शिमलाः आधुनिक युग तकनीक का युग है. आधुनिक युग में सब कुछ ऑनलाइन चल रहा है. होटल बुकिंग, रेस्टोरेंट से खाना मंगाने से लेकर ऑनलाइन पेमेंट, टैक्सी, बस, फ्लाइट बुकिंग. यहां तक कि नौकरी भी ऑनलाइन मिल जाती है, लेकिन ऑनलाइन जमाने में आंखें और दिमाग दोनों खुले रखने की जरूरत होती है.आधुनिक युग में तकनीक के साथ ठगी के मामले भी बढ़ रहे हैं. लॉकडाउन और करोना से उत्पन्न परिस्थितियों के बाद नौकरी के नाम पर ठगी करने वाले गिरोह पूरे हिमाचल में सक्रिय हो गए हैं. कोरोना की वजह से कई युवाओं को रोजगार गया है. ऐसे में युवा समय-समय पर ऑनलाइन माध्यम के जरिए रोजगार ढूंढते रहते हैं. शिमला में भी एक युवती ने ऑनलाइन गूगल सर्च कर नौकरी ढूंढने की कोशिश की. गूगल पर सर्च के दौरान युवती को नौकरी मिली. इसके बाद कंपनी के साथ चैटिंग शुरू हुई.
नौकरी के नाम पर युवती से 6 लाख की ठगी
कंपनी ने युवती से नौकरी के लिए एडवांस मनी डिपॉजिट करने की बात कही. इस पर युवती ने पहले 2 लाख 59 हजार रुपये और फिर 1 लाख 25 हजार की राशि जमा करवाई. कंपनी के कर्मचारी के साथ चैटिंग में कंपनी कर्मचारी ने 25 अप्रैल को 2 लाख और डालने की बात कही. इस पर युवती ने 2 लाख कंपनी के खाते में जमा कर दिए. इस तरह युवती ने करीब 6 लाख कंपनी के खाते में जमा करवा दिए.
6 लाख की राशि जमा करने के बाद नहीं मिला जवाब
युवती ने जब नौकरी के लिए कंपनी के खाते में 6 लाख जमा करवा दिए. इसके बाद कंपनी के कर्मचारियों ने जवाब देना बंद कर दिया. जिस नंबर से फोन कॉल और बात की जा रही थी, वह भी बंद हो गया. इसके बाद युवती ने अपने घर पर यह बात बताई. इस पर युवती के पिता ने थाना छोटा शिमला में 1 मई को ठगी की शिकायत दर्ज करवाई. पुलिस तथ्यों की जानकारी जुटा कर मामले की जांच कर रही है.
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बुद्धि-विवेक का इस्तेमाल जरूरी- एएसपी
शिमला के एएसपी प्रवीर ठाकुर का कहना है कि आए दिन ठगी के मामले बढ़ते चले जा रहे हैं. पुलिस इस मामले की जांच कर रही है. लोग ऑनलाइन फ्रॉड के शिकार हो रहे हैं. लोगों को चाहिए कि सोच-समझकर गूगल सर्फिंग करें और पुख्ता होने तक किसी प्रकार की ट्रांजैक्शन न करें. उन्होंने कहा कि यह भी जरूरी है कि अपनी बुद्धि का इस्तेमाल करते हुए बिना तथ्यों और सच्चाई को जाने हुए इस तरह नौकरी के नाम पर किसी प्रकार की धनराशि जमा न करवाएं.
बाहरी राज्यों से होता है फ्रॉड
एएसपी प्रवीर के अनुसार इस तरह फ्रॉड के मामले बाहरी राज्यों से होते हैं. इनमें मुख्यतः बिहार, झारखंड और उत्तर प्रदेश के बीहड़ वाले इलाकों में सरगना बैठ इस तरह के फ्रॉड को अंजाम देते हैं. कई बार देश के बाहर से भी इस तरह के फ्रॉड किए जाते हैं. इसके लिए आईपी नंबर के जरिए कॉल और व्हाट्स एप किया जाता है.