सरगुजा : राज्यसभा सांसद रामविचार नेताम ने दिल्ली से सरगुजा के पत्रकारों से कई विषयों पर बातचीत की . प्रेस कांफ्रेंस को संबोधित करते हुए उन्होंने कहा कि, लॉकडाउन के समय सरगुजा के पत्रकारों ने विषम परिस्थितियों में जिस तरह से जागरूकता लाने का काम किया है, उसकी जितनी प्रशंसा की जाए कम है. इस दौरान उन्होंने राज्य सरकार पर आरोप लगाया कि कोरोना संकट के बीच सरकार गंभीर नहीं है.
सांसद ने चर्चा के दौरान कहा कि सरगुजा में भाजपा ने शहर में 1 लाख और गांव में 2 लाख मास्क वितरण करने का निर्णय लिया है. उन्होंने आगे कहा कि' प्रधानमंत्री के अनुरोध पर देश के लोगों ने लॉकडाउन में सहयोग किया. रामविचार नेताम ने प्रधानमंत्री रिलीफ फंड में दान देने वाले सरगुजा के वासियों का आभार भी व्यक्त किया. इसके साथ ही उन्होंने लोगों से आरोग्य सेतु एप्स डाउनलोड करने की अपील की'.
कोटा से वापस लाए गए छात्रों के विषय में उन्होंने राज्य सरकार को घेरा. सांसद ने कहा कि 'कोटा में फंसे बच्चों की वापसी के लिए मांग उठ रही थी, जिसके लिए केंद्र सरकार ने अनुमति दे दी. प्रदेश सरकार उन्हें घर तो ले आई लेकिन छात्रों की देख-रेख नहीं कर पा रही है. सरकार बच्चों के खाने-पीने की व्यवस्था भी ठीक से नहीं कर पाई. इसी तरह मजदूरों को वापस लाने के लिए अनुमति मांगी जा रही थी. केंद्र सरकार ने बाहर फंसे लोगों को वापस लाने के लिए स्पेशल ट्रेन चला रही है'.
राज्य सरकार से शराब दुकान बंद करने की मांग की
नेताम ने कहा कि 'कोरोना के खिलाफ लड़ाई में जिस तरह केंद्र सरकार गंभीर है, उतना गंभीर राज्य सरकार नहीं नजर आ रहा है. पूरे प्रदेश में शराब की दुकानों में मेला लगा हुआ है. लॉकडाउन के नियमों का पालन नहीं हो रहा है'. सांसद ने शराब दुकान खोले जाने का कड़ा विरोध किया. कोरोना वायरस के खतरे को देखते हुए उन्होंने सराकर से इस समय शराब दुकान बंद करने की मांग की'.सांसद ने आगे कहा कि 'मैं मुख्यमंत्री से पूछना चाहता हूं, की राहुल गांधी जी ने कहा था की अगर घोषणा पत्र के वादे को पूरा नहीं किया तो वो प्रदेश का मुखिया बदल देंगे. लेकिन घोषणा पत्र में शराबबंदी का वादा पूरा नहींं हुआ'.
कोरोना से निबटने में राज्य सरकार पूरी तरह फेल
इसके अलावा सांसद ने कहा कि 'प्रदेश में एम्स के अलावा कोई दूसरा विश्वनीय सेंटर चालू नहीं हो पाया, जहां कोरोना के मरीजों का इलाज हो सके. आज अगर छत्तीसगढ़ में एक भी मौत नहीं हुई है तो उसका श्रेय पूर्व प्रधानमंत्री अटल बिहारी वाजपेयी जी को जाता है. जिन्होंने एम्स दिया और एम्स के चिकित्सकों ने देवदूत बनकर लोगों की जान बचाई. राज्य सभा सांसद ने छत्तीसगढ़ की कांग्रेस सरकार को घेरते हुए कहा कि कोरोना से निपटने में प्रदेश सरकार विफल रही है. वो सिर्फ शराब बेचने में ज्यादा रुचि दिखा रही है'.