नई दिल्ली : कांग्रेस के पूर्व अध्यक्ष राहुल गांधी ने किसान संगठनों के भारत बंद का समर्थन करते हुए शुक्रवार को विभिन्न राज्यों के कई किसानों के साथ डिजिटल संवाद किया और दावा किया कि केंद्र की नरेंद्र मोदी सरकार पर कृषकों को रत्ती भर भरोसा नहीं है. उन्होंने यह आरोप भी लगाया कि संसद से पारित कृषि संबंधी विधेयक देश के किसानों को गुलाम बना देंगे.
महाराष्ट्र, बिहार, हरियाणा और कुछ अन्य राज्यों के किसान हुए शामिल
किसानों से बातचीत का वीडियो शेयर करते हुए राहुल गांधी ने ट्वीट किया कि किसानों से बातचीत करके एक बात साफ हो गई कि उन्हें मोदी सरकार पर रत्ती भर भी भरोसा नहीं है. किसान भाइयों की बुलंद आवाज के साथ हम सब की आवाज भी जुड़ी है और आज पूरा देश मिलकर इन कृषि कानूनों का विरोध करता है. कांग्रेस नेता के साथ डिजिटल संवाद में महाराष्ट्र, बिहार, हरियाणा और कुछ अन्य राज्यों के किसान शामिल हुए.
किसानों ने जताई नाराजगी
बिहार के किसानों में से एक धीरेंद्र कुमार ने राहुल गांधी से कहा कि यह एक अंधा कानून है. गरीबों और किसानों का शोषण किया जा रहा है. हरियाणा के राकेश जाखड़ ने कहा कि अगर इन अध्यादेशों से किसानों को लाभ मिलेगा, तो सरकार ने एमएसपी को इसमें क्यों नहीं जोड़ा? किसान कमीशन एजेंटों के साथ काम कर रहे हैं, जिन्हें सरकार बिचौलिया कह रही है. बिचौलिए तो अब आएंगे, जब हमारी उपज कॉर्पोरेट जगत खरीदेगा.
जाखड़ ने आगे कहा कि जो भी काम पिछली सरकारों द्वारा किसानों के लिए किया गया था, यह सरकार सबकुछ बेच रही है. इसी तरह हरियाणा के किसान ओमप्रकाश धनकड़, महाराष्ट्र से अशोक बुटरा और बिहार के एक किसान प्रताप पांडे ने भी नए बिल पर नाराजगी जताई.
नए कृषि कानून हमारे किसानों को गुलाम बना देंगे : राहुल गांधी
राहुल गांधी ने अपनी समापन टिप्पणी में कहा कि हमें इन बिलों का विरोध करना होगा. किसानों के लिए नहीं बल्कि भारत के भविष्य के लिए. युवा, सेना, पुलिस में किसान की आवाज है और यह आवाज बहुत शक्तिशाली है. इस आवाज के इस्तेमाल से हमें अपनी आजादी मिली. एक बार फिर भारत को किसानों की आवाज से आजादी मिलेगी.
इससे पहले कांग्रेस के पूर्व अध्यक्ष ने एक अन्य ट्वीट में दावा किया कि एक त्रुटिपूर्ण जीएसटी ने सूक्ष्म, लघु एवं मध्यम उद्योग को बर्बाद कर दिया. नए कृषि कानून हमारे किसानों को गुलाम बना देंगे.
ईस्ट इंडिया कंपनी राज की याद दिलाते हैं कृषि विधेयक : प्रियंका गांधी वाड्रा
कांग्रेस महासचिव प्रियंका गांधी वाड्रा ने भी किसानों के प्रदर्शन का समर्थन किया और आरोप लगाया कि यह कृषि विधेयक ईस्ट इंडिया कंपनी राज की याद दिलाते हैं. प्रियंका ने ट्वीट किया कि किसानों से एमएसपी छीन ली जाएगी. उन्हें ठेके पर खेती के जरिए खरबपतियों का गुलाम बनने पर मजबूर किया जाएगा. न दाम मिलेगा, न सम्मान. किसान अपने ही खेत पर मजदूर बन जाएगा. उन्होंने दावा किया कि भाजपा के कृषि विधेयक ईस्ट इंडिया कंपनी राज की याद दिलाते हैं. हम यह अन्याय नहीं होने देंगे.
किसान और मजदूर भारत बंद करने को मजबूर
भारत बंद का समर्थन करते हुए कांग्रेस प्रवक्ता रणदीप सुरजेवाला ने ट्वीट किया कि पेट में अंगारे और मन में तूफान लिए देश का अन्नदाता किसान और भाग्यविधाता खेतिहर मजदूर भारत बंद करने को मजबूर है. अहंकारी मोदी सरकार को न उसके मन की व्यथा दिखती है, न उसकी आत्मा की पीड़ा महसूस होती है. उन्होंने कहा कि आइए, भारत बंद में किसान-मजदूर के साथ खड़े हों, संघर्ष का संकल्प लें.
खेत-खलिहानों को पूंजीपतियों के हाथ गिरवी रखने का षड्यंत्र : कांग्रेस
कांग्रेस ने कृषि से जुड़े तीन विधेयकों को लेकर केंद्र की नरेंद्र मोदी सरकार पर निशाना साधते हुए शुक्रवार को कहा कि केंद्र सरकार इन कानूनों के जरिए खेत-खलिहानों को पूंजीपतियों के हाथ गिरवी रखने का षड्यंत्र कर रही है. साथ ही कहा कि कांग्रेस इन काले कानूनों के खिलाफ खिलाफ भारत बंद में देश के अन्नदाता के साथ अडिग खड़ी है.
संसद में संविधान का गला घोंटा जा रहा : रणदीप सुरजेवाला
कांग्रेस के मुख्य प्रवक्ता रणदीप सुरजेवाला ने जयपुर में संवाददाताओं से कहा कि केंद्र सरकार ने इन तीन काले कानूनों के माध्यम से किसान, खेत-मजदूर, छोटे दुकानदार, मंडी मजदूर और कर्मचारियों की आजीविका पर एक क्रूर हमला बोला है. उन्होंने कहा कि किसान-खेत मजदूर के भविष्य को रौंद कर प्रधानमंत्री ने उनके भाग्य में बदहाली और बर्बादी लिख दी है और यह किसान, खेत और खलिहान के खिलाफ एक घिनौना षड्यंत्र है.
सुरजेवाला ने कहा कि संसद में संविधान का गला घोंटा जा रहा है और खेत खलिहान में किसानों-मजदूरों की आजीविका का. देश में कोरोना, सीमा पर चीन और खेती पर मोदी सरकार हमलावर है.
इस अवसर पर छत्तीसगढ़ के कैबिनेट मंत्री टीएस सिंहदेव तथा कांग्रेस प्रदेशाध्यक्ष गोविंद सिंह दोटासरा ने भी अपनी बात रखी.