नई दिल्ली : भारत में कोविड-19 वैक्सीन 'स्पूतनिक वी' की 100 मिलियन डोज प्रतिवर्ष तैयार करने का लक्ष्य बनाया गया है. इस उद्देश्य से रशियन डाइरेक्ट इनवेस्टमेंट फंड (RDIF) और पैंसिया बायोटेक के बीच करार हुआ है. भारत में ड्रग कंट्रोलर जनरल ऑफ इंडिया (DCGI) द्वारा स्पूतनिक वी को आपात स्थिति में उपयोग करने की अनुमति दी जा सकती है. ऐसे में देश के लिए RDIF और पैंसिया के बीच हुए करार से कोविड के खिलाफ लड़ाई और आसान हो जाएगी.
पैंसिया बायोटेक के प्रबंध निदेशक डॉ. राजेश जैन ने इस संबंध में कहा कि पैंसिया बायोटेक में स्पूतनिक वी के उत्पादन से RDIF को विश्वभर में वैक्सीन मुहैया कराने में मदद मिलेगी.
पढ़ेंः दिल्ली: 54 प्राइवेट अस्पतालों में रिजर्व किए गए ढाई हजार से ज्यादा कोरोना बेड्स
RDIF के सीईओ किरिल्ल डिमित्रीव ने कहा कि महामारी से बचने के लिए यह साझेदारी एकमात्र तरीका है. चूंकि, कोरोना वायरस के खिलाफ विश्व में लड़ाई जारी है और ऐसे वक्त में स्पूतनिक वी टीके को कारगार मानते हुए इसकी मांग बढ़ रही है.
उन्होंने कहा कि भारत और पूरे विश्व में वैक्सीन उपलब्ध कराने के लिए पैंसिया बायोटेक से साझेदारी महत्वपूर्ण कदम है.
यह भी पढ़ेंः ड्रग्स मामले में गिरफ्तार एजाज खान कोरोना से हुए संक्रमित
उल्लेखनीय है कि आज की तारिख में 1.5 बिलियन से अधिक कुल जनसंख्या वाले 59 देशों में स्पूतनिक वी की मांग है. लैंसेट द्वारा उपलब्ध कराए गए आंकड़ों के अनुसार, यह वैक्सीन 91.6 प्रतिशत प्रभावशाली है. वहीं, सरकारी सूत्रों के अनुसार, DCGI द्वारा अगले हफ्ते तक डॉ. रेड्डी की लैब को स्पूतनिक वी को आपात स्थिति में उपयोग करने की अनुमति मिल सकती है.