ETV Bharat / bharat

विपक्ष की अगुआई के लिए कांग्रेस के सामने बड़ी चुनौती बनी 'आप' - congress in icu

कांग्रेस के सामने अब नया संकट आ गया है. इस संकट का नाम है - आम आदमी पार्टी. पहले दिल्ली और अब पंजाब, दोनों जगहों पर आप ने ही उसे बेदखल किया है. दिल्ली में कांग्रेस का तकरीबन पूरा वोट बैंक आप में समाहित हो गया. यही स्थिति पंजाब में लग रही है. कांग्रेस ने न सिर्फ पंजाब जैसे महत्वपूर्ण राज्य की सत्ता गंवाई, बल्कि उत्तर प्रदेश, उत्तराखंड, मणिपुर और गोवा में भी उसे करारी शिकस्त झेलनी पड़ी.

kejriwal meeting with bhagwant mann
केजरीवाल भगवंत मान से मिलते
author img

By

Published : Mar 11, 2022, 6:15 PM IST

नई दिल्ली : हालिया विधानसभा चुनावों में करारी हार का सामना करने के बाद कांग्रेस अब अस्तित्व के संकट के साथ ही विपक्ष के खेमे की अगुवा होने की अपनी भूमिका को बचाए रखने की चुनौती का भी सामना कर रही है. उसके सामने यह चुनौती आम आदमी पार्टी की पंजाब विधानसभा चुनाव में प्रचंड जीत के कारण खड़ी हुई है.

राजनीतिक विश्लेषकों का कहना है कि 2024 के लोकसभा चुनाव के लिए कांग्रेस की राह बहुत मुश्किल होने जा रही है क्योंकि पार्टी 'आईसीयू' में है और इसमें नई जान फूंकने का कोई त्वरित उपाय नहीं है. आम आदमी पार्टी ने पंजाब की 117 सदस्यीय विधानसभा में 92 सीटें हासिल करके न सिर्फ प्रचंड जीत हासिल की, बल्कि कांग्रेस और शिरोमणि अकाली दल की जड़ें भी उखाड़ दीं.

कांग्रेस ने न सिर्फ पंजाब जैसे महत्वपूर्ण राज्य की सत्ता गंवाई, बल्कि उत्तर प्रदेश, उत्तराखंड, मणिपुर और गोवा में भी उसे करारी शिकस्त झेलनी पड़ी. पंजाब में जीत के साथ ही आप के पास दो प्रदेशों की सत्ता आ गई है. कांग्रेस की भी अब सिर्फ दो राज्यों राजस्थान और छत्तीसगढ़ में सत्ता है. महाराष्ट्र और झारखंड की गठबंधन सरकारों में वह एक कनिष्ठ साझेदार की भूमिका में है.

पंजाब में आप के शानदार प्रदर्शन पर शिवसेना सांसद प्रियंका चतुर्वेदी का कहना है, 'आप की जीत शानदार है और इसकी सराहना करने की जरूरत है. जो भी विपक्षी दल भाजपा को कड़ी टक्कर दे, उसका समर्थन किया जाना चाहिए.' राज्यसभा सदस्य प्रियंका ने कहा, 'यह कांग्रेस के लिए चुनौती होगी या नहीं, इस बारे में कांग्रेस को आत्ममंथन करने की जरूरत है...विपक्ष को मजबूत करने की जरूरत है.'

'सेंटर फॉर द स्टडी ऑफ डेवलपिंग सोसाइटीज' (सीएसडीएस) के सह-निदेशक संजय कुमार ने कहा कि आप के विस्तार से विपक्षी खेमे के अगुवा की कांग्रेस की भूमिका के लिए बड़ा खतरा पैदा हो गया है. उन्होंने कहा, 'कांग्रेस को इसका अहसास होना चाहिए कि जिस राज्य में आप ने पैठ बनाई है, वहां उसने व्यापक स्तर पर पैठ बनाई है...उन्होंने दिल्ली और पंजाब में कांग्रेस की कीमत पर पैठ बनाई है.'

कुमार ने कांग्रेस की मौजूदा स्थिति को चिकित्सीय शब्दावली में समझाते हुए कहा, 'अगर किसी की बांह की हड्डी टूटी है तो वह हड्डी रोग विशेषज्ञ के पास जाता है, अगर कोई और बीमारी है तो व्यक्ति संबंधित रोग के विशेषज्ञ चिकित्सक के पास जाता है, लेकिन अगर मरीज की हालत गंभीर है तो वह आईसीयू में होता है तथा उसका इलाज सभी तरह के विशेषज्ञ चिकित्सक करते हैं. कांग्रेस अब आईसीयू में पड़ी नजर आती है.'

लेखक और वरिष्ठ पत्रकार रशीद किदवई का कहना है कि आप का उदय विपक्षी खेमे में कांग्रेस के लिए बड़ा खतरा है. उन्होंने कहा कि यह खतरा अलग अलग राज्यों में अलग-अलग स्तर का है. मसलन, आप अब तक मध्य प्रदेश, राजस्थान और छत्तीसगढ़ में पैठ नहीं बना पाई है.

ये भी पढ़ें : दिल्ली में केजरीवाल से मिले भगवंत मान, 16 मार्च को लेंगे सीएम पद की शपथ

नई दिल्ली : हालिया विधानसभा चुनावों में करारी हार का सामना करने के बाद कांग्रेस अब अस्तित्व के संकट के साथ ही विपक्ष के खेमे की अगुवा होने की अपनी भूमिका को बचाए रखने की चुनौती का भी सामना कर रही है. उसके सामने यह चुनौती आम आदमी पार्टी की पंजाब विधानसभा चुनाव में प्रचंड जीत के कारण खड़ी हुई है.

राजनीतिक विश्लेषकों का कहना है कि 2024 के लोकसभा चुनाव के लिए कांग्रेस की राह बहुत मुश्किल होने जा रही है क्योंकि पार्टी 'आईसीयू' में है और इसमें नई जान फूंकने का कोई त्वरित उपाय नहीं है. आम आदमी पार्टी ने पंजाब की 117 सदस्यीय विधानसभा में 92 सीटें हासिल करके न सिर्फ प्रचंड जीत हासिल की, बल्कि कांग्रेस और शिरोमणि अकाली दल की जड़ें भी उखाड़ दीं.

कांग्रेस ने न सिर्फ पंजाब जैसे महत्वपूर्ण राज्य की सत्ता गंवाई, बल्कि उत्तर प्रदेश, उत्तराखंड, मणिपुर और गोवा में भी उसे करारी शिकस्त झेलनी पड़ी. पंजाब में जीत के साथ ही आप के पास दो प्रदेशों की सत्ता आ गई है. कांग्रेस की भी अब सिर्फ दो राज्यों राजस्थान और छत्तीसगढ़ में सत्ता है. महाराष्ट्र और झारखंड की गठबंधन सरकारों में वह एक कनिष्ठ साझेदार की भूमिका में है.

पंजाब में आप के शानदार प्रदर्शन पर शिवसेना सांसद प्रियंका चतुर्वेदी का कहना है, 'आप की जीत शानदार है और इसकी सराहना करने की जरूरत है. जो भी विपक्षी दल भाजपा को कड़ी टक्कर दे, उसका समर्थन किया जाना चाहिए.' राज्यसभा सदस्य प्रियंका ने कहा, 'यह कांग्रेस के लिए चुनौती होगी या नहीं, इस बारे में कांग्रेस को आत्ममंथन करने की जरूरत है...विपक्ष को मजबूत करने की जरूरत है.'

'सेंटर फॉर द स्टडी ऑफ डेवलपिंग सोसाइटीज' (सीएसडीएस) के सह-निदेशक संजय कुमार ने कहा कि आप के विस्तार से विपक्षी खेमे के अगुवा की कांग्रेस की भूमिका के लिए बड़ा खतरा पैदा हो गया है. उन्होंने कहा, 'कांग्रेस को इसका अहसास होना चाहिए कि जिस राज्य में आप ने पैठ बनाई है, वहां उसने व्यापक स्तर पर पैठ बनाई है...उन्होंने दिल्ली और पंजाब में कांग्रेस की कीमत पर पैठ बनाई है.'

कुमार ने कांग्रेस की मौजूदा स्थिति को चिकित्सीय शब्दावली में समझाते हुए कहा, 'अगर किसी की बांह की हड्डी टूटी है तो वह हड्डी रोग विशेषज्ञ के पास जाता है, अगर कोई और बीमारी है तो व्यक्ति संबंधित रोग के विशेषज्ञ चिकित्सक के पास जाता है, लेकिन अगर मरीज की हालत गंभीर है तो वह आईसीयू में होता है तथा उसका इलाज सभी तरह के विशेषज्ञ चिकित्सक करते हैं. कांग्रेस अब आईसीयू में पड़ी नजर आती है.'

लेखक और वरिष्ठ पत्रकार रशीद किदवई का कहना है कि आप का उदय विपक्षी खेमे में कांग्रेस के लिए बड़ा खतरा है. उन्होंने कहा कि यह खतरा अलग अलग राज्यों में अलग-अलग स्तर का है. मसलन, आप अब तक मध्य प्रदेश, राजस्थान और छत्तीसगढ़ में पैठ नहीं बना पाई है.

ये भी पढ़ें : दिल्ली में केजरीवाल से मिले भगवंत मान, 16 मार्च को लेंगे सीएम पद की शपथ

ETV Bharat Logo

Copyright © 2025 Ushodaya Enterprises Pvt. Ltd., All Rights Reserved.