रायपुर: केंद्रीय वित्तमंत्री निर्मला सीतारमण ने वित्तीय वर्ष 2021-22 के लिए बजट पेश कर दिया है. छत्तीसगढ़ के कृषि मंत्री रविंद्र चौबे ने कहा कि केंद्रीय मंत्री इस बजट में छत्तीसगढ़ को शामिल करना भूल गई हैं.
मंत्री चौबे ने ETV भारत से खास बातचीत के दौरान कहा कि यह बजट काफी निराशाजनक है. इस बजट में न तो किसानों की आय दोगुनी करने का उल्लेख किया गया है, न ही किसी तरह की कोई राहत दी गई है. पेट्रोल डीजल के बढ़ते दामों पर भी बजट में कोई प्रावधान नहीं किया गया है.
तीन राज्यों के लिए बना बजट: रविंद्र चौबे
मंत्री ने आरोप लगाते हुए कहा कि इस बार का बजट तीन राज्यों को ध्यान में रखकर बनाया गया है. असम, पश्चिम बंगाल और तमिलनाडु में चुनाव होने हैं. इन तीनों राज्यों में इंफ्रास्ट्रक्चर के लिए पैसे दिए गए हैं. छत्तीसगढ़ को कोई पैसा नहीं दिया गया है.
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'किसानों की आय दोगुनी करने के लिए कुछ नहीं'
रविंद्र चौबे का कहना है कि ऐसी कोई योजना या फिर पहल बजट में नहीं की गई है. जिसका लाभ देश सहित प्रदेश की जनता को मिले. चौबे ने कहा कि किसानों की आय दोगुनी करने के दावे करने वाली सरकार ने बजट में इसका कोई उल्लेख नहीं किया है.
कोरोना प्रभावित सेक्टर के लिए कुछ नहीं
उन्होंने कहा कि कोरोना के चलते हमें ये उम्मीद थी कि जो प्रभावित सेक्टर हैं उन्हें राहत दी जाएगी. लेकिन बजट में इसका कहीं कोई उल्लेख नहीं किया गया है. हालांकि रविंद्र चौबे ने कहा कि कोरोना वैक्सीन के लिए 35 हजार करोड़ रुपये दिए गए हैं. लेकिन इसमें गरीबों को मुफ्त वैक्सीनेशन है या नहीं इस पर ये बजट पूरी तरह मौन है.
देश का पहला डिजिटल बजट
वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण ने इस बार पहला डिजिटल बजट पेश किया. वित्त मंत्री ने टैबलेट से बजट पेश किया. इससे पहले वित्त मंत्री बजट दस्तावेजों को लाल रंग के कपड़े में लपेट कर लाती थीं. जिसे परंपरागत तौर पर बही-खाता कहा जाता है. इस बार उन्हें लाल रंग के एक कवर में टैबलेट लाते हुए देखा गया. ऐसा पहली बार हुआ कि बजट प्रक्रिया पेपरलेस रही. निर्मला सीतारमण ने ये तीसरा बजट पेश किया है.