नई दिल्ली: केंद्रीय मंत्री किरेन रिजिजू ने रविवार कांग्रेस के नए क्राउडफंडिंग अभियान पर निशाना साधा. 'देश के लिए दान' नामक कांग्रेस के नए क्राउडफंडिंग अभियान पर टिप्पणी करते हुए उन्होंने कहा कि यह 'वंशवाद के लिए दान योजना' है. उन्होंने गांधी परिवार पर कटाक्ष करते हुए कहा कि यह योजना राजवंश की जीवनशैली के खर्चों को वहन करने के लिए लाई गई है.
किरेन रिजिजू ने उल्लेख किया कि आयकर विभाग द्वारा कांग्रेस के राज्यसभा सांसद धीरज साहू से जुड़े परिसरों में पाए गए धन का पता लगाने और जब्त करने के बाद कांग्रेस को इस योजना के साथ आना पड़ा. केंद्रीय मंत्री ने एक्स पर एक पोस्ट में कहा,'अपने सांसद को पैसे लूटते हुए पकड़े जाने के बाद कांग्रेस उस राजवंश की जीवनशैली की लागत वहन करने के लिए एक नई लूट योजना 'डोनेट फॉर डायनेस्टी' योजना लेकर आई है!
इससे पहले कांग्रेस ने शनिवार को अपने ऑनलाइन क्राउडफंडिंग अभियान 'डोनेट फॉर देश' की शुरुआत की घोषणा की, जिसका उद्देश्य 'समान संसाधन वितरण और अवसरों से समृद्ध भारत बनाने के लिए पार्टी को सशक्त बनाना है. कांग्रेस महासचिव केसी वेणुगोपाल ने कहा,'भारतीय राष्ट्रीय कांग्रेस को अपने ऑनलाइन क्राउडफंडिंग अभियान, 'डोनेट फॉर देश' के लॉन्च की घोषणा करते हुए गर्व हो रहा है. यह पहल 1920-21 में महात्मा गांधी के ऐतिहासिक 'तिलक स्वराज फंड' से प्रेरित है और इसका उद्देश्य समान संसाधन वितरण और अवसरों से समृद्ध भारत बनाने में हमारी पार्टी को सशक्त बनाना है.'
पार्टी आधिकारिक तौर पर 18 दिसंबर को 'डोनेट फॉर देश' अभियान शुरू करेगी. उन्होंने बताया कि क्राउड-सोर्सिंग अभियान 28 दिसंबर तक ऑनलाइन प्रचलन में रहेगा. इस दौरान पार्टी जमीन पर भी अभियान चलाएगी. हम सभी पीसीसी प्रमुखों से प्रेस कॉन्फ्रेंस और सोशल मीडिया के माध्यम से जागरूकता बढ़ाने का आह्वान करते हैं.
वेणुगोपाल ने कहा,'अभियान मुख्य रूप से 28 दिसंबर, स्थापना दिवस तक ऑनलाइन रहेगा. इसके बाद हम जमीनी अभियान शुरू करेंगे. इसमें स्वयंसेवकों द्वारा घर-घर जाकर दौरा करना, प्रत्येक बूथ में कम से कम दस घरों को लक्षित करना और प्रत्येक घर से कम से कम 138 रुपये का योगदान प्राप्त करना शामिल है.' कांग्रेस नेता ने कहा,' अभियान की प्रभावशीलता के लिए सभी पीसीसी अध्यक्षों को पार्टी के शुभचिंतकों और पदाधिकारियों के बीच संभावित दानदाताओं की पहचान करनी चाहिए. इसका लक्ष्य 1,380 रुपये या 13,800 रुपये के योगदान का लक्ष्य रखना है. यह रणनीतिक दृष्टिकोण बेहतर भारत के लिए हमारे दृष्टिकोण की सफलता सुनिश्चित करेगा.'