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संबंध मजबूत करने सेना प्रमुख और विदेश सचिव जाएंगे म्यांमार

सेना प्रमुख जनरल एमएम नरवणे और विदेश सचिव हर्षवर्धन श्रृंगला रविवार को दो दिन की म्यांमार यात्रा पर रवाना होंगे. बयान में कहा गया कि भारत अपनी पड़ोसी प्रथम और एक्ट ईस्ट नीतियों के अनुरूप म्यांमार के साथ अपने संबंधों को उच्च प्राथमिकता देता है.

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Published : Oct 3, 2020, 8:17 PM IST

नई दिल्ली : सेना प्रमुख जनरल एमएम नरवणे और विदेश सचिव हर्षवर्धन श्रृंगला रविवार को दो दिन की म्यांमार यात्रा पर रवाना होंगे. इसमें वे म्यांमार की स्टेट काउंसलर आंग सान सू ची समेत देश के शीर्ष सैन्य और राजनीतिक पदाधिकारियों से मुलाकात करेंगे. विदेश मंत्रालय ने यात्रा की घोषणा करते हुए कहा कि इस यात्रा से मौजूदा द्विपक्षीय संबंधों की समीक्षा करने और आपसी हित के क्षेत्रों में सहयोग मजबूत करने का अवसर मिलेगा.

दौरा महत्वपूर्ण माना जा रहा

म्यांमार भारत के रणनीतिक पड़ोसी देशों में से एक है. म्यांमार उग्रवाद प्रभावित नगालैंड और मणिपुर समेत उत्तर पूर्व के कई राज्यों के साथ 1,640 किलोमीटर लंबी सीमा साझा करता है. जनरल नरवणे और श्रृंगला का दौरा ऐसे समय में महत्वपूर्ण माना जा रहा है, जब भारतीय सेना का पूर्वी लद्दाख में चीन की सेना के साथ सीमा पर गतिरोध जारी है तथा कोरोना वायरस महामारी के बीच विदेश यात्राओं पर पाबंदी भी लगी हुई है.

विदेश मंत्रालय ने अपने बयान में कहा कि उनकी यात्रा में प्रतिनिधिमंडल म्यांमार की स्टेट काउंसलर आंग सान सू ची तथा म्यामां सशस्त्र बलों के प्रमुख कमांडर सीनियर जनरल मिन आंग लैंग से मुलाकात करेगा. बयान में कहा गया कि भारत अपनी पड़ोसी प्रथम और एक्ट ईस्ट नीतियों के अनुरूप म्यांमार के साथ अपने संबंधों को उच्च प्राथमिकता देता है.

नई दिल्ली : सेना प्रमुख जनरल एमएम नरवणे और विदेश सचिव हर्षवर्धन श्रृंगला रविवार को दो दिन की म्यांमार यात्रा पर रवाना होंगे. इसमें वे म्यांमार की स्टेट काउंसलर आंग सान सू ची समेत देश के शीर्ष सैन्य और राजनीतिक पदाधिकारियों से मुलाकात करेंगे. विदेश मंत्रालय ने यात्रा की घोषणा करते हुए कहा कि इस यात्रा से मौजूदा द्विपक्षीय संबंधों की समीक्षा करने और आपसी हित के क्षेत्रों में सहयोग मजबूत करने का अवसर मिलेगा.

दौरा महत्वपूर्ण माना जा रहा

म्यांमार भारत के रणनीतिक पड़ोसी देशों में से एक है. म्यांमार उग्रवाद प्रभावित नगालैंड और मणिपुर समेत उत्तर पूर्व के कई राज्यों के साथ 1,640 किलोमीटर लंबी सीमा साझा करता है. जनरल नरवणे और श्रृंगला का दौरा ऐसे समय में महत्वपूर्ण माना जा रहा है, जब भारतीय सेना का पूर्वी लद्दाख में चीन की सेना के साथ सीमा पर गतिरोध जारी है तथा कोरोना वायरस महामारी के बीच विदेश यात्राओं पर पाबंदी भी लगी हुई है.

विदेश मंत्रालय ने अपने बयान में कहा कि उनकी यात्रा में प्रतिनिधिमंडल म्यांमार की स्टेट काउंसलर आंग सान सू ची तथा म्यामां सशस्त्र बलों के प्रमुख कमांडर सीनियर जनरल मिन आंग लैंग से मुलाकात करेगा. बयान में कहा गया कि भारत अपनी पड़ोसी प्रथम और एक्ट ईस्ट नीतियों के अनुरूप म्यांमार के साथ अपने संबंधों को उच्च प्राथमिकता देता है.

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