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उत्तराखंड की पूजा ने अंतरराष्ट्रीय वाटर स्पोर्ट्स रेसिंग में जीता कांस्य पदक

पूजा चौहान ने चीन के निंम्बो में आयोजित वाटर स्पोर्ट्स रेसिंग प्रतियोगिता में 500 मीटर की रेस में कांस्य पदक जीतकर भारत का नाम रोशन किया है. भारत देश के लिए यह एक बड़ी उपलब्धि है. जानें विस्तार से...

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Published : Nov 8, 2019, 12:00 PM IST

पूजा चौहान

रुड़की : शिक्षा नगरी की बेटियां पूरे प्रदेश का नाम देश-विदेश में रोशन कर रही हैं. अभी तक यहां की बेटियों ने लोको पायलट, बॉलीवुड, संगीत, रेसलिंग, प्रशासनिक सेवाओं में कमाल कर दिया है. अब एक और बेटी द्वारा रुड़की का नाम रोशन किया गया है जिसने अंतरराष्ट्रीय ड्रैगन बोट कप 2019 में कांस्य पदक जीत कर इतिहास रचा है. उनकी इस उपलब्धि से परिजन काफी खुश हैं.

भारत के लिए यह एक बड़ी उपलब्धि इसलिए भी है कि क्योंकि अभी तक देश के पास वाटर स्पोर्ट्स रेसिंग में अंतरराष्ट्रीय स्तर पर कोई पदक नहीं है. पूजा ने बताया कि पंजाब, हरियाणा व उत्तराखंड से 16 लड़कियों ने इस प्रतियोगिता में भाग लिया, जिनमें 8 लड़कियों को रिजर्व रखा गया और 8 लड़कियों ने दमखम के साथ हिस्सा लेकर 7 अन्य पदक के साथ ही कांस्य पदक पर कब्जा जमाया.

ईटीवी भारत रिपोर्ट

पूजा चौहान के कोच फिलिप मैथ्यू ने बताया कि वह आर्मी से रिटायर्ड हैं और वह स्वयं भी 18 गोल्ड मैडल जीत चुके हैं. उन्होंने बताया कि 34 टीमों के साथ कड़ा मुकाबला करते हुए भारत सेमीफाइनल तक पहुंचा. यहां भारत का मुकाबला अमेरिका, रूस, स्पेन, हांगकांग, चाइना, चाइना निंग्बो के साथ हुआ.

500 मीटर की प्रतियोगिता में चाइना ने गोल्ड, चाइना निंग्बो ने सिल्वर व भारत ने ब्रांस मेडल जीता. अपनी इस जीत पर भारत की बेटियां खुशी से झूम उठीं और तिरंगे को हाथों में लेकर ग्राउंड का चक्कर लगाया.

पूजा चौहान ने बताया कि चाइना द्वारा उनका पारंपरिक रूप से स्वागत किया गया और प्रतियोगिता से एक दिन पहले पहुंची लड़कियों के चार्ज (रहना-खाना) को भी वापस कर दिया.

यह भी पढ़ेंः चीन के 15 विश्वविद्यालयों में पढ़ाई जा रही है हिंदी, देखें वीडियो

पूजा चौहान ने कोच पैनल के सदस्यों बिजेंद्र सिंह, मंजीत सिंह, दिलीप चौहान व ठाकुर मंडेला का भी इस प्रतियोगिता में योगदान पर आभार जताया. विशेष रुप से उन्होंने रुड़की के शिवालिक क्लब और खान क्लब के कोच पीयूष शर्मा व फिरोज खान को भी धन्यवाद दिया.

उन्होंने कहा कि शिवालिक क्लब के कोच फिलिप मैथ्यू की कड़ी लगन और उनकी मेहनत से ही उन्हें यह सफलता मिली है. उन्होंने सरकार से अपील की है कि खेल जगत की ऐसी प्रतिभाओं को बेस्ट खिलाड़ी के सम्मान से नवाजा जाए, जिनकी बदौलत आज भारत को वाटर स्पोर्ट्स में कांस्य पदक मिला.

रुड़की : शिक्षा नगरी की बेटियां पूरे प्रदेश का नाम देश-विदेश में रोशन कर रही हैं. अभी तक यहां की बेटियों ने लोको पायलट, बॉलीवुड, संगीत, रेसलिंग, प्रशासनिक सेवाओं में कमाल कर दिया है. अब एक और बेटी द्वारा रुड़की का नाम रोशन किया गया है जिसने अंतरराष्ट्रीय ड्रैगन बोट कप 2019 में कांस्य पदक जीत कर इतिहास रचा है. उनकी इस उपलब्धि से परिजन काफी खुश हैं.

भारत के लिए यह एक बड़ी उपलब्धि इसलिए भी है कि क्योंकि अभी तक देश के पास वाटर स्पोर्ट्स रेसिंग में अंतरराष्ट्रीय स्तर पर कोई पदक नहीं है. पूजा ने बताया कि पंजाब, हरियाणा व उत्तराखंड से 16 लड़कियों ने इस प्रतियोगिता में भाग लिया, जिनमें 8 लड़कियों को रिजर्व रखा गया और 8 लड़कियों ने दमखम के साथ हिस्सा लेकर 7 अन्य पदक के साथ ही कांस्य पदक पर कब्जा जमाया.

ईटीवी भारत रिपोर्ट

पूजा चौहान के कोच फिलिप मैथ्यू ने बताया कि वह आर्मी से रिटायर्ड हैं और वह स्वयं भी 18 गोल्ड मैडल जीत चुके हैं. उन्होंने बताया कि 34 टीमों के साथ कड़ा मुकाबला करते हुए भारत सेमीफाइनल तक पहुंचा. यहां भारत का मुकाबला अमेरिका, रूस, स्पेन, हांगकांग, चाइना, चाइना निंग्बो के साथ हुआ.

500 मीटर की प्रतियोगिता में चाइना ने गोल्ड, चाइना निंग्बो ने सिल्वर व भारत ने ब्रांस मेडल जीता. अपनी इस जीत पर भारत की बेटियां खुशी से झूम उठीं और तिरंगे को हाथों में लेकर ग्राउंड का चक्कर लगाया.

पूजा चौहान ने बताया कि चाइना द्वारा उनका पारंपरिक रूप से स्वागत किया गया और प्रतियोगिता से एक दिन पहले पहुंची लड़कियों के चार्ज (रहना-खाना) को भी वापस कर दिया.

यह भी पढ़ेंः चीन के 15 विश्वविद्यालयों में पढ़ाई जा रही है हिंदी, देखें वीडियो

पूजा चौहान ने कोच पैनल के सदस्यों बिजेंद्र सिंह, मंजीत सिंह, दिलीप चौहान व ठाकुर मंडेला का भी इस प्रतियोगिता में योगदान पर आभार जताया. विशेष रुप से उन्होंने रुड़की के शिवालिक क्लब और खान क्लब के कोच पीयूष शर्मा व फिरोज खान को भी धन्यवाद दिया.

उन्होंने कहा कि शिवालिक क्लब के कोच फिलिप मैथ्यू की कड़ी लगन और उनकी मेहनत से ही उन्हें यह सफलता मिली है. उन्होंने सरकार से अपील की है कि खेल जगत की ऐसी प्रतिभाओं को बेस्ट खिलाड़ी के सम्मान से नवाजा जाए, जिनकी बदौलत आज भारत को वाटर स्पोर्ट्स में कांस्य पदक मिला.

Intro:रुड़की

रूड़की: शिक्षा नगरी रुड़की की शान बेटियां पूरे उत्तराखंड का नाम देश विदेश में रोशन कर रही हैं अगर बात करें अभी तक लोको पायलट बॉलीवुड की दुनिया संगीत की दुनिया, रेसलर , प्रशासनिक सेवाओ में रुड़की की बेटियों ने कमाल कर दिया है अब एक और बेटी के द्वारा रुड़की का नाम रोशन किया गया है जिसने अतंराष्ट्रीय ड्रेगन बोट कप 2019 में कांस्य पदक जीत कर इतिहास रचा है।

बता दें कि रूड़की में दिल्ली रोड स्थित कर्नल एनक्लेव निवासी लेखपाल के पद से सेवानिवृत्त तेजपाल सिंह चौहान की बेटी पूजा चौहान ने चाइना निम्बो में 2 व 3 नम्बर को आयोजित प्रतियोगिता में 500 मीटर की रेस में कांस्य पदक जीतकर भारत की झोली में डाला है। भारत देश के लिए यह एक बड़ी उपलब्धि इसलिए भी है कि अभी तक देश के पास वाटर स्पोर्ट्स रेसिंग में अंतर्राष्ट्रीय स्तर पर कोई पदक नही है।

Body:पूजा ने बताया कि पंजाब, हरियाणा व उत्तराखंड से 16 लड़कियों ने इस प्रतियोगिता में भाग लिया, जिनमें 8 लड़कियों को रिजर्व (किसी भी दुर्घटना में खिलाड़ी की जगह लेने वाले) रखा गया और 8 लड़कियों ने दम-खम के साथ हिस्सा लेकर 7 अन्य पदक के साथ ही कांस्य पदक पर अपना कब्जा जमाया। पूजा चौहान के कोच फिलिप मैथ्यू ने बताया कि वह आर्मी से रिटायर्ड है ओर वह स्वयं भी 18 गोल्ड मैडल जीत चुके है। उन्होंने बताया कि 34 टीमों के साथ कड़ा मुकाबला करते हुए भारत सेमी फाइनल तक पहुंचा और यहाँ भारत का मुकाबला अमेरिका, रूस, स्पेन, होमकोम, चाइना, चाइना निम्बो के साथ हुआ। 500 मीटर की प्रतियोगिता में चाइना ने गोल्ड, चाइना निम्बो ने सिल्वर व भारत ने ब्रोंज मैडल जीता। अपनी इस जीत पर भारत की बेटियां खुशी से झूम उठी और तिरंगे को हाथों में पकड़कर ग्राउंड का चक्कर लगाया।

Conclusion:वहीं पूजा चौहान ने बताया कि चाइना द्वारा उनका अपने देश मे पहुंचने पर पारंपरिक रुप से स्वागत किया गया और प्रतियोगिता से एक दिन पहले पहुंची लड़कियों के चार्ज (रहना- खाना) को भी चाइना ने वापस कर दिया। पूजा चौहान ने कोच पैनल के सदस्यों बिजेंद्र सिंह, मंजीत सिंह, दिलीप चौहान व ठाकुर मंडेला का भी इस प्रतियोगिता में योगदान पर आभार जताया। विशेष रुप से उन्होंने रुड़की के शिवालिक क्लब ओर खान क्लब के कोच पीयूष शर्मा व फिरोज खान का भी धन्यवाद दिया। उन्होंने कहा कि शिवालिक क्लब के कोच फिलिप मैथ्यू की कड़ी लग्न ओर उनकी मेहनत से ही आज उन्हें यह सफलता मिली है। उन्होंने सरकार से अपील की कि खेल जगत की ऐसी प्रतिभाओं को बेस्ट खिलाड़ी के सम्मान से नवाजा जाए, जिनकी बदौलत आज भारत को वाटर स्पोर्ट्स में कांस्य पदक मिला।

बाइट - पूजा चौहान (अन्तराष्ट्रीय खिलाड़ी)
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