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protest of tribal society in Raipur सर्व आदिवासी समाज का आरक्षण की मांग पर प्रदर्शन

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Published : Nov 1, 2022, 6:18 PM IST

Updated : Nov 1, 2022, 7:10 PM IST

protest of tribal society in Raipur आदिवासी 32% आरक्षण देने की मांग को लेकर अब सड़क की लड़ाई लड़ने के लिए मजबूर हो गए. 1 नवंबर से 3 नवंबर तक प्रदेश की राजधानी रायपुर सहित सभी जिलों में आरक्षण के मुद्दे को लेकर प्रदर्शन किया जा रहा है. इसके साथ ही राष्ट्रीय आदिवासी नृत्य महोत्सव और राज्य उत्सव का बहिष्कार कर रहे हैं. protest of sarva aadiwasi samaj

सर्व आदिवासी समाज का आरक्षण की मांग पर प्रदर्शन
सर्व आदिवासी समाज का आरक्षण की मांग पर प्रदर्शन

रायपुर : 32 फीसदी आरक्षण को फिर से बहाल करने की मांग को लेकर आदिवासी समाज ने बड़ा आंदोलन खड़ा किया है.जिला स्तर पर आदिवासी समाज अपना विरोध जता रहा है.वहीं रायपुर में भी सर्व आदिवासी समाज ने सरकार के खिलाफ अपना गुस्सा निकाला. धरना प्रदर्शन के बाद सर्व आदिवासी समाज ने रैली निकालकर राज्यपाल और मुख्यमंत्री के नाम कलेक्टर को ज्ञापन सौंपा. सर्व आदिवासी समाज का कहना है कि आदिवासी समाज के ऊपर चारों तरफ से हमला हो रहा है. आदिवासियों को उनकी जल जंगल जमीन से बेदखल किया जा रहा है. आदिवासियों को नक्सली बताकर मारा जा रहा है. पदोन्नति में आरक्षण को समाप्त कर दिया गया है. आदिवासियों को विदेशी घोषित किए जाने की साजिश की जा रही (protest of sarva aadiwasi samaj) है.

सर्व आदिवासी समाज का आरक्षण की मांग पर प्रदर्शन
कब तक करेंगे प्रदर्शन : राजधानी रायपुर के बूढ़ा तालाब में सर्व आदिवासी समाज मंगलवार से गुरुवार तक प्रदर्शन करेगा. इसके साथ ही प्रदेश के सभी जिला मुख्यालय में एक दिवसीय प्रदर्शन किया जा रहा है. सर्व आदिवासी समाज की प्रदेश उपाध्यक्ष संतोषी ठाकुर का कहना है कि "आदिवासियों के ऊपर चारों तरफ से हमला हो रहा है. आदिवासियों को उनकी जल जंगल जमीन से बेदखल किया जा रहा है. आदिवासी को नक्सली बताकर मारा जा रहा है. आदिवासियों को विदेशी घोषित करने की साजिश की जा रही है. बीते कई दशकों से आदिवासी समाज शोषित और प्रताड़ित हो रहा है, बावजूद इसके इनकी समस्याओं का समाधान नहीं हो पा रहा है. उन्होंने बताया कि पूरे प्रदेश में आदिवासी समाज से 31 विधायक और 4 सांसद होने के बावजूद आदिवासी सड़क पर उतरकर प्रदर्शन करने को मजबूर हैं. उनका मानना है कि सभी विधायक और सांसद पार्टी से बंधे होने के कारण चुप्पी साधे हुए (demand of reservation in raipur ) हैं."सर्व आदिवासी समाज के प्रदेश कार्यकारी अध्यक्ष बीएस रावटे का कहना है कि "32% आरक्षण देने के मुद्दे को लेकर सर्व आदिवासी समाज अब सड़क की लड़ाई लड़ने को तैयार है. 1 से 3 नवंबर तक राष्ट्रीय आदिवासी नृत्य महोत्सव और राज्य उत्सव का बहिष्कार करने के साथ ही 15 नवंबर को आर्थिक नाकेबंदी करने के साथ ही स्कूल कॉलेज और सड़क जाम करेंगे. और पूरा छत्तीसगढ़ बंद रहेगा. इसके बाद भी अगर प्रदेश सरकार इस दिशा में कोई ठोस पहल नहीं करती है तो दिसंबर महीने में विधानसभा सत्र के दौरान लगभग 10 लाख आदिवासी राजधानी में गली-गली घूमेंगे. इसके साथ ही उन्होंने दोनों पार्टियों को चेतावनी भी दी है, अगर ऐसा नहीं होता है तो तीसरा मोर्चा आदिवासियों का होगा."protest of tribal society in Raipur

रायपुर : 32 फीसदी आरक्षण को फिर से बहाल करने की मांग को लेकर आदिवासी समाज ने बड़ा आंदोलन खड़ा किया है.जिला स्तर पर आदिवासी समाज अपना विरोध जता रहा है.वहीं रायपुर में भी सर्व आदिवासी समाज ने सरकार के खिलाफ अपना गुस्सा निकाला. धरना प्रदर्शन के बाद सर्व आदिवासी समाज ने रैली निकालकर राज्यपाल और मुख्यमंत्री के नाम कलेक्टर को ज्ञापन सौंपा. सर्व आदिवासी समाज का कहना है कि आदिवासी समाज के ऊपर चारों तरफ से हमला हो रहा है. आदिवासियों को उनकी जल जंगल जमीन से बेदखल किया जा रहा है. आदिवासियों को नक्सली बताकर मारा जा रहा है. पदोन्नति में आरक्षण को समाप्त कर दिया गया है. आदिवासियों को विदेशी घोषित किए जाने की साजिश की जा रही (protest of sarva aadiwasi samaj) है.

सर्व आदिवासी समाज का आरक्षण की मांग पर प्रदर्शन
कब तक करेंगे प्रदर्शन : राजधानी रायपुर के बूढ़ा तालाब में सर्व आदिवासी समाज मंगलवार से गुरुवार तक प्रदर्शन करेगा. इसके साथ ही प्रदेश के सभी जिला मुख्यालय में एक दिवसीय प्रदर्शन किया जा रहा है. सर्व आदिवासी समाज की प्रदेश उपाध्यक्ष संतोषी ठाकुर का कहना है कि "आदिवासियों के ऊपर चारों तरफ से हमला हो रहा है. आदिवासियों को उनकी जल जंगल जमीन से बेदखल किया जा रहा है. आदिवासी को नक्सली बताकर मारा जा रहा है. आदिवासियों को विदेशी घोषित करने की साजिश की जा रही है. बीते कई दशकों से आदिवासी समाज शोषित और प्रताड़ित हो रहा है, बावजूद इसके इनकी समस्याओं का समाधान नहीं हो पा रहा है. उन्होंने बताया कि पूरे प्रदेश में आदिवासी समाज से 31 विधायक और 4 सांसद होने के बावजूद आदिवासी सड़क पर उतरकर प्रदर्शन करने को मजबूर हैं. उनका मानना है कि सभी विधायक और सांसद पार्टी से बंधे होने के कारण चुप्पी साधे हुए (demand of reservation in raipur ) हैं."सर्व आदिवासी समाज के प्रदेश कार्यकारी अध्यक्ष बीएस रावटे का कहना है कि "32% आरक्षण देने के मुद्दे को लेकर सर्व आदिवासी समाज अब सड़क की लड़ाई लड़ने को तैयार है. 1 से 3 नवंबर तक राष्ट्रीय आदिवासी नृत्य महोत्सव और राज्य उत्सव का बहिष्कार करने के साथ ही 15 नवंबर को आर्थिक नाकेबंदी करने के साथ ही स्कूल कॉलेज और सड़क जाम करेंगे. और पूरा छत्तीसगढ़ बंद रहेगा. इसके बाद भी अगर प्रदेश सरकार इस दिशा में कोई ठोस पहल नहीं करती है तो दिसंबर महीने में विधानसभा सत्र के दौरान लगभग 10 लाख आदिवासी राजधानी में गली-गली घूमेंगे. इसके साथ ही उन्होंने दोनों पार्टियों को चेतावनी भी दी है, अगर ऐसा नहीं होता है तो तीसरा मोर्चा आदिवासियों का होगा."protest of tribal society in Raipur
Last Updated : Nov 1, 2022, 7:10 PM IST
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