राजनांदगांव: अटल बिहारी वाजपेयी मेडिकल कॉलेज की लचर व्यवस्था के कारण मरीजों के परिजनों को भारी परेशानी का सामना करना पड़ रहा है. मेडिकल कॉलेज के पेइंग वार्ड को आइसोलेशन वार्ड में तब्दील कर दिया गया है. लिहाजा दूरस्थ इलाकों से आने वाले मरीजों को पेइंग वार्ड की सुविधा नहीं मिल पा रही है. लगातार प्रबंधन से पेइंग वार्ड की सुविधा दोबारा शुरू किए जाने की गुहार भी लगाई जा रही है.
अस्पताल में इलाज कराने आने वाले मरीजों का कहना है कि पेइंग वार्ड होने से उन्हें और परिजनों को मरीज के साथ रहने में काफी आसानी होती थी. अस्पताल में पेइंग वार्ड को आइसोलेशन में तब्दील कर दिया गया है. मरीजों और उनके परिजनों को काफी परेशानी का सामना करना पड़ रहा है. परिजनों को अस्पताल में आवश्यक सुविधाएं नहीं मिल पा रही है. उन्हें जनरल वार्ड में रहकर अपना इलाज कराना पड़ रहा है.
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मात्र एक शौचालय
मरीजों का कहना है कि जनरल वार्ड में एक मात्र शौचालय है. जिसे सार्वजनिक रूप से उपयोग करना पड़ता है. गंदगी होने के कारण मरीजों को यहां भी काफी दिक्कतों का सामना करना पड़ता है. मरीजों का कहना है कि पेइंग वार्ड होने से उन्हें काफी सुविधाएं मिल जाती हैं. बावजूद इसके प्रबंधन इस ओर ध्यान ही नहीं दे रहा है.
गर्भवती और संक्रमित रोगों से पीड़ित मरीजों का होता था इलाज
अस्पताल में पेइंग वार्ड होने से गर्भवती और संक्रमित रोगों से जूझ रहे मरीजों को इलाज में सुविधाएं मिलती थी. वहीं सुरक्षा के दृष्टिकोण से भी काफी बेहतर माना जाता था. गंभीर रूप से बीमार और संक्रमित मरीजों को पेइंग वार्ड में शिफ्ट किया जाता था. ताकि सामान्य मरीज खतरनाक रोगों से दूर रहे लेकिन पेइंग वार्ड को आइसोलेशन वार्ड में तब्दील करने के बाद से मरीजों को यह सुविधा नहीं मिल पा रही है.
स्टाफ के लिए आइसोलेशन की व्यवस्था
मामले में मेडिकल कॉलेज अस्पताल के अधीक्षक प्रदीप बेक का कहना है कि, कोविड-19 के संक्रमण को देखते हुए अस्पताल में इलाज करने वाले चिकित्सक और स्टाफ को आइसोलेशन में रखने के लिए पेइंग वार्ड को आइसोलेशन वार्ड में तब्दील किया गया है. जल्द ही मरीजों के लिए भी व्यवस्था बनाते हुए पेइंग वार्ड को रिलीज कर दिया जाएगा.