खगड़ियाः बिहार में जहां एक तरफ किसान अपनी फसल और उसकी मिलने वाली कम कीमत से परेशान है. वहीं, दूसरी तरफ खगड़िया में एक ऐसा गांव है, जहां के किसान सिर्फ सब्जियों की खेती करते हैं और खुशहाल हैं.
जिले के चौथम प्रखंड में तिलौंच नाम का एक गांव है. इस गांव की खासियत ये है कि यहां हर तरह की हरी सब्जियां उगती हैं. यह गांव पूरे जिले को सब्जी खिलाता है. सबसे बड़ी बात ये है कि यहां के किसान खेती के लिए किसी भी तरह के खाद का इस्तेमाल नहीं करते हैं.
सिर्फ देसी तरीके अपनाते हैं और अच्छी मात्रा में सब्जी उगाते हैं.
क्या है किसानों का कहना
सब्जी उगाने वाले किसानों ने बताया कि वो लोग लौकी, बैगन, भिंडी, मिर्ची, करैला, तोरई और अन्य कई तरह की सब्जियों की खेती करते हैं. ये खेती मौसम के ऊपर भी निर्भर करती है. जिस तरह का मौसम आने वाला रहता है, उसी तरह की सब्जी की तैयारी करते हैं.
जैसे अभी बारिश का समय चल रहा है, तो इसमें लौकी, मिर्ची और भिंडी की फसल अच्छी होगी. इसलिए किसानों ने ज्यादा से ज्यादा इसकी खेती की है. इसके बाद आने वाले मौसम में हम ओल की खेती करने वाले हैं.
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पूरा गांव ही सब्जी पर निर्भर
बिहार में सबसे ज्यादा संख्या किसानों की है और इनकी आय फसलों से ही होती है. चाहे वो मक्का हो गेंहू हो या चावल. ऐसे में तिलौंच गांव पूरे जिला के लिए उदाहरण बना हुआ है.
क्योंकि इस गांव के एक या दो किसान नहीं बल्कि लगभग सभी किसान सिर्फ सब्जी की ही खेती करते हैं. इसी खेती से इनता पूरा परिवार चलता है और यह खुशहाल हैं.
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कभी-कभी होता है नुकसान
चुंकि मांग ज्यादा है इसलिए पैसों के लिए भी नहीं सोचना पड़ता. जो बाजार में रेट चल रहा होता है वो किसानों को आसानी से मिल जाता है. वहीं, इन किसानों ने बताया कि कभी कभार ओला वृष्टि हो जाने से सब्जियां बर्बाद हो जाती हैं. तब काफी नुससान होता है. ऐसी स्थिति में सरकार से भी कोई मदद नहीं मिलती.