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सुप्रीम कोर्ट में याचिका दाखिल, 45 से कम उम्र वालों को भी लगे वैक्सीन - कोरोना की दूसरी लहर

सुप्रीम कोर्ट में एक जनहित याचिका (पीआईएल) दायर की गई है. याचिका दायर करने वाले तहसीन पूनावाला का कहना है कि 45 साल से कम उम्र के नागरिकों सहित सभी के लिए टीकाकरण शुरू करने की मांग की गई है.

सुप्रीम कोर्ट में एक जनहित याचिका
सुप्रीम कोर्ट में एक जनहित याचिका
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Published : Apr 12, 2021, 6:28 PM IST

नई दिल्ली : देश में कोरोना वैक्सीन लगाने का अभियान तेज गति से चल रहा है. लेकिन लगातार बढ़ते कोरोना मामलों को देखते हुए राज्य सरकारों से वैक्सीनेशन प्रक्रिया को हर उम्र के लोगों के लिए शुरू किए जाने की मांग की जा रही है. इसे लेकर सुप्रीम कोर्ट में एक याचिका दायर की गई है. याचिका तहसीन पूनावाला की तरफ से दाखिल की गई है. तहसीन ने कहा कि मैंने 45 साल से कम उम्र के नागरिकों सहित सभी के लिए टीकाकरण शुरू करने की मांग को लेकर माननीय सुप्रीम कोर्ट का रुख किया है.

जानकारी के मुताबिक, इस याचिका में बताया गया है कि भारत में कोविड-19 की दूसरी लहर ने अपना रंग दिखाना शुरू कर दिया है. ऐसे में सुरक्षा के नजरिए से सभी वर्ग व उम्र के लोगों और खासतौर पर स्वास रोग तथा लाइलाज बीमारी से ग्रस्त मरीजों का टीकाकरण जरूरी है. तहसीन पूनावाला ने इस याचिका में कहा है कि देश में स्वास रोग और लाइलाज बीमारी से ग्रस्त मरीजों के लिए टीकाकरण की व्यवस्था नहीं कराई गई है.

पढ़ेंः जीवन में कभी नहीं देखी कोविड-19 जैसी महामारी: डॉ. कूवाडिया

पूनावाला ने तर्क दिया है कि 45 साल से कम उम्र वाले लोगों का टीकाकरण नहीं करने का मतलब है अनुच्छेद 21, जीने का अधिकार और अनुच्छेद 14, समानता का अधिकार का उल्लंघन होना.

उनका कहना है कि जानवरों के अलावा इंसानों को भी जीने का हक है, जो अनुच्छेद 21 सुनिश्चित करता है.

इसके अलावा उन्होंने याचिका में 19 साल से कम उम्र के बच्चों के टीकाकरण को प्राथमिकता देने का अनुरोध किया है.

नई दिल्ली : देश में कोरोना वैक्सीन लगाने का अभियान तेज गति से चल रहा है. लेकिन लगातार बढ़ते कोरोना मामलों को देखते हुए राज्य सरकारों से वैक्सीनेशन प्रक्रिया को हर उम्र के लोगों के लिए शुरू किए जाने की मांग की जा रही है. इसे लेकर सुप्रीम कोर्ट में एक याचिका दायर की गई है. याचिका तहसीन पूनावाला की तरफ से दाखिल की गई है. तहसीन ने कहा कि मैंने 45 साल से कम उम्र के नागरिकों सहित सभी के लिए टीकाकरण शुरू करने की मांग को लेकर माननीय सुप्रीम कोर्ट का रुख किया है.

जानकारी के मुताबिक, इस याचिका में बताया गया है कि भारत में कोविड-19 की दूसरी लहर ने अपना रंग दिखाना शुरू कर दिया है. ऐसे में सुरक्षा के नजरिए से सभी वर्ग व उम्र के लोगों और खासतौर पर स्वास रोग तथा लाइलाज बीमारी से ग्रस्त मरीजों का टीकाकरण जरूरी है. तहसीन पूनावाला ने इस याचिका में कहा है कि देश में स्वास रोग और लाइलाज बीमारी से ग्रस्त मरीजों के लिए टीकाकरण की व्यवस्था नहीं कराई गई है.

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पूनावाला ने तर्क दिया है कि 45 साल से कम उम्र वाले लोगों का टीकाकरण नहीं करने का मतलब है अनुच्छेद 21, जीने का अधिकार और अनुच्छेद 14, समानता का अधिकार का उल्लंघन होना.

उनका कहना है कि जानवरों के अलावा इंसानों को भी जीने का हक है, जो अनुच्छेद 21 सुनिश्चित करता है.

इसके अलावा उन्होंने याचिका में 19 साल से कम उम्र के बच्चों के टीकाकरण को प्राथमिकता देने का अनुरोध किया है.

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