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जानिए क्यों एयरहोस्टेस श्वेता को अफगान से लौटे यात्री बुला रहे 'नीरजा'

अफगानिस्तान में पूरी तरह से अराजकता की स्थिति है. अन्य देशों की तरह भारत भी वहां फंसे हुए अपने देशवासियों को एयरलिफ्ट करवा कर वतन वापस बुला रहा है. एयर इंडिया के जिस विमान से 129 भारतीय वतन लौटे हैं, उस विमान में महाराष्ट्र के अमरावती की रहने वाली श्वेता एयरहोस्टेस थीं. श्वेता ने बहादुरी से पूरे हालात को संभाला और यात्रियों को भारत सकुशल पहुंचाया. आइए आपको बताते हैं कि कौन हैं श्वेता और क्यों हो रही है तारीफ...

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Published : Aug 18, 2021, 3:46 PM IST

Updated : Aug 18, 2021, 5:46 PM IST

अमरावती : 5 सिंतबर 1986 का वो दिन जब देश की बेटी नीरजा भनोट ने अपनी जान की परवाह किए बिना 360 से अधिक लोगों की जान बचाई थी. नीरजा पैन एएम की फ्लाइट 73 में सीनियर पर्सन थीं, ये फ्लाइट मुंबई से अमेरिका जा रही थी, लेकिन पाकिस्तान के कराची एयरपोर्ट पर इसे हाईजैक कर लिया गया, जिसमें यात्रियों को बचाते समय नीरजा खुद आतंकियों की गोली की शिकार हो गई थी और आज एक बार फिर नीरजा की याद ताजा हो गई. महाराष्ट्र के अमरावती जिले की रहने वाली श्वेता की आज हरतरफ तारीफ हो रही है. यही नहीं श्वेता को 'नीरजा' के नाम से भी बुलाया जा रहा है.

भारतीयों की वतन वापसी में श्वेता का बड़ा योगदान

बता दें कि 15 अगस्त को अफगानिस्तान पर तालिबान के कब्जा करने के बाद वहां के हालात बहुत ही खराब हैं. सभी देश अपने नागरिकों को अफगानिस्तान से निकालने में लगे हुए हैं. एयर इंडिया के विमान से 129 यात्री सकुशल भारत लौटे हैं. भारतीयों को सकुशल वतन वापसी कराने में श्वेता का बड़ा योगदान रहा.

श्वेता ने बहादुरी से संभाले हालात.
श्वेता ने बहादुरी से संभाले हालात.

जब विमान काबुल एयरपोर्ट से मुश्किल हालात में 129 यात्रियों को भारत लाने की तैयारी कर रहा था. बाहर से गोलियों की आवाजें आ रही थीं. हर तरफ अफरा-तफरी का माहौल था. ऐसी परिस्थिति में श्वेता शंके ने हालात को संभाला. जान की परवाह ना करते हुए 129 यात्रियों का मार्गदर्शन करते हुए सुरक्षित विमान के अंदर प्रवेश करवाया और विमान को टेकऑफ करवाया. विमान के अंदर भी वे यात्रियों को सही तरह से मार्गदर्शन करती रहीं और आखिरकार सबको भारत में सुरक्षित लैंड करवा दिया. अमरावती जिले के दर्यापुर की रहने वाली श्वेता शंके की आज हर तरफ तारीफ हो रही है. उन्हें अमरावती की 'नीरजा' कह कर पुकारा जा रहा है.

एयर इंडिया के विमान से 129 भारतीय वतन लौटे.
एयर इंडिया के विमान से 129 भारतीय वतन लौटे.

'हमने अपना लक्ष्य पूरा किया'

बता दें कि श्वेता के पिता जिला परिषद स्कूल से शिक्षक के रूप में सेवानिवृत्त हुए हैं. उनकी बहन दंत चिकित्सक हैं और भाई फार्मासिस्ट है. 2017-18 में श्वेता को भारतीय वायु सेना में एयर होस्टेस के रूप में चुना गया था. वहीं अमरावती के संरक्षक मंत्री यशोमती ठाकुर ने अफगानिस्तान से 129 भारतीयों को सुरक्षित भारत लाने वाली श्वेता से मोबाइल फोन पर बात की. भारत आने के बाद महाराष्ट्र की कैबिनेट मंत्री यशोमति ठाकुर ने उनसे बातचीत की. श्वेता ने यशोमति ठाकुर से यही कहा, 'ताई, बाहर से गोलियों की आवाज आ रही थी. लेकिन हमने अपना लक्ष्य पूरा किया.'

पढ़ेंः अफगानिस्तान की तरह वियतनाम से भी 19 साल बाद भागा था अमेरिका

अमरावती : 5 सिंतबर 1986 का वो दिन जब देश की बेटी नीरजा भनोट ने अपनी जान की परवाह किए बिना 360 से अधिक लोगों की जान बचाई थी. नीरजा पैन एएम की फ्लाइट 73 में सीनियर पर्सन थीं, ये फ्लाइट मुंबई से अमेरिका जा रही थी, लेकिन पाकिस्तान के कराची एयरपोर्ट पर इसे हाईजैक कर लिया गया, जिसमें यात्रियों को बचाते समय नीरजा खुद आतंकियों की गोली की शिकार हो गई थी और आज एक बार फिर नीरजा की याद ताजा हो गई. महाराष्ट्र के अमरावती जिले की रहने वाली श्वेता की आज हरतरफ तारीफ हो रही है. यही नहीं श्वेता को 'नीरजा' के नाम से भी बुलाया जा रहा है.

भारतीयों की वतन वापसी में श्वेता का बड़ा योगदान

बता दें कि 15 अगस्त को अफगानिस्तान पर तालिबान के कब्जा करने के बाद वहां के हालात बहुत ही खराब हैं. सभी देश अपने नागरिकों को अफगानिस्तान से निकालने में लगे हुए हैं. एयर इंडिया के विमान से 129 यात्री सकुशल भारत लौटे हैं. भारतीयों को सकुशल वतन वापसी कराने में श्वेता का बड़ा योगदान रहा.

श्वेता ने बहादुरी से संभाले हालात.
श्वेता ने बहादुरी से संभाले हालात.

जब विमान काबुल एयरपोर्ट से मुश्किल हालात में 129 यात्रियों को भारत लाने की तैयारी कर रहा था. बाहर से गोलियों की आवाजें आ रही थीं. हर तरफ अफरा-तफरी का माहौल था. ऐसी परिस्थिति में श्वेता शंके ने हालात को संभाला. जान की परवाह ना करते हुए 129 यात्रियों का मार्गदर्शन करते हुए सुरक्षित विमान के अंदर प्रवेश करवाया और विमान को टेकऑफ करवाया. विमान के अंदर भी वे यात्रियों को सही तरह से मार्गदर्शन करती रहीं और आखिरकार सबको भारत में सुरक्षित लैंड करवा दिया. अमरावती जिले के दर्यापुर की रहने वाली श्वेता शंके की आज हर तरफ तारीफ हो रही है. उन्हें अमरावती की 'नीरजा' कह कर पुकारा जा रहा है.

एयर इंडिया के विमान से 129 भारतीय वतन लौटे.
एयर इंडिया के विमान से 129 भारतीय वतन लौटे.

'हमने अपना लक्ष्य पूरा किया'

बता दें कि श्वेता के पिता जिला परिषद स्कूल से शिक्षक के रूप में सेवानिवृत्त हुए हैं. उनकी बहन दंत चिकित्सक हैं और भाई फार्मासिस्ट है. 2017-18 में श्वेता को भारतीय वायु सेना में एयर होस्टेस के रूप में चुना गया था. वहीं अमरावती के संरक्षक मंत्री यशोमती ठाकुर ने अफगानिस्तान से 129 भारतीयों को सुरक्षित भारत लाने वाली श्वेता से मोबाइल फोन पर बात की. भारत आने के बाद महाराष्ट्र की कैबिनेट मंत्री यशोमति ठाकुर ने उनसे बातचीत की. श्वेता ने यशोमति ठाकुर से यही कहा, 'ताई, बाहर से गोलियों की आवाज आ रही थी. लेकिन हमने अपना लक्ष्य पूरा किया.'

पढ़ेंः अफगानिस्तान की तरह वियतनाम से भी 19 साल बाद भागा था अमेरिका

Last Updated : Aug 18, 2021, 5:46 PM IST
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