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रायपुर: देश का पहला प्रोजेक्ट, रेलवे स्टेशन से जुड़ेगा एम्स - रायपुर एम्स से सरोना रेलवे स्टेशन

रायपुर एम्स से सरोना रेलवे स्टेशन के लिए सीधी सड़क बनने जा रही है. देश में छत्तीसगढ़ ऐसा पहला राज्य होगा जहां एम्स सीधे रेलवे स्टेशन से जुड़ा होगा.

एम्स और रेलवे स्टेशन के बीच की जगह.
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Published : Sep 5, 2019, 9:40 AM IST

Updated : Sep 5, 2019, 2:50 PM IST

रायपुर: एम्स में इलाज के लिए पहुंचने वाले लाखों मरीजों और उनके परिजनों के सहुलियत के लिए अब एम्स सीधे रेलवे रूट से जुड़ने जा रहा है. इससे न केवल छत्तीसगढ़ बल्कि महाराष्ट्र, ओडिशा, मध्यप्रदेश और मुंबई-हावड़ा रूट की ट्रेन से सफर कर इलाज कराने आ रहे मरीजों और परिजनों को फायदा होगा.

रेलवे स्टेशन से जुड़ेगा एम्स

सरोना रेलवे स्टेशन से अस्पताल तक पहुंचने के लिए एक नई एप्रोच रोड बनायी जाएगी. ये पूरे देश का अपनी तरह का पहला प्रोजेक्ट होगा, जिसमें एम्स कैम्पस से को रेलवे स्टेशन से सीधे कनेक्ट किया जाएगा.

सरोना स्टेशन का बदलेगा नाम
वहीं सरोना स्टेशन का नाम बदलकर एम्स सरोना स्टेशन किया जाएगा. अभी सरोना स्टेशन पर उतरने वाले मरीजों और परिजनों को एम्स जाने के लिए घूमकर जाना पड़ता है. नई सड़क बन जाने से मरीजों और परिजनों की दिक्कत खत्म हो जाएगी. इस प्रोजेक्ट के चलते रायपुर एम्स को देशभर में पहचान मिलेगी.

रेल मंडल को देना होगा प्रस्ताव
सरोना स्टेशन के नाम को बदलने के लिए रेलवे की ओर से औपचारिक सहमति दे दी गई है. लेकिन, इससे पहले राज्य सरकार को एक लिखित प्रस्ताव रायपुर रेल मंडल को देना होगा. करीब महीनेभर बाद ही सरोना स्टेशन का नाम बदल जाएगा.

रायपुर सांसद सुनील सोनी ने जल्द ही स्टेशन के नाम को एम्स सरोना स्टेशन करने के लिए सभी जरूरी प्रक्रियाओं को पूरा करने के निर्देश दिए हैं. इसे लेकर सांसद सुनील सोनी ने राज्य सरकार के संबंधित अधिकारियों से चर्चा की है.

350 मीटर लंबी सड़क
स्टेशन से करीब साढ़े तीन सौ मीटर लंबी सड़क बनेगी, जो स्टेशन को सीधे एम्स परिसर से जोड़ेगी. अबतक मरीज और परिजन स्टेशन से एम्स पहुंचने के लिए जीई रोड का इस्तेमाल करते हैं. स्टेशन से एम्स तक पहुंचने के लिए मरीज और परिजनों को ई-रिक्शा की सुविधा मिलेगी. इसके साथ ही एम्स के अंदर भी ई-रिक्शा चलाने को लेकर सहमति बनी है. सरोना स्टेशन और एम्स की बाउंड्रीवाल तोड़कर अप्रोच सड़क बनाई जायेगी.

रायपुर: एम्स में इलाज के लिए पहुंचने वाले लाखों मरीजों और उनके परिजनों के सहुलियत के लिए अब एम्स सीधे रेलवे रूट से जुड़ने जा रहा है. इससे न केवल छत्तीसगढ़ बल्कि महाराष्ट्र, ओडिशा, मध्यप्रदेश और मुंबई-हावड़ा रूट की ट्रेन से सफर कर इलाज कराने आ रहे मरीजों और परिजनों को फायदा होगा.

रेलवे स्टेशन से जुड़ेगा एम्स

सरोना रेलवे स्टेशन से अस्पताल तक पहुंचने के लिए एक नई एप्रोच रोड बनायी जाएगी. ये पूरे देश का अपनी तरह का पहला प्रोजेक्ट होगा, जिसमें एम्स कैम्पस से को रेलवे स्टेशन से सीधे कनेक्ट किया जाएगा.

सरोना स्टेशन का बदलेगा नाम
वहीं सरोना स्टेशन का नाम बदलकर एम्स सरोना स्टेशन किया जाएगा. अभी सरोना स्टेशन पर उतरने वाले मरीजों और परिजनों को एम्स जाने के लिए घूमकर जाना पड़ता है. नई सड़क बन जाने से मरीजों और परिजनों की दिक्कत खत्म हो जाएगी. इस प्रोजेक्ट के चलते रायपुर एम्स को देशभर में पहचान मिलेगी.

रेल मंडल को देना होगा प्रस्ताव
सरोना स्टेशन के नाम को बदलने के लिए रेलवे की ओर से औपचारिक सहमति दे दी गई है. लेकिन, इससे पहले राज्य सरकार को एक लिखित प्रस्ताव रायपुर रेल मंडल को देना होगा. करीब महीनेभर बाद ही सरोना स्टेशन का नाम बदल जाएगा.

रायपुर सांसद सुनील सोनी ने जल्द ही स्टेशन के नाम को एम्स सरोना स्टेशन करने के लिए सभी जरूरी प्रक्रियाओं को पूरा करने के निर्देश दिए हैं. इसे लेकर सांसद सुनील सोनी ने राज्य सरकार के संबंधित अधिकारियों से चर्चा की है.

350 मीटर लंबी सड़क
स्टेशन से करीब साढ़े तीन सौ मीटर लंबी सड़क बनेगी, जो स्टेशन को सीधे एम्स परिसर से जोड़ेगी. अबतक मरीज और परिजन स्टेशन से एम्स पहुंचने के लिए जीई रोड का इस्तेमाल करते हैं. स्टेशन से एम्स तक पहुंचने के लिए मरीज और परिजनों को ई-रिक्शा की सुविधा मिलेगी. इसके साथ ही एम्स के अंदर भी ई-रिक्शा चलाने को लेकर सहमति बनी है. सरोना स्टेशन और एम्स की बाउंड्रीवाल तोड़कर अप्रोच सड़क बनाई जायेगी.

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एंकर-
रायपुर एम्स में इलाज के लिए पहुंचने वाले लाखों मरीजाें और उनके परिजनों की सहुलियत के लिए अब एम्स सीधे रेलवे रुट से जुड़ जाएगा। इससे ना केवल छत्तीसगढ़ बल्कि, महाराष्ट्र, ओडिशा मध्यप्रदेश और मुंबई हावड़ा रूट पर ट्रेन में सफर करने वाले तमाम लोगो को फायदा होगा। सराेना स्टेशन से अस्पताल तक पहुंचने एक नई एप्रोच रोड बनायी जाएगी। यह पूरे देश मे ऐसा पहला प्रयास होगा जब एम्स कैम्पस से जोड़कर स्टेशन को कनेक्ट किया जा रहा है। इसके साथ ही सरोना स्टेशन का नाम बदलकर एम्स सरोना स्टेशन कर जाएगा। सरकारी रिकार्ड में भी ये एम्स सरोना स्टेशन के नाम से लिखा जाएगा। अभी सरोना स्टेशन पर उतरने वाले मरीजों और उनके रिश्तेदारों को एम्स अस्पताल जाने के लिए घूमकर जाना पड़ता है। नई सड़क बन जाने से मरीजों की दिक्कत खत्म हो जाएगी। स्टेशन से सीधे अस्पताल पहुंच सकेंगे। Body:Vo1-
रायपुर में एम्स को बने ज्यादा समय नही हुआ है लेकिन यह पूरे देश ने एक मिसाल बन जायेगा। यहां रेल्वे स्टेशन जा रहा है । सरोना स्टेशन के नाम को बदलने के लिए रेलवे की ओर से औपचारिक सहमति दे दी गई है, लेकिन इससे पहले राज्य शासन को एक लिखित प्रस्ताव रायपुर रेल मंडल को देना होगा। इसके बाद महीनेभर में सरोना स्टेशन का नाम बदल जाएगा। किसी स्टेशन के नाम को बदलने के लिए रेलवे बोर्ड तक से अनुमति लेनी होती है। सांसद सुनील सोनी ने जल्द ही स्टेशन के नाम को एम्स सरोना करने के लिए सभी जरूरी प्रक्रियाओं को करने का निर्देश दिया है। इस संबंध में सांसद राज्य शासन के संबंधित अफसरों व मंत्रियों से बात की है। ताकि जल्द से जल्द स्टेशन के नाम को बदलने का प्रस्ताव रेलवे को भेजा गया है। स्टेशन से करीब साढ़े तीन सौ मीटर लंबी सड़क भी बनेगी, जो स्टेशन को सीधे एम्स परिसर को जोड़ेगी। इस सड़क के बनने से स्टेशन से उतरकर मरीज व उनके परिजनों को तेज रफ्तार ट्रैफिक वाले जीई रोड का उपयोग नहीं करना पड़ेगा।

बाईट- सुनील सोनी, सांसद, रायपुर लोकसभा

Vo2 -
सरोना स्टेशन से एम्स तक पहुंचने के लिए नई सड़क के साथ ही यहां मरीजाें के लिए ई-रिक्शा की सुविधा दी जाएगी। निजी तौर पर भी यहां ई-रिक्शा चलेंगे। साथ ही एम्स प्रशासन भी मरीजाें को स्टेशन से लाने और पहुंचाने के लिए ई-रिक्शा मुहैया कराएगा। एम्स प्रबंधन के मुताबिक स्टेशन से एम्स के विभिन्न वार्डों व विभागों की दूरी एक किमी से अधिक है, इसलिए यहां ई-रिक्शा चलाने पर भी सहमति बनी है।स्टेशन से एम्स तक जिस जमीन पर नई सड़क बनाने की प्रस्ताव है, वहां अभी खाली जमीन है। एक ओर स्टेशन की बाउंड्री वाल है। उसे तोड़कर जगह खाली की जाएगी। इसी के दूसरी ओर एम्स की बाउंड्रीवाल है। इसे भी तोड़कर एप्रोच सड़क को अस्पताल के परिसर तक पहुंचाया जाएगा। ये रेलवे की जमीन नहीं है। सड़क बनाने की जिम्मेदारी निगम को दी जाएगी..इस प्रकार देश का पहला एम्स होगा जिसके बगल में एक अलग से रेल्वे शन होने देशभर के लाखोंमरीजो खासकर मध्यभारत के मरीजो को बड़ा लाभ होगा।


बाईट- डॉ करण पिपरे, मेडीकल सुपरिडेंट, एम्स रायपुर


Conclusion:फाइनल वीओ

एम्स सरोना स्टेशन बनने और रेलवे से सीधे जुड़ना पूरे देश मे अपने तरह की एक अलग सौगात है। अब तक रायपुर स्टेशन उतरकर एम्स तक जाने वाले मरीजों के लिए एक बड़ी सुविधा होगी।

पीटीसी


मयंक ठाकुर, ईटीवी भारत रायपुर
Last Updated : Sep 5, 2019, 2:50 PM IST
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