शिमला : कांग्रेस के रूख से अलग जाते हुए हिमाचल प्रदेश के लोक निर्माण मंत्री विक्रमादित्य सिंह ने शुक्रवार को समान नागरिक संहिता (यूसीसी) के लिए अपना 'पूर्ण समर्थन' दिया और इसका 'राजनीतिकरण' नहीं किये जाने का आग्रह किया. राज्य की कांग्रेस सरकार में लोक निर्माण एवं खेल मंत्री ने हालांकि सवाल किया कि लोकसभा चुनाव से कुछ महीने पहले यह मुद्दा क्यों उठाया जा रहा है. सिंह कांग्रेस की हिमाचल प्रदेश इकाई की प्रमुख प्रतिभा सिंह के बेटे हैं. उनके दिवंगत पिता वीरभद्र सिंह छह बार राज्य के मुख्यमंत्री रहे.
कांग्रेस नेता ने फेसबुक पर कहा, "मैं समान नागरिक संहिता का पूरा समर्थन करता हूं जो भारत की एकता और अखंडता के लिए जरूरी है, लेकिन इसका राजनीतिकरण नहीं किया जाना चाहिए." हालांकि, उन्होंने सवाल किया कि केंद्र की राष्ट्रीय जनतांत्रिक गठबंधन (राजग) सरकार ने पहले ऐसा कानून क्यों नहीं लागू किया, जबकि पिछले नौ साल से उसकी पूर्ण बहुमत की सरकार है. उन्होंने सवाल किया कि चुनाव से कुछ महीने पहले ही यह मुद्दा क्यों उठाया जा रहा है. कांग्रेस ने इस कदम का विरोध करते हुए दावा किया है कि भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) लोगों को बांटने की कोशिश कर रही है. उत्तराखंड के मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी ने शुक्रवार को कहा कि राज्य में जल्द ही समान नागरिक संहिता को लागू किया जाएगा.
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हिमाचल प्रदेश के पूर्व मुख्यमंत्री और भाजपा नेता जयराम ठाकुर ने विक्रमादित्य सिंह की टिप्पणी का स्वागत किया. उन्होंने कहा, "जब यूसीसी के बारे में बात होती है, तो विभिन्न राजनीतिक दलों और विचारधाराओं के बहुत से लोगों की आंतरिक आवाजें उन्हें बताती हैं कि यदि यह निर्णय लिया जाएगा, तो यह देश और समाज के हित में होगा. हमने हमेशा मांग की है कि कानून सभी के लिए समान होना चाहिए. अगर विक्रमादित्य सिंह ने यह कहा है, तो इसका मतलब है कि उन्होंने अपनी अंतरात्मा की आवाज सुनी और इसे व्यक्त किया."
(इनपुट-एजेंसी)