रायपुर :बरसात के दिनों में घरों में सांपों के घरों में आने के मामले सामने आते हैं. इसका कारण है कि बरसात का पानी सांपों के बिलों में जमा हो जाता (snake rescue in raipur) है. जिसके कारण वे अपने नए ठिकानो की तलाश में निकलते है. जिसके कारण सांप लोगों के घरों में आ जाते है.सांपों को बचाने और उनके रेस्क्यू को लेकर शहर में कई एनजीओ काम कर रहे हैं. उन्हीं में से एक ऐसे शख्स हैं. जो पिछले 11 साल से सांपों के संरक्षण को लेकर काम कर रहे हैं. स्नेक हेल्पलाइन एंड कंजर्वेशन सोसायटी (Snake Helpline and Conservation Society Raipur) फाउंडर साजिद खान पिछले 11 सालों से सांपों को रेस्क्यू करने का काम कर रहे है. ईटीवी भारत की टीम भी सांप के रेस्क्यू के (Story of man who saved snakes in Raipur) निकली.
Naagpanchmi 2022 : सांपों के लिए क्यों मसीहा हैं साजिद ? - how to rescue snakes
रायपुर में बारिश के दिनों में कई मोहल्लों और कॉलोनियों में सांप निकलते हैं. ऐसे में एक शख्स ऐसे सांपों को लिए मसीहा बनकर आता है. अब तक इस शख्स ने हजारों सांपों का रेस्क्यू किया (Story of man who saved snakes in Raipur) है.
रायपुर :बरसात के दिनों में घरों में सांपों के घरों में आने के मामले सामने आते हैं. इसका कारण है कि बरसात का पानी सांपों के बिलों में जमा हो जाता (snake rescue in raipur) है. जिसके कारण वे अपने नए ठिकानो की तलाश में निकलते है. जिसके कारण सांप लोगों के घरों में आ जाते है.सांपों को बचाने और उनके रेस्क्यू को लेकर शहर में कई एनजीओ काम कर रहे हैं. उन्हीं में से एक ऐसे शख्स हैं. जो पिछले 11 साल से सांपों के संरक्षण को लेकर काम कर रहे हैं. स्नेक हेल्पलाइन एंड कंजर्वेशन सोसायटी (Snake Helpline and Conservation Society Raipur) फाउंडर साजिद खान पिछले 11 सालों से सांपों को रेस्क्यू करने का काम कर रहे है. ईटीवी भारत की टीम भी सांप के रेस्क्यू के (Story of man who saved snakes in Raipur) निकली.