गांधीनगर : वन्य जीवों की प्रवासी प्रजातियों के संरक्षण को लेकर 13वां सम्मेलन (सीएमएस-सीओपी13) शनिवार को यहां समाप्त हो गया और इस दौरान सदस्य देशों ने सभी सरकारों से उन विलुप्तप्राय प्रजातियों के संरक्षण की आवश्यकता पर ध्यान देने की अपील की, जिनका जीवित रहना सतत विकास की अहम कुंजी है.
130 देशों ने गांधीनगर घोषणा पत्र को अंगीकार किया, जिसमें उन्होंने इस बात को पुष्ट किया कि पारिस्थितिकी जुड़ाव को बनाए रखने और बहाल करने की प्रतिबद्धता सीएमएस की शीर्ष प्राथमिकता है.
दस्तावेज में कहा गया, सीएमएस सीओपी 13 इस बात को रेखांकित करता है कि पारिस्थितिकी जुड़ाव हासिल करने, सीएमएस को लागू करने और जैव विविधता संबंधी अन्य साधनों के लिए अंतरराष्ट्रीय सहयोग और देशों एवं प्रासंगिक पक्षों के बीच साझेदारी की जरूरत है. इसके क्रियान्वयन एवं पारिस्थितकी जुड़ाव में सुधार के लिए अंतरराष्ट्रीय, क्षेत्रीय, द्विपक्षीय और सीमा पार सहयोग की स्पष्ट प्रतिबद्धता को 2020 वैश्विक जैव विविधता रूपरेखा में शामिल किए जाने की अपील की गई है.
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सीओपी से पूर्व की गतिविधियां 15 फरवरी से आरंभ गई थीं. बाद में प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने 17 फरवरी को इसका आधिकारिक रूप से उद्घाटन किया था.
सदस्य देशों द्वारा घोषणा पत्र अंगीकार किए जाने के साथ ही शनिवार को यह सम्मेलन सम्पन्न हो गया.