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अंतागढ़ के 53 गांवों को नारायणपुर में शामिल करने का प्रस्ताव, सीएम ने दिए ये निर्देश - antagarh

अंतागढ़ के 53 गांवों को नारायणपुर (Narayanpur) जिले में शामिल करने का प्रस्ताव केंद्र को भेजा गया है. इस मुद्दे पर सीएम भूपेश बघेल (CM Bhupesh Baghel) ने अधिकारियों को समन्वय करने के निर्देश दिए हैं.

CM Bhupesh Baghel
सीएम भूपेश बघेल
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Published : Oct 26, 2021, 8:30 PM IST

Updated : Oct 26, 2021, 10:51 PM IST

रायपुर: अंतागढ़ के 53 गांवों को नारायणपुर (Narayanpur ) जिले में शामिल करने का प्रस्ताव केंद्र को भेजा गया है. इस मुद्दे पर सीएम भूपेश बघेल (CM Bhupesh Baghel) ने संवेदनशीलता दिखाई है. 53 गांव के निवासी इसकी मांग कर रहे थे. सीएम ने अधिकारियों को इस मसले पर समन्वय करने के निर्देश दिए हैं.

यह भी पढ़ें: छत्तीसगढ़ में शेरों की रक्षा की उम्मीद गीदड़ों से नहीं की जा सकतीः बृजमोहन अग्रवाल

बात दें कि बस्तर संभाग के सभी जिलों का जो नया परिसीमन प्रस्तावित हैं. नए परिसीमन में कांकेर जिले का अंतागढ़ विकासखंड ही प्रभावित हो रहा है. क्योंकि यहां के 53 राजस्व ग्राम नारायणपुर जिले में शामिल हो जाएंगे. इन 53 गांवों में अंतागढ़ के आमाबेड़ा थाने के 27 गांव, रावघाट थाने के 25 गांव और ताड़ोकी थाने का एक गांव शामिल है. नए परिसीमन में जिले के रावघाट माइंस क्षेत्र के भी सभी गांव नारायणपुर जिले में शामिल हो जाएंगे.

क्यों पड़ी परिसीमन की जरूरत

पूर्व में बस्तर आईजी ने कमिश्नर बस्तर को पत्र प्रेषित किया था जिसमें उल्लेख है कि 1998 तक पूरा बस्तर संभाग एक ही जिला था. 1998 में कांकेर और दंतेवाड़ा, 2007 में नारायणपुर तथा बीजापुर. इसके अलावा अंतिम बार 2012 में कोंडागांव तथा सुकमा जिलों का गठन किया गया. अलग समय में जिलों का गठन करने से कुछ विसंगतियां हैं. क्षेत्र में विकास कार्य कराने के अलावा चुनाव कराने में परेशानी आती है.

रायपुर: अंतागढ़ के 53 गांवों को नारायणपुर (Narayanpur ) जिले में शामिल करने का प्रस्ताव केंद्र को भेजा गया है. इस मुद्दे पर सीएम भूपेश बघेल (CM Bhupesh Baghel) ने संवेदनशीलता दिखाई है. 53 गांव के निवासी इसकी मांग कर रहे थे. सीएम ने अधिकारियों को इस मसले पर समन्वय करने के निर्देश दिए हैं.

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बात दें कि बस्तर संभाग के सभी जिलों का जो नया परिसीमन प्रस्तावित हैं. नए परिसीमन में कांकेर जिले का अंतागढ़ विकासखंड ही प्रभावित हो रहा है. क्योंकि यहां के 53 राजस्व ग्राम नारायणपुर जिले में शामिल हो जाएंगे. इन 53 गांवों में अंतागढ़ के आमाबेड़ा थाने के 27 गांव, रावघाट थाने के 25 गांव और ताड़ोकी थाने का एक गांव शामिल है. नए परिसीमन में जिले के रावघाट माइंस क्षेत्र के भी सभी गांव नारायणपुर जिले में शामिल हो जाएंगे.

क्यों पड़ी परिसीमन की जरूरत

पूर्व में बस्तर आईजी ने कमिश्नर बस्तर को पत्र प्रेषित किया था जिसमें उल्लेख है कि 1998 तक पूरा बस्तर संभाग एक ही जिला था. 1998 में कांकेर और दंतेवाड़ा, 2007 में नारायणपुर तथा बीजापुर. इसके अलावा अंतिम बार 2012 में कोंडागांव तथा सुकमा जिलों का गठन किया गया. अलग समय में जिलों का गठन करने से कुछ विसंगतियां हैं. क्षेत्र में विकास कार्य कराने के अलावा चुनाव कराने में परेशानी आती है.

Last Updated : Oct 26, 2021, 10:51 PM IST
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