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सड़क के नामकरण को लेकर सिंधिया के खिलाफ लगाया गया विवादास्पद पोस्टर - scindia poster

सड़क के नाम को परिवर्तित करने से नाराज प्रदर्शनकारियों ने इंदौर में ज्योतिरादित्य सिंधिया का एक विवादित पोस्टर लगा दिया. बाद में पुलिस ने पोस्टर हटा दिया.

ज्योतिरादित्य सिंधिया
ज्योतिरादित्य सिंधिया
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Published : Mar 5, 2021, 9:40 AM IST

इंदौर : मध्य प्रदेश के गुना शहर में एक सड़क का नाम राज्य के पंचायत एवं ग्रामीण विकास मंत्री महेंद्र सिंह सिसौदिया के दादा और दिवंगत स्वतंत्रता संग्राम सेनानी सागर सिंह सिसौदिया के नाम पर रखे जाने को लेकर सवाल उठाते हुए इंदौर में प्रदर्शनकारियों ने राज्यसभा सांसद ज्योतिरादित्य सिंधिया के खिलाफ विवादास्पद पोस्टर लगा दिया.

अधिकारियों के मुताबिक इस घटनाक्रम की जानकारी मिलने पर मौके पर पहुंची पुलिस ने प्रदर्शनकारियों को लौटाते हुए पोस्टर हटवा दिया.

प्रदर्शनकारी खुद को इंदौर के पूर्व होलकर राजवंश की शासक अहिल्याबाई होलकर के भक्त बता रहे थे.

प्रदर्शनकारियों ने गुना में सड़क के हालिया नामकरण को लेकर यह कहते हुए विरोध जताया कि पहले यह मार्ग अहिल्याबाई होलकर के नाम पर था. उधर, गुना के प्रशासन ने इस दावे को सरासर गलत बताया है.

गुना के बमोरी क्षेत्र की विधानसभा में नुमाइंदगी करने वाले महेंद्र सिंह सिसौदिया, सिंधिया के वफादार समर्थकों में गिने जाते हैं. वह राज्य में कांग्रेस के उन 22 बागी विधायकों में शामिल थे जिनके साल भर पहले पाला बदलकर भाजपा का दामन थाम लेने से कमलनाथ सरकार को रुखसत होना पड़ा था.

अधिकारियों ने बताया कि गुना नगर पालिका परिषद ने सोमवार को आयोजित कार्यक्रम में शहर के बूढ़े बालाजी-हनुमान टेकरी मार्ग का नामकरण पंचायत एवं ग्रामीण विकास मंत्री के दादा और दिवंगत स्वतंत्रता संग्राम सेनानी सागर ‍सिंह सिसौदिया के नाम पर किया था. इस कार्यक्रम में सिंधिया ने नामकरण की शिलालेख पट्टिका का अनावरण किया था.

यह लिखा था पोस्टर पर

चश्मदीदों के मुताबिक इस कार्यक्रम के तीन दिन बाद पूर्व होलकर शासकों के इंदौर स्थित राजबाड़ा महल के सामने बृहस्पतिवार को कुछ प्रदर्शनकारियों ने अहिल्याबाई होलकर की प्रतिमा के पास एक बैनर टांग दिया जिस पर छपा था- पुण्यश्लोक देवी अहिल्याबाई होलकर, सिंधिया को सद्बुद्धि दें. इस बैनर में अहिल्याबाई होलकर और सिंधिया, दोनों की तस्वीरें थीं. इसमें सिंधिया की तस्वीर पर लाल रंग से क्रॉस का निशान भी बना था.

चश्मदीदों के मुताबिक मौके पर पहुंचे पुलिसकर्मियों के कहने पर एक व्यक्ति ने विवादास्पद पोस्टर हटा दिया.

पढ़ें :- बंगाल चुनाव : नंदीग्राम से भाजपा को जीत का भरोसा

सर्राफा पुलिस थाने के प्रभारी सुनील शर्मा ने बताया, हमने प्रदर्शनकारियों से कहा कि उनके पास राजबाड़ा क्षेत्र में प्रदर्शन की प्रशासनिक अनुमति नहीं है. ऐसा कहे जाने के बाद वे लौट गए थे. उन्होंने बताया कि राजबाड़ा के सामने बिना प्रशासनिक अनुमति के प्रदर्शन पर फिलहाल कोई मामला दर्ज नहीं किया गया है.

इस बीच, गुना के जिलाधिकारी कुमार पुरुषोत्तम ने फोन पर कहा, यह बात सरासर गलत है कि गुना की जिस सड़क का नाम दिवंगत स्वतंत्रता संग्राम सेनानी सागर सिंह सिसौदिया के नाम पर किया गया है, वह पहले सरकारी रिकॉर्ड में अहिल्याबाई होलकर के नाम पर थी.

उन्होंने कहा, सागर सिंह सिसौदिया गुना क्षेत्र की बेहद प्रतिष्ठित शख्सियत थे. उनके नाम पर संबंधित सड़क के नामकरण का संकल्प गुना की नगर पालिका परिषद ने छह अगस्त 2019 को सर्वानुमति से पारित किया था. इससे पहले, यह सड़क किसी भी हस्ती के नाम पर नहीं थी.

इंदौर : मध्य प्रदेश के गुना शहर में एक सड़क का नाम राज्य के पंचायत एवं ग्रामीण विकास मंत्री महेंद्र सिंह सिसौदिया के दादा और दिवंगत स्वतंत्रता संग्राम सेनानी सागर सिंह सिसौदिया के नाम पर रखे जाने को लेकर सवाल उठाते हुए इंदौर में प्रदर्शनकारियों ने राज्यसभा सांसद ज्योतिरादित्य सिंधिया के खिलाफ विवादास्पद पोस्टर लगा दिया.

अधिकारियों के मुताबिक इस घटनाक्रम की जानकारी मिलने पर मौके पर पहुंची पुलिस ने प्रदर्शनकारियों को लौटाते हुए पोस्टर हटवा दिया.

प्रदर्शनकारी खुद को इंदौर के पूर्व होलकर राजवंश की शासक अहिल्याबाई होलकर के भक्त बता रहे थे.

प्रदर्शनकारियों ने गुना में सड़क के हालिया नामकरण को लेकर यह कहते हुए विरोध जताया कि पहले यह मार्ग अहिल्याबाई होलकर के नाम पर था. उधर, गुना के प्रशासन ने इस दावे को सरासर गलत बताया है.

गुना के बमोरी क्षेत्र की विधानसभा में नुमाइंदगी करने वाले महेंद्र सिंह सिसौदिया, सिंधिया के वफादार समर्थकों में गिने जाते हैं. वह राज्य में कांग्रेस के उन 22 बागी विधायकों में शामिल थे जिनके साल भर पहले पाला बदलकर भाजपा का दामन थाम लेने से कमलनाथ सरकार को रुखसत होना पड़ा था.

अधिकारियों ने बताया कि गुना नगर पालिका परिषद ने सोमवार को आयोजित कार्यक्रम में शहर के बूढ़े बालाजी-हनुमान टेकरी मार्ग का नामकरण पंचायत एवं ग्रामीण विकास मंत्री के दादा और दिवंगत स्वतंत्रता संग्राम सेनानी सागर ‍सिंह सिसौदिया के नाम पर किया था. इस कार्यक्रम में सिंधिया ने नामकरण की शिलालेख पट्टिका का अनावरण किया था.

यह लिखा था पोस्टर पर

चश्मदीदों के मुताबिक इस कार्यक्रम के तीन दिन बाद पूर्व होलकर शासकों के इंदौर स्थित राजबाड़ा महल के सामने बृहस्पतिवार को कुछ प्रदर्शनकारियों ने अहिल्याबाई होलकर की प्रतिमा के पास एक बैनर टांग दिया जिस पर छपा था- पुण्यश्लोक देवी अहिल्याबाई होलकर, सिंधिया को सद्बुद्धि दें. इस बैनर में अहिल्याबाई होलकर और सिंधिया, दोनों की तस्वीरें थीं. इसमें सिंधिया की तस्वीर पर लाल रंग से क्रॉस का निशान भी बना था.

चश्मदीदों के मुताबिक मौके पर पहुंचे पुलिसकर्मियों के कहने पर एक व्यक्ति ने विवादास्पद पोस्टर हटा दिया.

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सर्राफा पुलिस थाने के प्रभारी सुनील शर्मा ने बताया, हमने प्रदर्शनकारियों से कहा कि उनके पास राजबाड़ा क्षेत्र में प्रदर्शन की प्रशासनिक अनुमति नहीं है. ऐसा कहे जाने के बाद वे लौट गए थे. उन्होंने बताया कि राजबाड़ा के सामने बिना प्रशासनिक अनुमति के प्रदर्शन पर फिलहाल कोई मामला दर्ज नहीं किया गया है.

इस बीच, गुना के जिलाधिकारी कुमार पुरुषोत्तम ने फोन पर कहा, यह बात सरासर गलत है कि गुना की जिस सड़क का नाम दिवंगत स्वतंत्रता संग्राम सेनानी सागर सिंह सिसौदिया के नाम पर किया गया है, वह पहले सरकारी रिकॉर्ड में अहिल्याबाई होलकर के नाम पर थी.

उन्होंने कहा, सागर सिंह सिसौदिया गुना क्षेत्र की बेहद प्रतिष्ठित शख्सियत थे. उनके नाम पर संबंधित सड़क के नामकरण का संकल्प गुना की नगर पालिका परिषद ने छह अगस्त 2019 को सर्वानुमति से पारित किया था. इससे पहले, यह सड़क किसी भी हस्ती के नाम पर नहीं थी.

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