रायपुर : छत्तीसगढ़ में इन दिनों राजकीय गमछे (Chhattisgarh first state gamchha) की धूम है. हर वर्ग के लोग राजकीय गमछे को बहुत पसंद कर रहे हैं और पहन भी रहे हैं. बता दें कि 14 अक्टूबर 2021 को मुख्यमंत्री भूपेश बघेल ने राज्य की पारंपरिक सांस्कृतिक धरोहर को प्रदर्शित करने वाले छत्तीसगढ़ के राजकीय गमछे का लोकार्पण किया था. इस राजकीय गमछे को कलाकृति के माध्यम से तैयार करने वाली सरगुजा की रहने वाली कलाकार कलावती पवले से ईटीवी भारत ने खास बातचीत की. आइये जानते हैं उन्होंने क्या कहा...
सवाल- छत्तीसगढ़ का पहला राजकीय गमछा आपने तैयार किया है? किस तरह से आपने इसे बनाया था?
जवाब- मुझे गमछे की डिजाइन दिखाई गई थी. उसी डिजाइन को मैंने कोसे के कपड़े से बनाया. शुरुआत में मैने 2 से 3 गमछे ही डिजाइन किए थे, बाद में 10 गमछा बनवाया गया और उसके बाद संख्या बढ़ती गई. फिर मुझे लगातार गमछे में पेटिंग करने का काम दिया गया. फिर मैंने अपनी टीम के साथ काम शुरू किया.
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सवाल-कितनी महिलाएं मिलकर काम कर रही हैं?
जवाब- हमारी टीम में 15 महिलाएं काम कर रही हैं. अभी समूह का गठन नहीं किया है, लेकिन हम सभी एक साथ मिलकर टीम में काम कर रहे हैं.
सवाल- पेटिंग आर्ट की शुरुआत आपने कब से की?
जवाब- मैं 2011 से गोदना पेंटिंग कर रही हूं. मैंने इसकी ट्रेनिंग ली थी और इसे सीखा भी था. 3 महीने सीखने के बाद मैंने अम्बिकापुर में ट्रेनिंग ली और वहां से अब रायपुर में बिलासा हैंडलूम का काम कर रही हूं. मैं मधुबनी, गोदना पेटिंग, बस्तर आर्ट और मॉडल आर्ट पेटिंग करती हूं. इसके साथ ही मैं अपनी टीम के सदस्यों को भी सिखाती हूं.
सवाल - आपके द्वारा तैयार गमछे को कई बड़ी हस्तियां पहन रही हैं, आपको कैसा लगता है?
जवाब- मुझे बहुत अच्छा लगता है कि मेरे द्वारा तैयार राजकीय गमछे को बड़ी-बड़ी हस्तियां पहन रही हैं और पसंद कर रही हैं.
सवाल- अभी तक आपने कितने गमछे तैयार किए हैं? कितने रुपए आपको मिलते हैं इस आर्ट वर्क के?
जवाब- अभी तक मैंने बिलासा हैंडलूम द्वारा करीब 450 गमछे तैयार किये. हमें गमछे दिए जाते हैं. कपड़े में एक आर्ट वर्क बनाने का 700 रुपए दिया जाता है.