नई दिल्ली : मेघालय के घने जंगल में मछली की एक ऐसी प्रजाति मिली है, जो गुफाओं में पाई जाने वाली मछलियों में सबसे बड़ी है. आकार में करीब 1.5 फीट लंबाई तक की इस मछली का वजन 800 ग्राम से एक किलो तक होता है और यह 300 फीट नीचे जमीन के अंदर पाई जाती है. प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने रविवार को 'मन की बात' रेडियो कार्यक्रम में इस मछली की चर्चा की.
भारत की जैव-विविधता का जिक्र करते हुए इस मछली के संबंध में प्रधानमंत्री ने कहा, 'हाल ही में जीव विज्ञानियों ने मछली की एक ऐसी नई प्रजाति की खोज की है, जो मेघालय में गुफाओं के अंदर पाई जाती है. माना जा रहा है कि यह मछली गुफाओं में रहने वाले जल जीवों की प्रजाति में सबसे बड़ी है. यह मछली ऐसी गहरी और अंधेरी भूमिगत गुफाओं में रहती है, जहां रोशनी भी शायद ही पहुंच पाती है.'
प्रधानमंत्री ने कहा, 'वैज्ञानिक भी इस बात से आश्चर्यचकित हैं कि इतनी बड़ी मछली इतनी गहरी गुफाओं में कैसे जीवित रहती है. यह एक सुखद बात है कि हमारा भारत और विशेष तौर पर मेघालय दुर्लभ प्रजाति का गढ़ है. यह भारत की जैव-विविधता को एक नया आयाम देने वाला है.'
मोदी ने कहा, 'हमारे आसपास ऐसे बहुत सारे अजूबे हैं, जिनका अब तक पता नहीं चला है. इन अजूबों का पता लगाने के लिए खोजी जुनून जरूरी होता है.'
मछली की इस प्रजाति की खोज हाल ही में नेशनल जियोग्राफी के अनुसंधानकर्ता डेनियल हैरिस की है.
ये भी पढ़ें-वाशिंगटन से रवाना हुए ट्रंप, कहा- भारत के लोगों से मिलने के लिए उत्सुक हूं
बताया जाता है कि वैज्ञानिकों ने अब तक दुनियाभर में भूमिगत गुफाओं में पाई जाने वाली मछलियों की तकरीबन 250 प्रजातियों की खोज की है, जिनमें से मेघालय में पाई गई भूमिगत मछली का आकार तकरीबन 10 गुना बड़ा है.