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'BJP-शिवसेना के बीच जो तय हुआ था, उसे सार्वजनिक किया जाए' - उद्धव ठाकरे

महाराष्ट्र में सरकार बनाने को लेकर असमंजस की स्थिति बनी हुई है. शिवसेना ने साफ कर दिया है कि वह सीएम पद को लेकर कोई समझौता नहीं करेगी. वहीं, भाजपा का प्रतिनिधिमंडल गुरुवार को राज्यपाल से मिला, लेकिन उन्होंने सरकार बनाने का दावा पेश नहीं किया. महाराष्ट्र के पूर्व मंत्री एकनाथ खडसे ने बीजेपी-शिवसेना गठबंधन पर बयान दिया.

एकनाथ खडसे ( फाइल फोटो)
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Published : Nov 8, 2019, 9:53 AM IST

मुंबई : महाराष्ट्र के पूर्व मंत्री एवं भाजपा के वरिष्ठ नेता एकनाथ खडसे ने कहा कि राज्य में विधानसभा चुनाव से पहले भाजपा और शिवसेना के बीच जो कुछ फैसला लिया गया था, उसे सार्वजनिक किया जाना चाहिए. दरअसल, शिवसेना का दावा है कि पार्टी (शिवसेना) और भाजपा के शीर्ष नेताओं के बीच विधानसभा चुनाव से पहले मुख्यमंत्री पद साझा (ढाई-ढाई साल के लिये) करने और दोनों दलों के बीच विभागों का 50:50 बंटवारा करने पर सहमति बनी थी.

वहीं, भाजपा का कहना है कि ऐसा कोई भी समझौता उद्धव ठाकरे नीत पार्टी के साथ नहीं किया गया था. पार्टी का कहना है कि देवेन्द्र फडणवीस पूरे पांच साल के लिए मुख्यमंत्री रहेंगे.

खड़से ने जलगांव में संवाददाताओं से कहा कि अतीत में भाजपा के सहयोगी दल के साथ जो भी समझौता हुआ था, उसे सार्वजनिक किया जाना चाहिए ताकि सत्ता साझा करने के मुद्दे को लोग बेहतर तरीके से समझ सकें.

इसबीच, सूत्रों ने बताया कि दक्षिणपंथी हिंदू नेता सांभाजी भिडे गुरुवार देर शाम अचानक शिवसेना नेता उद्धव ठाकरे के आवास मातोश्री पहुंचे.

ये भी पढ़ें : महाराष्ट्र में क्या होगा, जानें विशेषज्ञों की राय

शिवसेना प्रमुख के करीबी सहयोगी ने बताया कि जिस वक्त भिडे मातोश्री पहुंचे, उस समय ठाकरे आपने आवास में नहीं थे. इसलिए दोनों की मुलाकात नहीं हो पाई.

गौरतलब है कि भिडे का मातोश्री दौरा ऐसे वक्त पर हुआ है, जब भाजपा और उसकी सहयोगी पार्टी शिवसेना के बीच सरकार बनाने को ले कर गतिरोध चल रहा है.

मुंबई : महाराष्ट्र के पूर्व मंत्री एवं भाजपा के वरिष्ठ नेता एकनाथ खडसे ने कहा कि राज्य में विधानसभा चुनाव से पहले भाजपा और शिवसेना के बीच जो कुछ फैसला लिया गया था, उसे सार्वजनिक किया जाना चाहिए. दरअसल, शिवसेना का दावा है कि पार्टी (शिवसेना) और भाजपा के शीर्ष नेताओं के बीच विधानसभा चुनाव से पहले मुख्यमंत्री पद साझा (ढाई-ढाई साल के लिये) करने और दोनों दलों के बीच विभागों का 50:50 बंटवारा करने पर सहमति बनी थी.

वहीं, भाजपा का कहना है कि ऐसा कोई भी समझौता उद्धव ठाकरे नीत पार्टी के साथ नहीं किया गया था. पार्टी का कहना है कि देवेन्द्र फडणवीस पूरे पांच साल के लिए मुख्यमंत्री रहेंगे.

खड़से ने जलगांव में संवाददाताओं से कहा कि अतीत में भाजपा के सहयोगी दल के साथ जो भी समझौता हुआ था, उसे सार्वजनिक किया जाना चाहिए ताकि सत्ता साझा करने के मुद्दे को लोग बेहतर तरीके से समझ सकें.

इसबीच, सूत्रों ने बताया कि दक्षिणपंथी हिंदू नेता सांभाजी भिडे गुरुवार देर शाम अचानक शिवसेना नेता उद्धव ठाकरे के आवास मातोश्री पहुंचे.

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शिवसेना प्रमुख के करीबी सहयोगी ने बताया कि जिस वक्त भिडे मातोश्री पहुंचे, उस समय ठाकरे आपने आवास में नहीं थे. इसलिए दोनों की मुलाकात नहीं हो पाई.

गौरतलब है कि भिडे का मातोश्री दौरा ऐसे वक्त पर हुआ है, जब भाजपा और उसकी सहयोगी पार्टी शिवसेना के बीच सरकार बनाने को ले कर गतिरोध चल रहा है.

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MH-SENA-KHADSE
Make public whatever was 'decided' between BJP-Sena: Khadse
         Mumbai, Nov 7 (PTI) Former Maharashtra minister and
senior BJP leader Eknath Khadse on Thursday said whatever had
been "decided" between the BJP and the Shiv Sena ahead of the
assembly polls should be made public.
         The Shiv Sena has claimed top leaders of the party and
the BJP had "agreed" on sharing the chief minister's post on a
rotational basis and 50:50 distribution of portfolio ahead of
the October 21 assembly polls in the state.
         The BJP has, however, denied any such arrangement with
the Uddhav Thackeray-led party and has insisted Chief Minister
Devendra Fadnavis will continue to hold the post for full
term.
         Khadse, speaking to reporters in Jalgaon, his home
district in North Maharashtra, said whatever had been
"decided" between the saffron allies in the past should be
made public for better understanding of the power-sharing
issue.
         The BJP denied assembly election ticket to Khadse and
instead fielded his daughter from their family seat of
Muktainagar in Jalgaon district, but she lost to Shiv Sena
rebel Chandrakant Patil.
         "Sena leaders have been saying something was promised
to them ahead of the Lok Sabha elections. In that case,
whatever was decided should be brought to forefront and
discussed," said Khadse, whose critical remarks have put the
BJP on back foot on several occasions in the recent past.
         Asked about the tussle between the saffron allies and
delay in government formation even two weeks after poll
results, the veteran politician said, I am no longer senior
enough to mediate between the BJP and the Sena."
         Khadse, once seen as No. 2 in Chief Minister Devendra
Fadnavis's cabinet, has been largely sidelined in the state
BJP.
         A multiple-time MLA, Khadse had resigned from the
Fadnavis cabinet in June 2016 after allegations of impropriety
surfaced against him in a land deal in Pune. He has repeatedly
denied any wrongdoing.
         The BJP and the Shiv Sena are locked in a tug-of-war
over the issue of the chief minister's post, resulting in a
stalemate in government formation.
         In the polls, the BJP won 105 seats, the Shiv Sena-56,
the NCP-54 and the Congress 44 in the 288-member house where
the simple majority mark is 145. PTI ND
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