हैदराबाद : रक्षा अनुसंधान और विकास प्रयोगशाला में कार्यरत एक संविदा कर्मचारी को आईएसआई की एक संदिग्ध महिला हैंडलर को सोशल मीडिया के माध्यम से डीआरडीएल-आरसीआई कॉम्प्लेक्स के बारे में गोपनीय जानकारी लीक करने के आरोप में गिरफ्तार किया है. तेलंगाना पुलिस ने शुक्रवार को इसकी जानकारी मीडिया को दी. आरोपी की पहचान दुक्का मल्लिकार्जुन रेड्डी (29) उर्फ अर्जुन बिट्टू के रूप में हुई है. जिसे शुक्रवार को त्रिवेणी नगर, मीरपेट, बालापुर, हैदराबाद में स्पेशल ऑपरेशन टीम, एलबी नगर जोन, रचकोंडा, हैदराबाद और बालापुर पुलिस के एक संयुक्त अभियान के दौरान गिरफ्तार किया गया.
पुलिस के अनुसार 17 जून, 2022 को पुख्ता जानकारी मिलने पर स्पेशल ऑपरेशन टीम, एलबी नगर जोन, रचकोंडा के स्लीथ्स ने बालापुर पुलिस के साथ एक संयुक्त अभियान में रक्षा अनुसंधान एवं विकास प्रयोगशाला (DRDL) के संविदा कर्मचारी को गिरफ्तार किया. जिसने डीआरडीएल की अत्यधिक गोपनीय सुचना साझा किया और सोशल मीडिया के माध्यम से डीआरडीएल-आरसीआई कॉम्प्लेक्स की गोपनीय जानकारी एक संदिग्ध आईएसआई महिला हैंडलर को दी. जिसका उद्देश्य देश की अखंडता और सुरक्षा को नुकसान पहुंचाना है.
आरोपी बिट्टू ने अपने फेसबुक अकाउंट पर डीआरडीएल के साथ अपने काम के बारे में पोस्ट किया था. मार्च 2020 में नताशा राव नाम की एक महिला ने उससे संपर्क किया था. उसने अपना परिचय यूके डिफेंस जर्नल के एक कर्मचारी के रूप में दिया था. साथ ही बताया था कि उसके पिता ने यूके जाने से पहले भारतीय वायु सेना में कार्यरत थे. नताशा राव उर्फ सिमरन चोपड़ा उर्फ ओमिशा अड्डी से बातचीत के दौरान मल्लिकार्जुन रेड्डी ने गोपनीय जानकारियां साझा की और साथ ही अपने बैंक खाते की डिटेल भी उसे दी. वह दिसंबर 2021 तक उसके संपर्क में था.
रचकोंडा पुलिस कमिश्नर का पुलिस स्टेशन में पुलिस ने बालापुर में भारतीय दंड संहिता (आईपीसी) की धारा 409 और आधिकारिक गुप्त अधिनियम-1923 की धारा 3 (1) (सी), 5 (3), 5 (1) (ए) के तहत मामला दर्ज किया है. उसके पास से पुलिस ने दो मोबाइल फोन, एक सिम कार्ड और एक लैपटॉप भी बरामद किया है. तेलंगाना पुलिस के अनुसार, रेड्डी का जन्म और पालन-पोषण नेवल आर्मामेंट डिपो (एनएडी) क्वार्टर, विशाखापत्तनम में हुआ था और उनके पिता ने एनएडी में चार्जमेन सिविलियन के रूप में काम किया और 2014 में सेवानिवृत्त हुए थे. उन्होंने विशाखापत्तनम से बी.टेक (मैकेनिकल) पूरा किया और बाद में 2020 में हैदराबाद से एमबीए (मार्केटिंग) किया.
वह बेंगलुरु मुख्यालय वाली कंपनी की पाटनचेरु शाखा में शामिल हो गए और जनवरी 2020 तक डीआरडीएल से एक परियोजना पर काम किया. परियोजना के बाद, उन्होंने सीधे डीआरडीएल अधिकारियों से संपर्क किया और आरसीआई बालापुर के साथ एक परियोजना के लिए एक अनुबंध कर्मचारी के रूप में नामांकित हो गए. रचकोंडा पुलिस आयुक्त महेश एम भागवत, अतिरिक्त पुलिस आयुक्त जी सुधीर बाबू, एलबी नगर डीसीपी सुनप्रीत सिंह, डीसीपी (एसओटी) के मुरलीधर और पुलिस उपायुक्त, विशेष अभियान दल, राचकोंडा की देखरेख में गिरफ्तारियां की गईं.
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एएनआई