देहरादून: उत्तराखंड में प्रधानमंत्री उज्जवला योजना के तहत दिए गए लगभग 67,000 गैस कनेक्शनों को विभिन्न तेल कंपनियों जैसे कि इंडियन ऑयल, बीपीसी और एचपीसी की ओर से निरस्त कर दिया गया है. इन कंपनियों द्वारा ऐसा इसलिए किया गया है कि इन सभी उपभोक्ताओं के पास पहले से ही एक या एक से अधिक गैस कनेक्शन मौजूद था.
बता दें कि जब कंपनियों ने प्रधानमंत्री उज्जवला योजना के तहत लाभांवित परिवारों के प्रत्येक सदस्यों के आधार कार्ड जांचे गए तो इस बात का खुलासा हुआ कि इन सभी लोगों के घरों में पहले से ही एक से अधिक गैस कनेक्शन मौजूद हैं.
ईटीवी भारत ने जब इस संबंध में इंडियन ऑयल कॉरपोरेशन के डीजीएम प्रभात कुमार से बात की तो उन्होंने कहना कि पोर्टल पर जब सभी लाभार्थियों के आधार कार्ड अपडेट किए गए तो पाया गया कि प्रदेश में 67,000 परिवार ऐसे हैं जिनके पास पहले से ही गैस कनेक्शन है, लेकिन बावजूद इसके वह भी उज्वला योजना का लाभ ले रहे हैं. ऐसे में उन सभी 67,000 परिवारों के उज्वला योजना के तहत दिए गए गैस कनेक्शनों को निरस्त कर दिया गया है.
इस मामले पर उन्होंने किसी भी तरह की लापरवाही से इंकार करते हुए कहा कि शुरुआती दौर में यह कनेक्शन AHLTIN NUmber (Abridged household list temporary identification number) के आधार पर दिए गए थे. ऐसे में जब बाद में इन सभी कनेक्शन को आधार कार्ड नंबर से जोड़ा गया तो खुलासा हुआ कि इन घरों में पहले से ही 1 से अधिक गैस कनेक्शन मौजूद है. ऐसे में इन सभी कनेक्शनों को निरस्त कर दिया गया है.
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गौरतलब है कि 1 मई साल 2016 को प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने प्रधानमंत्री उज्ज्वला योजना का शुभारंभ किया था. इस योजना का मकसद उन घरों तक गैस सिलेंडर पहुंचाना था जो 21वीं सदी में भी लकड़ी के सहारे चूल्हे पर खाना बनाने को मजबूर हैं. इस योजना के तहत प्रदेश में 3 सालों में 3.55 लाख गरीब परिवारों को अब तक गैस कनेक्शन दिए जा चुके हैं.