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आतंकवाद का खुलेआम इस्तेमाल कर रहा पाक, बातचीत की कोई गुंजाइश नहीं: जयशंकर - एस जयशंकर का बयान

ब्रसेल्स में 'पॉलिटिको' को दिए एक साक्षात्कार में विदेश मंत्री एस जयशंकर ने कहा है कि पाकिस्तान आतंकवाद का खुलेआम इस्तेमाल कर रहा है. पढ़ें पूरी खबर..

विदेश मंत्री एस जयशंकर ( फाइल फोटो)
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Published : Sep 3, 2019, 12:08 AM IST

Updated : Sep 29, 2019, 6:01 AM IST

लंदनः विदेश मंत्री एस जयशंकर ने कहा है कि पाकिस्तान आतंकवाद का खुलेआम इस्तेमाल कर रहा है और जब तक वह इसकी वित्तीय मदद तथा आतंकी समूहों की भर्ती पर रोक नहीं लगाता तब तक उसके साथ बातचीत की कोई गुंजाइश नहीं है.

जयशंकर पाकिस्तान के प्रधानमंत्री इमरान खान द्वारा हाल में कश्मीर मुद्दे पर न्यूयॉर्क टाइम्स में लिखे गए एक लेख का जवाब दे रहे थे. लेख में खान ने लिखा है कि बातचीत तत्काल किए जाने की आवश्यकता है क्योंकि दक्षिण एशिया पर परमाणु हमले का खतरा मंडरा रहा है.

ब्रसेल्स में 'पॉलिटिको' को दिए एक साक्षात्कार में जयशंकर ने कहा कि पाकिस्तान जब 'खुलेआम' आतंकवाद का इस्तेमाल कर रहा है, तो बातचीत का विचार बेकार है.

जयशंकर ने कहा कि उन्हें खान द्वारा शुक्रवार को लिखा गया लेख पढ़ने का समय नहीं मिल पाया है. उन्होंने कहा कि जब तक पाकिस्तान आतंकवाद की वित्तीय मदद और आतंकी समूहों की भर्ती पर रोक नहीं लगाता तब तक बातचीत की कोई उम्मीद नहीं है.

जयशंकर पिछले सप्ताह ब्रसेल्स में थे.

उन्होंने कहा, आतंकवाद कोई ऐसी चीज नहीं है जो पाकिस्तान में अंधेरे कोनों में की जा रही हो. यह दिनदहाड़े किया जाता है.

पाकिस्तानी आतंकवादियों द्वारा जनवरी 2016 में पठानकोट वायुसेना स्टेशन पर हमला किए जाने के बाद से पाकिस्तान से भारत बात नहीं कर रहा है.

भारत का कहना है कि बातचीत और आतंकवाद साथ-साथ नहीं चल सकते.

नयी दिल्ली द्वारा अनुच्छेद 370 के अधिकतर प्रावधान खत्म किए जाने के बाद कश्मीर में स्थिति के बारे में विदेश मंत्री ने कहा कि समूची घाटी में 'आगामी दिनों' में सुरक्षा प्रतिबंधों में ढील दी जाएगी.

उन्होंने कहा कि टेलीफोन और इंटरनेट प्रतिबंध आतंकी तंत्र की सक्रियता को रोकने और हिंसा फैलाने वालों को एक-दूसरे के संपर्क में आने से रोकने के लिए आवश्यक थे.

जयशंकर ने कहा कि मैं यह कैसे कर सकता हूं कि एक तरफ आतंकवादियों और उनके आकाओं के लिए संचार को काटे रखूं, तथा दूसरी तरफ अन्य लोगों के लिए इंटरनेट खुला रखूं? मुझे जानकर खुशी होगी.

उन्होंने कहा कि मैं आपसे कहूंगा कि आगामी दिनों में ढील आप उत्तरोत्तर देखेंगे.

जयशंकर ने कहा कि इसमें अतिरिक्त सुरक्षाबलों की संख्या में कटौती शामिल होनी चाहिए. उन्होंने कहा कि मैं चाहूंगा कि पुलिस को जल्द अपने मूल दायित्वों में वापस भेजा जाए.

उन्होंने कहा कि स्पष्ट रूप से कह रहा हूं कि उसके (पुलिस) पास करने के लिए अन्य काम और चीजें हैं.

विदेश मंत्री ने इस बात से भी इनकार किया कि कश्मीर का विशेष दर्जा खत्म करने में कोई हिन्दू राष्ट्रवादी एजेंडा है जिससे कि गैर मुस्लिमों को वहां संपत्ति खरीदने की अनुमति मिल सके और मुस्लिम बहुल आबादी को दरकिनार किया जा सके.

उन्होंने कहा कि जो लोग यह कहते हैं, वे भारत को नहीं जानते. क्या यह भारत की संस्कृति से मेल खाता है?

ब्रसेल्स की यात्रा के दौरान जयशंकर ने यूरोपीय संसद के अध्यक्ष डेविड ससोली और यूरोपीय संघ की विदेश नीति प्रमुख फेडेरिका मोगेरिनी से मुलाकात की जिन्होंने भारत और पाकिस्तान के बीच वार्ता का आग्रह किया.

पढ़ेः गुजरात का दीया औरों को रौशन कर रहा है : पीएम मोदी

मोगेरिनी के कार्यालय ने एक बयान में कहा कि यूरोपीय संघ की विदेश नीति प्रमुख ने कश्मीर में लोगों के अधिकार और स्वतंत्रता बहाल करने के कदमों के महत्व पर जोर दिया.

अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप के साथ भारत के संबंधों से संबंधित सवाल पर जयशंकर ने संभावित जैसे को तैसे शुल्क युद्ध, ईरानी तेल खरीदने की शुरुआत में भारत के हित और सतह से हवा में मार करने वाली एस-400 मिसाइलों की भारत की खरीद पर अमेरिका की आपत्ति से उत्पन्न चुनौतियों का जिक्र किया.

भारतीय शुल्क पर ट्रंप के कड़े होते रुख के बारे में चर्चा करते हुए मंत्री ने कहा कि भारत समझौते के मूड में है.

जयशंकर ने कहा कि किसी भी संबंध की तरह, लेन और देन होता है.हमारी उम्मीद यह है कि हमारे व्यापार मंत्री निकट भविष्य में साथ बैठेंगे. मेरा मानना है कि इनमें से कई मुद्दे समाधान के लिए तैयार हैं.

उन्होंने कहा कि ऊर्जा की चाहत वाले भारत की ईरानी तेल खरीदने की इच्छा नि:संदेह जटिल है और वह व्यापक स्पष्टताकी उम्मीद करते हैं.

पढ़ेंः कांग्रेस नेताओं की लगेगी 'क्लास', जानें कारण

रूस से हथियार खरीदने के मुद्दे पर जयशंकर ने कहा कि वह मॉस्को के साथ ठोस और समय पर परखे गए संबंध से नहीं डिगेंगे.

उन्होंने कहा कि हम यह स्वीकार नहीं करेंगे कि कोई देश हमसे कहे कि कौन किससे हथियार खरीदे और कौन किससे हथियार नहीं खरीदे

लंदनः विदेश मंत्री एस जयशंकर ने कहा है कि पाकिस्तान आतंकवाद का खुलेआम इस्तेमाल कर रहा है और जब तक वह इसकी वित्तीय मदद तथा आतंकी समूहों की भर्ती पर रोक नहीं लगाता तब तक उसके साथ बातचीत की कोई गुंजाइश नहीं है.

जयशंकर पाकिस्तान के प्रधानमंत्री इमरान खान द्वारा हाल में कश्मीर मुद्दे पर न्यूयॉर्क टाइम्स में लिखे गए एक लेख का जवाब दे रहे थे. लेख में खान ने लिखा है कि बातचीत तत्काल किए जाने की आवश्यकता है क्योंकि दक्षिण एशिया पर परमाणु हमले का खतरा मंडरा रहा है.

ब्रसेल्स में 'पॉलिटिको' को दिए एक साक्षात्कार में जयशंकर ने कहा कि पाकिस्तान जब 'खुलेआम' आतंकवाद का इस्तेमाल कर रहा है, तो बातचीत का विचार बेकार है.

जयशंकर ने कहा कि उन्हें खान द्वारा शुक्रवार को लिखा गया लेख पढ़ने का समय नहीं मिल पाया है. उन्होंने कहा कि जब तक पाकिस्तान आतंकवाद की वित्तीय मदद और आतंकी समूहों की भर्ती पर रोक नहीं लगाता तब तक बातचीत की कोई उम्मीद नहीं है.

जयशंकर पिछले सप्ताह ब्रसेल्स में थे.

उन्होंने कहा, आतंकवाद कोई ऐसी चीज नहीं है जो पाकिस्तान में अंधेरे कोनों में की जा रही हो. यह दिनदहाड़े किया जाता है.

पाकिस्तानी आतंकवादियों द्वारा जनवरी 2016 में पठानकोट वायुसेना स्टेशन पर हमला किए जाने के बाद से पाकिस्तान से भारत बात नहीं कर रहा है.

भारत का कहना है कि बातचीत और आतंकवाद साथ-साथ नहीं चल सकते.

नयी दिल्ली द्वारा अनुच्छेद 370 के अधिकतर प्रावधान खत्म किए जाने के बाद कश्मीर में स्थिति के बारे में विदेश मंत्री ने कहा कि समूची घाटी में 'आगामी दिनों' में सुरक्षा प्रतिबंधों में ढील दी जाएगी.

उन्होंने कहा कि टेलीफोन और इंटरनेट प्रतिबंध आतंकी तंत्र की सक्रियता को रोकने और हिंसा फैलाने वालों को एक-दूसरे के संपर्क में आने से रोकने के लिए आवश्यक थे.

जयशंकर ने कहा कि मैं यह कैसे कर सकता हूं कि एक तरफ आतंकवादियों और उनके आकाओं के लिए संचार को काटे रखूं, तथा दूसरी तरफ अन्य लोगों के लिए इंटरनेट खुला रखूं? मुझे जानकर खुशी होगी.

उन्होंने कहा कि मैं आपसे कहूंगा कि आगामी दिनों में ढील आप उत्तरोत्तर देखेंगे.

जयशंकर ने कहा कि इसमें अतिरिक्त सुरक्षाबलों की संख्या में कटौती शामिल होनी चाहिए. उन्होंने कहा कि मैं चाहूंगा कि पुलिस को जल्द अपने मूल दायित्वों में वापस भेजा जाए.

उन्होंने कहा कि स्पष्ट रूप से कह रहा हूं कि उसके (पुलिस) पास करने के लिए अन्य काम और चीजें हैं.

विदेश मंत्री ने इस बात से भी इनकार किया कि कश्मीर का विशेष दर्जा खत्म करने में कोई हिन्दू राष्ट्रवादी एजेंडा है जिससे कि गैर मुस्लिमों को वहां संपत्ति खरीदने की अनुमति मिल सके और मुस्लिम बहुल आबादी को दरकिनार किया जा सके.

उन्होंने कहा कि जो लोग यह कहते हैं, वे भारत को नहीं जानते. क्या यह भारत की संस्कृति से मेल खाता है?

ब्रसेल्स की यात्रा के दौरान जयशंकर ने यूरोपीय संसद के अध्यक्ष डेविड ससोली और यूरोपीय संघ की विदेश नीति प्रमुख फेडेरिका मोगेरिनी से मुलाकात की जिन्होंने भारत और पाकिस्तान के बीच वार्ता का आग्रह किया.

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मोगेरिनी के कार्यालय ने एक बयान में कहा कि यूरोपीय संघ की विदेश नीति प्रमुख ने कश्मीर में लोगों के अधिकार और स्वतंत्रता बहाल करने के कदमों के महत्व पर जोर दिया.

अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप के साथ भारत के संबंधों से संबंधित सवाल पर जयशंकर ने संभावित जैसे को तैसे शुल्क युद्ध, ईरानी तेल खरीदने की शुरुआत में भारत के हित और सतह से हवा में मार करने वाली एस-400 मिसाइलों की भारत की खरीद पर अमेरिका की आपत्ति से उत्पन्न चुनौतियों का जिक्र किया.

भारतीय शुल्क पर ट्रंप के कड़े होते रुख के बारे में चर्चा करते हुए मंत्री ने कहा कि भारत समझौते के मूड में है.

जयशंकर ने कहा कि किसी भी संबंध की तरह, लेन और देन होता है.हमारी उम्मीद यह है कि हमारे व्यापार मंत्री निकट भविष्य में साथ बैठेंगे. मेरा मानना है कि इनमें से कई मुद्दे समाधान के लिए तैयार हैं.

उन्होंने कहा कि ऊर्जा की चाहत वाले भारत की ईरानी तेल खरीदने की इच्छा नि:संदेह जटिल है और वह व्यापक स्पष्टताकी उम्मीद करते हैं.

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रूस से हथियार खरीदने के मुद्दे पर जयशंकर ने कहा कि वह मॉस्को के साथ ठोस और समय पर परखे गए संबंध से नहीं डिगेंगे.

उन्होंने कहा कि हम यह स्वीकार नहीं करेंगे कि कोई देश हमसे कहे कि कौन किससे हथियार खरीदे और कौन किससे हथियार नहीं खरीदे

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.LONDON FGN21
JAISHANKAR-INDOPAK
Pak openly practises terrorism, no scope for dialogue with it: EAM Jaishankar
         London, Sep 2 (PTI) Pakistan openly practises terrorism and there is no scope for negotiations until Islamabad reins in its financing and recruitment of militant groups, External Affairs Minister S Jaishankar has said.
         Jaishankar was responding to the recent opinion piece written by Prime Minister Imran Khan on Kashmir in the New York Times where he argued that it was urgent to begin discussions while a "nuclear shadow" hovers over South Asia.
         In an interview with POLITICO in Brussels, Jaishankar said the idea was a nonstarter while Pakistan "openly practises terrorism".
         Noting that he hasn't had time to read Khan's Friday op-ed, the External Affairs Minister, who was in Brussels last week, said there was no hope of negotiations until Pakistan reins in its financing and recruitment of militant groups.
         "Terrorism is not something that is being conducted in dark corners of Pakistan. It's done in broad daylight," he was quoted as saying in the report.
         India has not been engaging with Pakistan since an attack on the Air Force base at Pathankot in January of 2016 by Pakistan-based terrorists, maintaining that talks and terror cannot go together.
          Responding to the situation in Kashmir after India ended its special status, the minister said the security restrictions across the Valley would be eased in the "coming days".
         He said the internet and telephone outages were needed to stop the activation of "terrorist assets" and to prevent "people who are doing violence to contact each other".
         "How do I cut off communications between the terrorists and their masters on the one hand, but keep the internet open for other people? I would be delighted to know," Jaishankar said.
         "I would suggest to you that in the coming days you will see an easing up progressively," he said.
         This should involve a reduction in the number of extra security forces, he said, adding that he wanted the police sent back to their original duties soon.
         "Frankly they have other jobs and other things to do," Jaishankar said.
         He also denied that there was a Hindu nationalist agenda in removing Kashmir's special status in order to allow more non-Muslims to buy property there and muscle aside the Muslim majority.
         "The kind of people who say this are people who don't know India. Does this sound like the culture of India?" he asked.
         Tensions between India and Pakistan spiked after New Delhi on August 5 abrogated provisions of Article 370 of the Constitution to revoke Jammu and Kashmir's special status and bifurcated it into two Union Territories.
         Pakistan has been trying to raise the issue at various international fora, but India has maintained that it is an internal matter and has asked Islamabad to accept the reality.
         During his visit to Brussels, Jaishankar met president of the European Parliament David Sassoli and European Union foreign policy chief Federica Mogherini, who urged dialogue between India and Pakistan, the report said.
         Mogherini "stressed the importance of steps to restore the rights and freedoms of the population in Kashmir," Mogherini's office said in a statement.
         On India's relations with US President Donald Trump, Jaishankar broached the challenges posed by a potential tit-for-tat tariff war, India's interest in resuming purchases of Iranian oil and US reservations about India's acquisition of S-400 surface-to-air missiles.
         Discussing Trump's increasingly hard stance on Indian tariffs, the minister said India was in a mood to compromise.
          "Like any relationship, there's give and take...Our expectation is that our trade ministers will sit down in the near future. I think many of these issues are eminently [open] to resolution," Jaishankar said.
         He said energy-hungry India's desire to purchase Iranian oil was "rather complicated" and that he hoped for "greater clarity".
         On arms' purchases from Russia, Jaishankar said he was not going to be deterred from a "solid, time-tested" relationship with Moscow, the report said.
         "We would not accept any country telling us who to buy weapons from and who not to buy from," he was quoted as saying in the report. PTI AKJ
MRJ
09021657
NNNN
Last Updated : Sep 29, 2019, 6:01 AM IST
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