फिरोजपुर : केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह (central home minister amit shah) ने बुधवार को कहा कि अगर भारत को आजादी मिलने के समय नरेंद्र मोदी प्रधानमंत्री (pm narendra modi) होते तो करतारपुर साहिब और ननकाना साहिब ( Kartarpur Nankana Sahib) इस देश का हिस्सा होते. फिरोजपुर में एक चुनावी रैली में शाह ने कहा कि मोदी ने करतारपुर साहिब गलियारा खोलने की सिखों की लंबित मांग को पूरा किया. उन्होंने कहा, ‘‘अगर भारत को आजादी मिलने के समय नरेंद्र मोदी प्रधानमंत्री होते तो करतारपुर साहिब और ननकाना साहिब भारत का हिस्सा होते और ये पाकिस्तान का हिस्सा नहीं बनते. चार किलोमीटर लंबा करतारपुर गलियारा भारतीय सिख श्रद्धालुओं को गुरुद्वारा दरबार साहिब जाने के लिए वीजा-मुक्त पहुंच प्रदान करता है. इसका उद्घाटन 2019 में हुआ था. पंजाब में 20 फरवरी को विधानसभा चुनाव के लिए मतदान होना है.
पठानकोट में बुधवार को एक रैली को संबोधित करते हुए मोदी ने कहा कि कांग्रेस बंटवारे के समय करतारपुर साहिब को भारतीय क्षेत्र में रखने में नाकाम रही. उन्होंने कहा कि बाद में पाकिस्तान के साथ 1965 और 1971 के युद्धों के दौरान करतारपुर साहिब को भारत के क्षेत्र में शामिल करने का अवसर भी गंवा दिया गया. फिरोजपुर की रैली में शाह ने दावा किया कि केवल भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) के नेतृत्व वाला गठबंधन ही पंजाब को सुरक्षा प्रदान कर सकता है और सवाल किया कि क्या प्रतिद्वंद्वी दल ऐसा कर सकते हैं. शाह ने कहा,‘मैं यहां पंजाब की माताओं से वादा करने आया हूं कि नरेंद्र मोदी (भाजपा नीत गठबंधन) को पांच साल दें, आपके परिवार के युवा मादक पदार्थ को छू भी नहीं पाएंगे. हम पंजाब को नशा मुक्त बनाएंगे.
केंद्रीय मंत्री ने प्रतिद्वंद्वी दलों की आलोचना करते हुए कहा, क्या शिरोमणि अकाली दल पंजाब को नशे के खतरे से निजात दिला सकता है? क्या कांग्रेस पार्टी ऐसा कर पाई? पूरी दिल्ली को शराब में डुबो देने वाले केजरीवाल भी ऐसा नहीं कर सकते.भाजपा नेताओं ने आम आदमी पार्टी (आप) के नेतृत्व वाली दिल्ली सरकार पर राष्ट्रीय राजधानी में शराब की अधिक दुकानें खोलकर युवाओं को शराब में ‘‘डुबाने’’ का आरोप लगाया है. हालांकि, आप ने कहा है कि नयी आबकारी नीति के तहत शराब की दुकानें पूरे शहर में समान रूप से फैली हुई हैं और उनकी संख्या में वृद्धि नहीं हुई है. फिरोजपुर शहरी विधानसभा क्षेत्र से चुनाव लड़ रहे भाजपा के राणा गुरमीत सिंह सोढ़ी के लिए प्रचार करते हुए शाह ने पूछा कि क्या कांग्रेस के शासन में पंजाब सुरक्षित हो सकता है.
केंद्रीय गृह मंत्री ने कहा कि कुछ परियोजनाएं, जिनका उद्घाटन पांच जनवरी को प्रधानमंत्री की पंजाब यात्रा के दौरान सुरक्षा चूक की घटना के कारण नहीं किया जा सका, अब बैसाखी से पहले डिजिटल रूप से उद्घाटन किया जाएगा. शाह ने आरोप लगाया कि मुख्यमंत्री चरणजीत सिंह चन्नी प्रधानमंत्री का मार्ग भी सुरक्षित करने में विफल रहे. शाह ने कांग्रेस पर ‘जानबूझकर’ प्रधानमंत्री का मार्ग अवरुद्ध करने का आरोप लगाया. शाह ने आरोप लगाया, प्रधानमंत्री को पंजाबियों के साथ अपने दिल की बात साझा करने और राज्य के लिए विकास परियोजनाओं की घोषणा करने से रोकने के लिए कथित तौर पर गुंडों को काम पर रखा गया था. शाह ने कहा, मैं उनसे कहना चाहता हूं कि आप हमें रोक नहीं सकते, न ही पंजाब के लोग आपकी इस तरह की रणनीति को पसंद करेंगे.
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उन्होंने 1984 के सिख विरोधी दंगों को लेकर कांग्रेस पर निशाना साधा और कहा कि यह मोदी के नेतृत्व वाली सरकार थी जिसने दोषियों को दंडित किया. शाह ने कहा, 2014 में केंद्र में भाजपा के सत्ता में आने से पहले, पाकिस्तान के आतंकवादी हमारे सैनिकों पर हमला करते थे और हमारे सैनिकों के सिर काटकर भाग जाते थे. लेकिन मोदी के शासन में भारत ने आतंकवादियों को सबक सिखाने के लिए सर्जिकल स्ट्राइक और एयर स्ट्राइक की. स्वतंत्रता सेनानी भगत सिंह को श्रद्धांजलि अर्पित करते हुए शाह ने 1965 और 1971 में शहीद हुए जवानों की वीरता का जिक्र किया.