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कोविड-19 महामारी के बीच डेंगू ने पसारे पैर, छह राज्यों में अचानक बढ़े मामले

कोविड-19 महामारी के बीच भारत में डेंगू के 14044 मामले दर्ज किए गए और कई मौतें भी हुईं हैं. करीब छह राज्यों में अचानक वृद्धि देखी गई है. एक रिपोर्ट.

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Published : Sep 18, 2021, 3:31 PM IST

नई दिल्ली : भारत Covid19 महामारी की चपेट से बाहर आने के लिए संघर्ष कर रहा है लेकिन डेंगू के बढ़ते मामलों ने स्थिति को और खराब कर दिया है. केंद्रीय स्वास्थ्य मंत्रालय सबसे अधिक प्रभावित राज्यों के साथ लगातार संपर्क में है.

बीते अगस्त के बाद से, उत्तर प्रदेश, मध्य प्रदेश, पश्चिम बंगाल, बिहार, हरियाणा, गुजरात सहित छह राज्यों में डेंगू के मामलों में अचानक वृद्धि देखी गई है. पिछले 45 दिनों में इन छह राज्यों में 110 लोगों की मौत हुई है, जिसमें सबसे अधिक मौतें मध्य प्रदेश में हुई हैं. स्वास्थ्य मंत्रालय के एक वरिष्ठ अधिकारी ने कहा कि हम राज्य सरकार के लगातार संपर्क में हैं और आवश्यक सुझावों के साथ उनकी सहायता करते रहते हैं.

स्वास्थ्य मंत्रालय ने आगे के परीक्षण के लिए सभी राज्यों से डेंगू के नमूने भी एकत्र किए हैं. हालांकि ईटीवी भारत के पास सरकारी रिकॉर्ड में कहा गया है कि इस साल जुलाई तक सबसे ज्यादा डेंगू के मामले कर्नाटक में 2624, तमिलनाडु में 2185 और महाराष्ट्र में 2169 मामले दर्ज किए गए. मणिपुर और अरुणाचल प्रदेश को छोड़कर भारत के सभी राज्यों और केंद्र शासित प्रदेशों में डेंगू के मामले दर्ज किए गए हैं.

जुलाई तक के सरकारी आंकड़ों के मुताबिक डेंगू से अब तक कई लोगों की मौत हो चुकी है. भारत में पिछले साल डेंगू से 56 और 2019 में 166 मौतें दर्ज की गई थीं. स्वास्थ्य मंत्रालय के सात साल के आंकड़ों से पता चला है कि भारत में 2017 में डेंगू के कारण सबसे अधिक 325 मामले दर्ज किए गए. एक ही वर्ष में डेंगू के 188401 मामले सामने आए थे.

स्वास्थ्य विशेषज्ञों ने कहा कि डेंगू से सभी आयु वर्ग के लोग और पुरुष और महिला दोनों प्रभावित होते हैं. हालांकि डेंगू के प्रकोप के दौरान बच्चों की मौत ज्यादा होती है. डेंगू के लिए पसंदीदा प्रजनन स्थल डेजर्ट कूलर, ड्रम, जार, बर्तन, बाल्टी, फूलों के फूलदान, प्लांट सॉसर, टैंक, बोतल, टिन, टायर, छत के गटर, रेफ्रिजरेटर डिप पैन, सीमेंट ब्लॉक, कब्रिस्तान के कलश, नारियल के गोले, पेड़ के छेद, और अधिक जगह जहां वर्षा जल एकत्र होता है.

नरियोनल इंस्टीट्यूट ऑफ वायरोलॉजी (एनआईवी-पुणे) द्वारा देश के 60 जिलों में किए गए डेंगू वायरस सीरोटाइप सर्वेक्षण नामक एक हालिया अध्ययन में विभिन्न राज्यों में डेनवी-2 वायरल सीरोटाइप की प्रबलता का पता चला है. यह कहते हुए कि चार डेंगू वायरस सीरोटाइप हैं जैसे DenV-1, DenV-2, DenV-3 और DenV-4, अनुसंधान संस्थान ने प्रत्येक राज्य में प्रमुख डेंगू वायरल सीरोटाइप को प्रकट करने के लिए 4,963 नमूनों का विश्लेषण किया है.

यह भी पढ़ें-गोवा के टीका लाभार्थियों से पीएम मोदी बोले- कल का दिन मेरे लिए बहुत खास बन गया

अध्ययन के निष्कर्षों में कहा गया है कि असम, हिमाचल प्रदेश, केरल, कर्नाटक और नागालैंड में DenV-1 प्रमुख था, उसके बाद गुजरात, आंध्र प्रदेश, झारखंड ओडिशा, पुडुचेरी, राजस्थान, तमिलनाडु, तेलंगाना और उत्तर प्रदेश में DenV-2 का स्थान रहा. डेनवी-3 हरियाणा और मध्य प्रदेश में प्रमुख था और डेनवी-4 अंडमान और निकोबार द्वीप में प्रमुखता से पाया गया.

नई दिल्ली : भारत Covid19 महामारी की चपेट से बाहर आने के लिए संघर्ष कर रहा है लेकिन डेंगू के बढ़ते मामलों ने स्थिति को और खराब कर दिया है. केंद्रीय स्वास्थ्य मंत्रालय सबसे अधिक प्रभावित राज्यों के साथ लगातार संपर्क में है.

बीते अगस्त के बाद से, उत्तर प्रदेश, मध्य प्रदेश, पश्चिम बंगाल, बिहार, हरियाणा, गुजरात सहित छह राज्यों में डेंगू के मामलों में अचानक वृद्धि देखी गई है. पिछले 45 दिनों में इन छह राज्यों में 110 लोगों की मौत हुई है, जिसमें सबसे अधिक मौतें मध्य प्रदेश में हुई हैं. स्वास्थ्य मंत्रालय के एक वरिष्ठ अधिकारी ने कहा कि हम राज्य सरकार के लगातार संपर्क में हैं और आवश्यक सुझावों के साथ उनकी सहायता करते रहते हैं.

स्वास्थ्य मंत्रालय ने आगे के परीक्षण के लिए सभी राज्यों से डेंगू के नमूने भी एकत्र किए हैं. हालांकि ईटीवी भारत के पास सरकारी रिकॉर्ड में कहा गया है कि इस साल जुलाई तक सबसे ज्यादा डेंगू के मामले कर्नाटक में 2624, तमिलनाडु में 2185 और महाराष्ट्र में 2169 मामले दर्ज किए गए. मणिपुर और अरुणाचल प्रदेश को छोड़कर भारत के सभी राज्यों और केंद्र शासित प्रदेशों में डेंगू के मामले दर्ज किए गए हैं.

जुलाई तक के सरकारी आंकड़ों के मुताबिक डेंगू से अब तक कई लोगों की मौत हो चुकी है. भारत में पिछले साल डेंगू से 56 और 2019 में 166 मौतें दर्ज की गई थीं. स्वास्थ्य मंत्रालय के सात साल के आंकड़ों से पता चला है कि भारत में 2017 में डेंगू के कारण सबसे अधिक 325 मामले दर्ज किए गए. एक ही वर्ष में डेंगू के 188401 मामले सामने आए थे.

स्वास्थ्य विशेषज्ञों ने कहा कि डेंगू से सभी आयु वर्ग के लोग और पुरुष और महिला दोनों प्रभावित होते हैं. हालांकि डेंगू के प्रकोप के दौरान बच्चों की मौत ज्यादा होती है. डेंगू के लिए पसंदीदा प्रजनन स्थल डेजर्ट कूलर, ड्रम, जार, बर्तन, बाल्टी, फूलों के फूलदान, प्लांट सॉसर, टैंक, बोतल, टिन, टायर, छत के गटर, रेफ्रिजरेटर डिप पैन, सीमेंट ब्लॉक, कब्रिस्तान के कलश, नारियल के गोले, पेड़ के छेद, और अधिक जगह जहां वर्षा जल एकत्र होता है.

नरियोनल इंस्टीट्यूट ऑफ वायरोलॉजी (एनआईवी-पुणे) द्वारा देश के 60 जिलों में किए गए डेंगू वायरस सीरोटाइप सर्वेक्षण नामक एक हालिया अध्ययन में विभिन्न राज्यों में डेनवी-2 वायरल सीरोटाइप की प्रबलता का पता चला है. यह कहते हुए कि चार डेंगू वायरस सीरोटाइप हैं जैसे DenV-1, DenV-2, DenV-3 और DenV-4, अनुसंधान संस्थान ने प्रत्येक राज्य में प्रमुख डेंगू वायरल सीरोटाइप को प्रकट करने के लिए 4,963 नमूनों का विश्लेषण किया है.

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अध्ययन के निष्कर्षों में कहा गया है कि असम, हिमाचल प्रदेश, केरल, कर्नाटक और नागालैंड में DenV-1 प्रमुख था, उसके बाद गुजरात, आंध्र प्रदेश, झारखंड ओडिशा, पुडुचेरी, राजस्थान, तमिलनाडु, तेलंगाना और उत्तर प्रदेश में DenV-2 का स्थान रहा. डेनवी-3 हरियाणा और मध्य प्रदेश में प्रमुख था और डेनवी-4 अंडमान और निकोबार द्वीप में प्रमुखता से पाया गया.

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