कोरबा : जब बात सही और गलत की हो तो सच के आगे सब मौन हो जाता है. ऐसा ही वाकया देखने को मिला कटघोरा वन मंडल में. यहां शुक्रवार की सुबह बीट गार्ड शेखर सिंह रात्रे अपने क्षेत्र पहुंचे तो देखा कि बिना किसी वैधानिक आदेश के बांस की कटाई जारी है. फिर क्या था पहले तो बीट गार्ड ने मजदूरों से 11 नग कुल्हाड़ी, 365 नग बांस जब्त किया और फिर वन अधिनियम के तहत रेंजर, डिप्टी रेंजर, दूसरे बीट गार्ड रामकुमार यादव और 11 मजदूरों के खिलाफ केस भी बनाया.
वहीं इस मामले में डीएफओ ने जांच के आदेश दिए हैं. जबकि रेंजर का फोन बंद आ रहा है.
इतना ही नहीं शेखर ने रेंजर मृत्युंजय सिंह और डिप्टी रेंजर की जमकर क्लास भी लगाई. ऐसा पहली बार हुआ होगा जब किसी कनिष्ठ ने अपने वरिष्ठ अधिकारी को ऐसा पाठ पढ़ाया होगा. बांस कटाई को लेकर जब सीनियर मृत्युंजय सिंह नियम समझाने लगे तो बीट गार्ड शेखर रात्रे ने भी उन्हें कानून सिखा दिया. वीडियो में आप शेखर को साफ कहते सुन सकते हैं कि 'रेंजर हो तो अपने लिए...मेरी गैरमौजूदगी में कैसे काट दिए पेड़... थ्री स्टार कैसे लगा लिया'. शेखर ने कहा कि, 'मेरे पास कोई आदेश नहीं है कटाई का. आप अपराधी हो, यहां साहब नहीं हो. दस्तखत करेंगे कि नहीं. रेंजर को आपके क्षेत्र में देखूंगा'.
बिना जानकारी के हो रही थी कटाई: शेखर
विभागों में अमूमन बड़े अफसर को हावी होते देखा जा सकता है लेकिन ये अलग मामला है. हैरानी की बात ये भी देखने को मिली कि बीट गार्ड को चुपचाप अधिकारी सुनते रहे और वो पाठ पढ़ाता रहा. बीट गार्ड शेखर सिंह रात्रे ने कहा कि बिना उनकी जानकारी और बिना किसी लेटर के बांस की कटाई जारी थी इसलिए ये कार्रवाई उन्होंने की. वो खुद बता रहे हैं कि उन्होंने रेंजर, डिप्टी रेंजर समेत श्रमिकों पर कार्रवाई की है. शेखर ने साफ कहा कि उनके पास कटाई की कोई जानकारी नहीं थी.
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वहीं दूसरे बीट गार्ड रामकुमार यादव ने कहा कि उसके पास बांस कटाई का लिखित आदेश था. उसने बताया कि बांस काटने 11 मजदूर आए थे. रामकुमार का कहना है कि उसे ये जानकारी नहीं है कि शेखर के पास बांस कटाई का आदेश है या नहीं.