गया: बिहार में जातीय जनगणना चल रही है और इसको लेकर काफी बवाल भी मचा हुआ है. यह मामला सुप्रीम कोर्ट तक पहुंच चुका है. इन सबके बीच बिहार के गया से एक चौंकाने वाला मामला सामने आया है. एक व्यक्ति ने कुत्ते के जाति प्रमाण पत्र के लिए ऑनलाइन आवेदन किया है. गुरारू अंचल कार्यालय में कुत्ते के जाति प्रमाण पत्र के लिए आवेदन आने से विभाग के कर्मी भी अचंभे में हैं.
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कुत्ते के जाति प्रमाण पत्र के लिए आवेदन: अंचल कार्यालय में कुत्ते का जाति प्रमाण पत्र बनाने के लिए आधार कार्ड नंबर भी संलग्न किया गया है. इसमें कुत्ते का फोटो भी है. साथ ही कुत्ते की जन्म तिथि, माता-पिता का नाम, उम्र सारी डिटेल दी गई है. कुत्ते के लिए जाति प्रमाण पत्र का यह आवेदन लोगों के बीच चर्चा का विषय बना हुआ है.
आधार कार्ड से लेकर जन्म तिथि तक की जानकारी: ऑनलाइन किए गए इस आवेदन के बारे में विस्तार से जानने के बाद हर कोई हैरान है. आवेदन में आवेदक का नाम टॉमी, पिता का नाम शेरू, माता का नाम गिन्नी और पता के रूप में गांव का नाम पांडे पोखर, पंचायत का नाम रोना, वार्ड संख्या 13, अंचल गुरारू, थाना गुरारू दिया गया है. इसमें मोबाइल नंबर भी है. वहीं, मजे की बात यह भी है, कि टॉमी कुत्ते के आवेदन में उसका पेशा स्टूडेंट बताया गया है. वहीं आवेदन में जाति भी बतायी गई है. वहीं जन्मतिथि 14 अप्रैल 2002 बताई गई है.
लोग ले रहे चुटकी: कुत्ते को भी जाति प्रमाण पत्र चाहिए, जातिगत जनगणना के बीच यह ऑनलाइन आवेदन चर्चा का विषय बना हुआ है. फिलहाल इस तरह का मामला सामने आने के बाद लोग चुटकी ले रहे हैं और तरह-तरह की बातें आपस में कर रहे हैं. वहीं, इस मामले में गुरारू सीओ संजीव कुमार त्रिवेदी ने बताया कि कुत्ते के लिए जाति प्रमाण पत्र का आवेदन ऑनलाइन आया था. आवेदन को रद्द कर दिया गया है.
"आवेदन ऑनलाइन आया था, जिसे रिजेक्ट कर दिया गया है. किसने इस तरह की शरारत की है उसकी तलाश की जा रही है. आवेदन में जो मोबाइल नंबर दिया गया है, उस पर डायल कर संबंधित व्यक्ति की तलाश करने की कोशिश हो रही है. जिस मोबाइल नंबर से संपर्क साधा जा रहा है, उसका ट्रूकॉलर राजा बाबू आ रहा है. जल्द ही मामले में कार्रवाई कर ली जाएगी. फिलहाल शरारती तत्व की तलाश चल रही है."- संजीव कुमार त्रिवेद, सीओ गुरारू
आवेदन किया गया रिजेक्ट: आवेदन 24 जनवरी 2023 को ऑनलाइन भेजा गया है और जाति प्रमाण पत्र के लिए आवेदन किया गया है. हालांकि इसकी जांच के बाद इस आवेदन को रिजेक्ट कर दिया गया है. वहीं, मामले की जांच के दौरान दिया गया आधार कार्ड भी फर्जी निकला है. कहा जा रहा है कि किसी ने जानबूझकर शरारत की है.