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रायपुर: मेकाहारा के नर्सिंग स्टाफ में नाराजगी, प्रबंधन पर अभद्र व्यवहार करने का आरोप

छत्तीसगढ़ के सबसे बड़े शासकीय अस्पताल डॉ. भीमराव अम्बेडकर मेमोरियल हॉस्पिटल (मेकाहारा) के नर्सिंग स्टाफ भी कोविड 19 की परेशानियों से जूझ रहे हैं. इसे लेकर नर्सिंग स्टाफ ने अस्पताल प्रबंधन पर व्यवस्था नहीं करने और अभद्र व्यवहार करने आरोप लगाया है.

Ambedkar Hospital accused of negligence
डॉ भीमराव अंबेडकर हॉस्पिटल पर लापरवाही का आरोप
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Published : May 30, 2020, 1:32 PM IST

Updated : May 30, 2020, 3:24 PM IST

रायपुरः कोरोना जैसी वैश्विक महामारी से आज पूरा विश्व जूझ रहा है. इससे लोगों को बचाने के लिए स्वास्थ्यकर्मी ए़क योद्धा के रूप में खड़े हैं, लेकिन राजधानी के मेकाहारा में जब यही योद्धा इस महामारी की चपेट में आ गए हैं, तो अस्पताल प्रबंधन का रवैया सवालों के घेरे में है. छत्तीसगढ़ के सबसे बड़े शासकीय अस्पताल डॉ. भीमराव अम्बेडकर मेमोरियल हॉस्पिटल (मेकाहारा) के नर्सिंग स्टाफ ने प्रबंधन पर अभद्र व्यवहार करने का आरोप लगाया है.

डॉ भीमराव अंबेडकर हॉस्पिटल पर लापरवाही का आरोप

अस्पताल के नर्सिंग स्टाफ में अव्यवस्थाओं को लेकर खासी नाराजगी है. उन्होंने प्रबंधन पर सब जानकरी होने के बावजूद लापरवाही करने का आरोप लगाया है. कोविड 19 वार्ड में काम कर रहे नर्सिंग स्टाफ ने अपने अधिकारियों पर अभद्र व्यवहार करने का आरोप लगाया है.

अस्पताल प्रबंधन पर लापरवाही का आरोप

अस्पताल के कोविड 19 वार्ड में ड्यूटी कर रही एक स्टाफ नर्स कोरोना वायरस की चपेट में आ गई, लेकिन प्रबंधन पर आरोप है कि साथ में ड्यूटी करने वाले किसी भी स्टाफ को न तो आइसोलेट किया गया और न ही उन्हें होम क्वॉरेंटाइन होने के लिए छुट्टी दी गई. जब वे इस मामले को लेकर अधीक्षक के पास गए, तो उनके साथ अभद्र व्यवहार किया गया. इसके अलावा यहां ऐसी नर्स भी है, जो कोविड वार्ड के निर्माण होने के बाद से लगातार अपनी सेवाएं दे रही हैं, लेकिन प्रबंधन की ओर से न तो उन्हें अब तक घर भेजा गया है और न ही उनके रहने के लिए पूरी व्यवस्था की गई है.

पढ़ेंः-छत्तीसगढ़ के पहले मुख्यमंत्री अजीत जोगी का गौरेला में होगा अंतिम संस्कार

नर्सिंग स्टाफ का कहना है कि जिस तरह से उनसे ड्यूटी कराई जा रही है, वो उनके और परिवार के लिए बड़ा खतरा साबित हो सकती है. नर्सिंग स्टाफ ने बताया कि कोविड वार्ड के लिए अलग स्टाफ का चयन किया गया है, लेकिन वहां स्टाफ की कमी होने पर सामान्य वार्ड की नर्सों की भी ड्यूटी लगाई जाती है, जिसके बाद उन्हें होम आइसोलेशन में रहने के लिए छुट्टी भी नहीं दी जाती है.

अधीक्षक को दी गई समस्याओं की जानकारी

स्टाफ की तमाम समस्याओं के संबंध में जब सह नर्सिंग अधीक्षक नंदा रंगारी से बात की गई, तो उन्होंने विभागीय आदेश का पालने करने की बात कही. साथ ही उन्होंने स्वीकार किया कि हॉस्पिटल में नर्सिंग स्टाफ की कमी है, इस वजह से सामान्य वार्ड की नर्सों की ड्यूटी कभी-कभी कोविड वार्ड में लगानी पड़ती है. उन्होंने बताया कि नर्सिंग स्टाफ की सभी समस्याओं की जानकारी हॉस्पिटल अधीक्षक डॉक्टर विनीत जैन को दे दी गई है.

आरोपों को बताया बेबुनियाद

ETV भारत ने इन सभी मुद्दों पर अस्पताल अधीक्षक विनीत जैन से बात की. जिस पर उन्होंने बताया कि प्रबंधन की ओर से पूरी कोशिश की जा रही है. स्टाफ को क्वॉरेंटाइन करने के बारे में पूछे जाने पर उन्होंने बताया कि गवर्नमेंट की ओर से कॉन्टैक्ट ट्रेसिंग टीम आती है, जो संक्रमितों की पहचान कर उन्हें खुद आइसोलेट करती है. वही नर्सिंग स्टाफ के साथ अभद्र व्यवहार की शिकायतों को उन्होंने बेबुनियाद बताया और किसी भी अधिकारी द्वारा ऐसी हरकत नहीं करने की बात कही.

पढ़ेंः-निजी अस्पताल पर मौत के बाद भी इलाज करने का आरोप, मान्यता रद्द करने की मांग

कोविड-19 वार्ड में सेवा देने वाली नर्सेज लगातार अपनी जान जोखिम में डालकर ड्यूटी कर रही हैं और अस्पताल प्रबंधन से होम क्वॉरेंटाइन या पूरी व्यवस्था करने की गुहार लगा रही हैं, लेकिन जानकारी होने के बाद भी प्रबंधन की ओर से उचित कदम नहीं उठाए जाने को लेकर कई सवाल खड़े हो रहे हैं.

रायपुरः कोरोना जैसी वैश्विक महामारी से आज पूरा विश्व जूझ रहा है. इससे लोगों को बचाने के लिए स्वास्थ्यकर्मी ए़क योद्धा के रूप में खड़े हैं, लेकिन राजधानी के मेकाहारा में जब यही योद्धा इस महामारी की चपेट में आ गए हैं, तो अस्पताल प्रबंधन का रवैया सवालों के घेरे में है. छत्तीसगढ़ के सबसे बड़े शासकीय अस्पताल डॉ. भीमराव अम्बेडकर मेमोरियल हॉस्पिटल (मेकाहारा) के नर्सिंग स्टाफ ने प्रबंधन पर अभद्र व्यवहार करने का आरोप लगाया है.

डॉ भीमराव अंबेडकर हॉस्पिटल पर लापरवाही का आरोप

अस्पताल के नर्सिंग स्टाफ में अव्यवस्थाओं को लेकर खासी नाराजगी है. उन्होंने प्रबंधन पर सब जानकरी होने के बावजूद लापरवाही करने का आरोप लगाया है. कोविड 19 वार्ड में काम कर रहे नर्सिंग स्टाफ ने अपने अधिकारियों पर अभद्र व्यवहार करने का आरोप लगाया है.

अस्पताल प्रबंधन पर लापरवाही का आरोप

अस्पताल के कोविड 19 वार्ड में ड्यूटी कर रही एक स्टाफ नर्स कोरोना वायरस की चपेट में आ गई, लेकिन प्रबंधन पर आरोप है कि साथ में ड्यूटी करने वाले किसी भी स्टाफ को न तो आइसोलेट किया गया और न ही उन्हें होम क्वॉरेंटाइन होने के लिए छुट्टी दी गई. जब वे इस मामले को लेकर अधीक्षक के पास गए, तो उनके साथ अभद्र व्यवहार किया गया. इसके अलावा यहां ऐसी नर्स भी है, जो कोविड वार्ड के निर्माण होने के बाद से लगातार अपनी सेवाएं दे रही हैं, लेकिन प्रबंधन की ओर से न तो उन्हें अब तक घर भेजा गया है और न ही उनके रहने के लिए पूरी व्यवस्था की गई है.

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नर्सिंग स्टाफ का कहना है कि जिस तरह से उनसे ड्यूटी कराई जा रही है, वो उनके और परिवार के लिए बड़ा खतरा साबित हो सकती है. नर्सिंग स्टाफ ने बताया कि कोविड वार्ड के लिए अलग स्टाफ का चयन किया गया है, लेकिन वहां स्टाफ की कमी होने पर सामान्य वार्ड की नर्सों की भी ड्यूटी लगाई जाती है, जिसके बाद उन्हें होम आइसोलेशन में रहने के लिए छुट्टी भी नहीं दी जाती है.

अधीक्षक को दी गई समस्याओं की जानकारी

स्टाफ की तमाम समस्याओं के संबंध में जब सह नर्सिंग अधीक्षक नंदा रंगारी से बात की गई, तो उन्होंने विभागीय आदेश का पालने करने की बात कही. साथ ही उन्होंने स्वीकार किया कि हॉस्पिटल में नर्सिंग स्टाफ की कमी है, इस वजह से सामान्य वार्ड की नर्सों की ड्यूटी कभी-कभी कोविड वार्ड में लगानी पड़ती है. उन्होंने बताया कि नर्सिंग स्टाफ की सभी समस्याओं की जानकारी हॉस्पिटल अधीक्षक डॉक्टर विनीत जैन को दे दी गई है.

आरोपों को बताया बेबुनियाद

ETV भारत ने इन सभी मुद्दों पर अस्पताल अधीक्षक विनीत जैन से बात की. जिस पर उन्होंने बताया कि प्रबंधन की ओर से पूरी कोशिश की जा रही है. स्टाफ को क्वॉरेंटाइन करने के बारे में पूछे जाने पर उन्होंने बताया कि गवर्नमेंट की ओर से कॉन्टैक्ट ट्रेसिंग टीम आती है, जो संक्रमितों की पहचान कर उन्हें खुद आइसोलेट करती है. वही नर्सिंग स्टाफ के साथ अभद्र व्यवहार की शिकायतों को उन्होंने बेबुनियाद बताया और किसी भी अधिकारी द्वारा ऐसी हरकत नहीं करने की बात कही.

पढ़ेंः-निजी अस्पताल पर मौत के बाद भी इलाज करने का आरोप, मान्यता रद्द करने की मांग

कोविड-19 वार्ड में सेवा देने वाली नर्सेज लगातार अपनी जान जोखिम में डालकर ड्यूटी कर रही हैं और अस्पताल प्रबंधन से होम क्वॉरेंटाइन या पूरी व्यवस्था करने की गुहार लगा रही हैं, लेकिन जानकारी होने के बाद भी प्रबंधन की ओर से उचित कदम नहीं उठाए जाने को लेकर कई सवाल खड़े हो रहे हैं.

Last Updated : May 30, 2020, 3:24 PM IST
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