रायपुर: शास्त्री चौक पर निर्माणाधीन स्काईवॉक को फिलहाल सरकार ने नहीं तोड़ने का फैसला लिया है. छत्तीसगढ़ सरकार इसके वैकल्पिक उपयोग पर विचार कर रही है. सरकार ने शहरवासियों से मिले सुझाव के बाद ये फैसला लिया है.
स्काईवॉक के वैकल्पिक उपयोग पर चर्चा के लिए एक कमेटी बनाई गई है. जिसके जल्द ही बैठक होने वाली है. इस बैठक में स्काईवॉक के वैकल्पिक उपयोग पर विचार किया जाएगा. स्काईवॉक को न तोड़ने के फैसले से सरकार के 35 करोड़ रुपये बच रहे हैं.
बीजेपी सरकार में बना था स्काईवॉक
स्काईवॉक का फैसला तत्कालीन बीजेपी सरकार के मंत्री राजेश मूणत ने लिया था. उनके इस फैसले का कांग्रेस के साथ कई संगठनों और समाजसेवियों ने विरोध किया था. बाद में कांग्रेस की सरकार बनने पर इसे तोड़ने का फैसला लिया गया था. इसका भी कई संगठनों ने विरोध किया था और इसमें और पैसे न खर्च कर इसके वैकल्पिक उपयोग का सुझाव दिया गया था. जिसे मानते हुए भूपेश सरकार ने इसपर विचार करने का फैसला लिया है और फिलहाल इसे तोड़ने का फैसला वापस ले लिया है.
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स्काईवॉक का वैकल्पिक उपयोग
बीते साल 26 जुलाई को तकनीकी समिति की बैठक में स्काईवॉक के उपयोग पर सुझाव दिए गए थे. इसके बाद मामले में एक हाई पावर कमेटी बनाई गई थी. जिसका प्रमुख सत्यनारायण शर्मा को बनाया गया था. जिन्होंने शहरवासियों से चर्चा के बाद स्काईवॉक को न तोड़ने का सुझाव दिए हैं. मामले में अगली बैठक में इसके वैकल्पिक उपयोग पर फैसला लिया जाएगा.