रायपुर: पढ़ाई के साथ ही ये बच्चे बिजनेस के गुर भी सीख रहे हैं और इस काम में कॉलेज इनका साथ दे रहा है. बच्चों में एंटरप्रेन्योरशिप स्किल डेवलप करने के लिए दुग्ध विज्ञान एवं खाद्य प्रौद्योगिकी महाविद्यालय ने अच्छी पहल की है.
स्टार्टअप को बढ़ावा देने के लिए सरकार की योजना की शुरुआत की है. वहीं कॉलेज भी अब इसे बढ़ावा दे रहे हैं. दुग्ध विज्ञान एवं खाद्य प्रौद्योगिकी महाविद्यालय के छात्र मिल्क से बने प्रोडक्ट्स बना कर शहर में बेच रहे हैं, इसके लिए उन्हें कॉलेज से आर्थिक सहायता मिल रही है.
लोगों को पसंद आ रही हैं मिल्क प्रोडक्ट
छात्र तेलीबांधा तालाब के किनारे स्टॉल लगाकर रबड़ी बेच रहे हैं और लोगों का ध्यान अपनी ओर आकर्षित कर रहे हैं. दूध से बनी रबड़ी लोगों को बहुत रास आ रही है. छात्रों का कहना है शहर के अलग-अलग जगह पर वे स्टॉल लगाकर मिल्क से बने प्रोडक्ट को सेल कर रहे हैं. इस काम को शुरू करने के लिए शुरुआती समय में कॉलेज द्वारा उन्हें 7 हजार रुपए का फंड दिया जाता है, जिसके बाद वे प्रोडक्ट सेल करते है और अपने बिजनेस को बढ़ाते हैं. छात्रों ने बताया कि उनके महाविद्यालय में एंटरप्रेन्योरशिप डेवलेपमेंट प्रोग्राम और एक्सपिरियंस लर्निंग के तहत स्टूडेंट्स को प्रोडक्ट बनाना होता है. साथ ही इस प्रोडक्ट को बनाने के बाद उसे बेचना पड़ता है.
चौक-चौराहे पर स्टॉल लगाकर छात्र कर रहे प्रोडक्ट सेल
छात्रों ने बताया कि शुरुआती दौर में वे पीड़ा बनाकर उसकी सेलिंग कर रहे हैं. इससे पहले उनके सीनियर्स मेले और राज्योत्सव में स्टॉल लगाकर प्रोडक्ट सेल करते थे, लेकिन अब छात्रों द्वारा चौक-चौराहे पर स्टॉल लगाकर सेलिंग की जा रही है.
प्रोडक्ट बनाकर खुद का बिजनेस कर रहे स्टार्ट
स्टूडेंट्स ने बताया कि यह प्रोग्राम कॉलेज में शुरू से चल रहा है, जिसके तहत स्टूडेंट खुद से मिल्क प्रोडक्ट बनाकर अपना बिजनेस स्टार्ट कर सकते हैं. साथ ही अन्य लोगों को रोजगार भी दे सकते हैं. पढ़ाई के दौरान ही उन्हें बिजनेस का अनुभव भी मिल जाता है.