तरह सुविधाओं का ख्याल रखा जाएगा जिससे इसकी सेवाएं यात्रियों के व्यापक वर्ग के लिए सुलभ हो जाएंगी. इन ट्रेनों में वायुगतिकीय रूप से डिजाइन किए गए कोच, हल्के गद्देदार सीटें, पूरी तरह से वातानुकूलित केबिन, दिव्यांग व्यक्तियों के लिए आधुनिक शौचालय और सीसीटीवी कैमरे और स्वचालित आग का पता लगाने वाली प्रणाली जैसी सुरक्षा सुविधाएं जैसी अत्याधुनिक सुविधाएं शामिल होंगी.
'पुश एंड पुल ट्रेन' की एक विशिष्ट विशेषता उनका दोहरा लोकोमोटिव कॉन्फ़िगरेशन यानी दोनों साइड इंजन लगाने की सुविधा है. यह अनोखा सेटअप ट्रेन को एक साथ धकेलने और खींचने की अनुमति देता है, जिससे 130 किमी/घंटा तक की गति संभव हो जाती है. इसे हासिल करने के लिए पश्चिम बंगाल के चित्तरंजन कारखाने में विशेष इंजनों का निर्माण किया जाएगा.
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कुल 22 कोच और 2 लोकोमोटिव के साथ, 'पुश एंड पुल ट्रेन' में 12 स्लीपर क्लास कोच, 8 अनारक्षित कोच और माल परिवहन के लिए 2 कोच होंगे. विशेष रूप से ट्रेन में सेलफोन चार्जिंग पॉइंट, स्वचालित फायर अलार्म, आंतरिक प्रकाश व्यवस्था और बेहतर आराम स्तर जैसी सुविधाएं होगी. हालाँकि नई ट्रेन का आधिकारिक नाम अभी तक सामने नहीं आया है, लेकिन इसके लोकोमोटिव कॉन्फ़िगरेशन के कारण इसे बोलचाल की भाषा में 'पुश एंड पुल ट्रेन' कहा जाता है.