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3 महीने तक मरीज की खोपड़ी फ्रिज में रख डॉक्टरों ने किया इलाज, फिर भरी उसमें जान! - dhanbad news

Dhanbad में डॉक्टरो ने Road Accident में गंभीर रूप से घायल मरीज का सफलता पूर्वक इलाज किया है. इलाज के दौरान डॉक्टरों ने मरीज की खोपड़ी निकाल कर तीन महीने तक फ्रिज में रख दिया था. तीन महीने के बाद उन्होंने फिर से फ्रिज मरीज के सिर में लगा दिया.

Doctors treated patient by keeping patient skull in fridge
Doctors treated patient by keeping patient skull in fridge
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Published : Aug 10, 2022, 10:14 PM IST

धनबाद: जिले के निरसा इलाके में सड़क हादसे (Road Accident) के बाद युवक का सिर गंभीर रूप से जख्मी हो गया था. सिर में चोट की वजह से वह अपनी याददाश्त भी खो चुका था. लेकिन धनबाद के डॉक्टरों की टीम (Team Of Doctors) ने उसका सफल ऑपरेशन कर उसके जीवन को एक बार फिर से नया आयाम दिया है. इस ऑपरेशन की सबसे बड़ी बात यह है कि जिस युवक का ऑपरेशन किया गया. उसकी खोपड़ी 3 महीने तक डॉक्टरों ने फ्रिज में रखी. युवक की दो बार सर्जरी की गई. पहली सर्जरी में युवक की खोपड़ी निकाल कर 3 महीने तक फ्रिज में रखी गई, दूसरी बार सर्जरी के बाद युवक की खोपड़ी फिर से लगाई गई.

ये भी पढ़ें: बाप रे बाप...मरीज के पेट में मिला स्टील का गिलास, पर यह अंदर पहुंचा कैसे?



निरसा के कुसेड़ा के रहने वाले गौरांग सूत्रधर 28 अप्रैल को सड़क हादसे का शिकार हो गया था. जिसमें गंगा सूत्रधर का सिर बुरी तरह जख्मी हो गया था. इस हादसे में उसने अपनी याददाश्त भी खो दी. जिले के सरायढेला के एक निजी अस्पताल में भर्ती कराने के बाद डॉक्टरों ने उसके सिर के ऑपरेशन की बात कही गई. न्यूरो सर्जन डॉक्टर लिंगराज त्रिपाठी की तीन सदस्य डॉक्टरों की टीम के साथ गौरांग का सफल ऑपरेशन किया.

देखें वीडियो




न्यूरो सर्जन डॉक्टर लिंग धर्म त्रिपाठी ने बताया कि मरीज काफी गंभीर अवस्था में था. बिना ऑपरेशन के मरीज की जान बचाना मुश्किल भरा था. सबसे पहले मरीज की खोपड़ी को खोल कर उसकी सर्जरी कर दी गई. दुर्घटना के कारण सिर में आई चोट की वजह से ब्लड क्लॉट हो गया था. खोपड़ी खोलने के बाद यह ब्लड क्लॉट धीरे ठीक होने लगा. इस दौरान 3 महीने तक मरीज की खोपड़ी फ्रीज में रखी गई थी. ब्लड क्लॉट बाहर निकालने के बाद वापस फिर से खोपड़ी को सर्जरी कर लगा दिया गया. जिसके बाद मरीज पूरी तरह से ठीक है. उसकी याददाश्त आती अब पहले से अच्छी हो गई है.

धनबाद: जिले के निरसा इलाके में सड़क हादसे (Road Accident) के बाद युवक का सिर गंभीर रूप से जख्मी हो गया था. सिर में चोट की वजह से वह अपनी याददाश्त भी खो चुका था. लेकिन धनबाद के डॉक्टरों की टीम (Team Of Doctors) ने उसका सफल ऑपरेशन कर उसके जीवन को एक बार फिर से नया आयाम दिया है. इस ऑपरेशन की सबसे बड़ी बात यह है कि जिस युवक का ऑपरेशन किया गया. उसकी खोपड़ी 3 महीने तक डॉक्टरों ने फ्रिज में रखी. युवक की दो बार सर्जरी की गई. पहली सर्जरी में युवक की खोपड़ी निकाल कर 3 महीने तक फ्रिज में रखी गई, दूसरी बार सर्जरी के बाद युवक की खोपड़ी फिर से लगाई गई.

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निरसा के कुसेड़ा के रहने वाले गौरांग सूत्रधर 28 अप्रैल को सड़क हादसे का शिकार हो गया था. जिसमें गंगा सूत्रधर का सिर बुरी तरह जख्मी हो गया था. इस हादसे में उसने अपनी याददाश्त भी खो दी. जिले के सरायढेला के एक निजी अस्पताल में भर्ती कराने के बाद डॉक्टरों ने उसके सिर के ऑपरेशन की बात कही गई. न्यूरो सर्जन डॉक्टर लिंगराज त्रिपाठी की तीन सदस्य डॉक्टरों की टीम के साथ गौरांग का सफल ऑपरेशन किया.

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न्यूरो सर्जन डॉक्टर लिंग धर्म त्रिपाठी ने बताया कि मरीज काफी गंभीर अवस्था में था. बिना ऑपरेशन के मरीज की जान बचाना मुश्किल भरा था. सबसे पहले मरीज की खोपड़ी को खोल कर उसकी सर्जरी कर दी गई. दुर्घटना के कारण सिर में आई चोट की वजह से ब्लड क्लॉट हो गया था. खोपड़ी खोलने के बाद यह ब्लड क्लॉट धीरे ठीक होने लगा. इस दौरान 3 महीने तक मरीज की खोपड़ी फ्रीज में रखी गई थी. ब्लड क्लॉट बाहर निकालने के बाद वापस फिर से खोपड़ी को सर्जरी कर लगा दिया गया. जिसके बाद मरीज पूरी तरह से ठीक है. उसकी याददाश्त आती अब पहले से अच्छी हो गई है.

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