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जंकफूड से बढ़ रही है स्कूली बच्चों में बीमारी, लगेगा प्रतिबंध: FSSSI

FSSSI ने स्कूली बच्चों में बढ़ती बीमारी को लेकर मिल रही शिकायतों के बाद एक ठोस कदम उठाया है. अब आने वाले समय में स्कूल कैंटीनों और उसके आस-पास में जंकफूड को प्रतिबंधित किया जाएगा. पढ़ें पूरी खबर...

इनोशी शर्मा
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Published : Nov 8, 2019, 8:07 PM IST

Updated : Nov 9, 2019, 12:06 AM IST

नई दिल्ली : भारतीय खाद्य सुरक्षा और मानक प्राधिकरण (FSSSI) ने उन सभी प्रकार के जंक फूड को स्कूल कैंटीन और उसके 50 मीटर के क्षेत्र में प्रतिबंधित करने का प्रस्ताव दिया है. इनमें उच्च वसा, नमक,और शक्कर पाए जाते हैं. इसके साथ इनके प्रचार पर प्रतिबंध लगाने का आदेश दिया है.

FSSSI को स्कूलों में बच्चों के लिए स्वस्थ आहार सुनिश्चित करने के लिए कार्य सौंपा गया है. हाल ही में इन्होंने दिशानिर्देशों के साथ एक पत्र जारी किया.

ईटीवी भारत से बात करती FSSSI की निदेशिका

ईटीवी भारत से बात करते हुए FSSSI की निदेशक इनोशी शर्मा ने कहा कि हां, हमने सभी हितधारकों से फीड बैक पाने के लिए एक सूचना पत्र जारी किया है ताकि बच्चों के लिए स्कूलों में स्वस्थ आहार प्रणाली लागू की जा सके. सभी हितधारक और नागरिक तीन दिसंबर तक अपना फीड बैक दे सकते हैं. हमें एक बार फीड बैक मिल जाता है तो हम मंत्रालय के साथ विचार-विमर्श करने के बाद अंतिम दिशानिर्देश तैयार करेंगे. जो लागू हो जाएगा.

शर्मा ने कहा कि हमें स्कूली बच्चों को गैर संचारी रोग (एनसीडी), कुपोषण, एनीमिया के साथ-साथ मधुमेह के बारे में कई शिकायतें मिली हैं. इसलिए हमने महसूस किया कि बच्चों को अच्छा भोजन मिलना चाहिए जो स्वस्थ और पौष्टिक हो.

पढ़ें : एफएसएसएआई ने स्कूल के आसपास जंक फूड के विज्ञापनों पर प्रतिबंध लगाने का प्रस्ताव किया

खाद्य सुरक्षा और मानक (सुरक्षित खाद्य और स्वस्थ आहार) विनियम 2019 में बिक्री पर प्रस्तावित प्रतिबंध, साथ ही जंक फूड के लिए विज्ञापन जैसे नियम शामिल है.

नई दिल्ली : भारतीय खाद्य सुरक्षा और मानक प्राधिकरण (FSSSI) ने उन सभी प्रकार के जंक फूड को स्कूल कैंटीन और उसके 50 मीटर के क्षेत्र में प्रतिबंधित करने का प्रस्ताव दिया है. इनमें उच्च वसा, नमक,और शक्कर पाए जाते हैं. इसके साथ इनके प्रचार पर प्रतिबंध लगाने का आदेश दिया है.

FSSSI को स्कूलों में बच्चों के लिए स्वस्थ आहार सुनिश्चित करने के लिए कार्य सौंपा गया है. हाल ही में इन्होंने दिशानिर्देशों के साथ एक पत्र जारी किया.

ईटीवी भारत से बात करती FSSSI की निदेशिका

ईटीवी भारत से बात करते हुए FSSSI की निदेशक इनोशी शर्मा ने कहा कि हां, हमने सभी हितधारकों से फीड बैक पाने के लिए एक सूचना पत्र जारी किया है ताकि बच्चों के लिए स्कूलों में स्वस्थ आहार प्रणाली लागू की जा सके. सभी हितधारक और नागरिक तीन दिसंबर तक अपना फीड बैक दे सकते हैं. हमें एक बार फीड बैक मिल जाता है तो हम मंत्रालय के साथ विचार-विमर्श करने के बाद अंतिम दिशानिर्देश तैयार करेंगे. जो लागू हो जाएगा.

शर्मा ने कहा कि हमें स्कूली बच्चों को गैर संचारी रोग (एनसीडी), कुपोषण, एनीमिया के साथ-साथ मधुमेह के बारे में कई शिकायतें मिली हैं. इसलिए हमने महसूस किया कि बच्चों को अच्छा भोजन मिलना चाहिए जो स्वस्थ और पौष्टिक हो.

पढ़ें : एफएसएसएआई ने स्कूल के आसपास जंक फूड के विज्ञापनों पर प्रतिबंध लगाने का प्रस्ताव किया

खाद्य सुरक्षा और मानक (सुरक्षित खाद्य और स्वस्थ आहार) विनियम 2019 में बिक्री पर प्रस्तावित प्रतिबंध, साथ ही जंक फूड के लिए विज्ञापन जैसे नियम शामिल है.

Intro:New Delhi: The Food Safety and Standard Authority of India (FSSSI) has proposed to ban all kind of junk foods which are high in fat, salt and sugar (HFSS) in school canteens and within 50 meters of school campus. Advertisement of such foods has also proposed to be banned.


Body:The FSSAI which has been assigned with the task to ensure healthy diets for children in schools has recently circulated a draft notifications with guidenles.

"Yes we have circulated the notification to get feed back from all stakeholders so that a healthy diet system could be implemented across schools for childrens," said Inoshi Sharma, Director, FSSAI in an exclusive interview to ETV Bharat.

All stakeholders and citizens can give their feed back till December 3. "Once we get the feed back, we will prepare the final guidelines after consultations with the Ministry so that it gets implemented," said Sharma.

The initiative taken by the food safety authority assumes much more significant following unabated business of junk foods in schools across India.

"We have been receiving number of complaints about school children having non communicable diseases (NCDs), malnutrition, anaemia as well as diabetes. So we felt that out children should get good food which are healthy and nutritious," said Sharma.

The proposed ban on sale, as well as advertisement for junk foods, are contained draft regulations titled "Food Safety and Standards (Safe Food and Healthy Diets) Regulations, 2019.

The draft regulations said that the school authority, for mid-day meal scheme, should obtain a registration or license as applicable and comply with the requirements of sanitary and hygienic practices to the food service establishments as specified under schedule 4 of the Food Safety and Standards (Licensing and Registration of Food Business) regulations, 2011.

The FSSAI draft regulations said that the food business operators (FBO) manufacturing HFSS food products barred from advertising such foods to children in school premises.

Regular consumption of junk foods is linked to an increase risk of obesity and chronic disease like cardiovascular disease, type 2 diabetes and also some form of cancer.


Conclusion:The FSSSI in its draft regulations has also talked about punishing those who found violating the final guidelines.

"If the school authority, without reasonable grounds, fails to comply with the provisions under these regulations, the central or state food authority shall take up the matter with the concerned education department and affiliation body to take appropriate actions," the FSSAI said.

The draft regulations also highlighted of setting up a sub-committee comprising representatives from the department of school education, and Public health professionals to recommend list of food groups and preparations which should be served or sold in the school canteens.

end.
Last Updated : Nov 9, 2019, 12:06 AM IST
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