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रायपुर: कोर्ट के आदेश के बाद भी सरोना में डंप हो रहा कचरा

ट्रेंचिंग ग्राउंड से लगी हुई एक बस्ती है, जहां बड़ी संख्या में लोग रहते हैं. लोगों का कहना है कि कचरे की वजह से यहां बीमारियां फैल रही हैं.

कोर्ट के आदेश के बाद भी सरोना में डंप हो रहा कचरा
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Published : Jun 23, 2019, 10:39 PM IST

रायपुर: नगर निगम हर रोज सरोना ट्रेंचिंग ग्राउंड पर तकरीबन 500 टन कचरा डंप करता है. कोर्ट के आदेश के बाद भी नेशनल ग्रीन ट्रिब्यूनल ने आपत्ति करते हुए नगर निगम को 2 जून पूरा कचरा हटाने का निर्देश दिया था. बावजूद इसके अभी भी यहां पर कचरा डंप किया जा रहा है.

कोर्ट के आदेश के बाद भी सरोना में डंप हो रहा कचरा

लोगों ने किया प्रदर्शन
महीने के शुरुआती दिनों में यहां एक बड़ा विवाद हुआ था. स्थानीय लोगों ने सरोना बचाओ समिति के साथ मिलकर नगर निगम की कचरा गाड़ियों को रोक कर जमकर हंगामा किया. इस दौरान निगम की तरफ से दलील आई कि, अभी ट्रेंचिंग ग्राउंड बनने में थोड़ा और समय लगेगा. इसके बाद प्रदर्शनकारियों ने उन्हें 15 जून तक का समय दिया था, जो पूरा हो चुका है, बावजूद इसके अभी भी सरोना ट्रेंचिंग ग्राउंड में लगातार कचरा डंप किया जा रहा है.

साइंटिफिक तरीके से डम नहीं हो रहा है कचरा
ट्रेंचिंग ग्राउंड से लगी एक बस्ती है, जहां बड़ी संख्या में लोग रहते हैं. उन सभी की एक ही शिकायत है कि, यहां पर इतनी बड़ी संख्या में कचरा डंप किया जाता है. सरोना में बनाए गए ट्रेंचिंग ग्राउंड की सबसे बड़ी परेशानी यह है कि वहां पर कचरा साइंटिफिक तरीके से डंप नहीं किया जाता. नगर निगम अब जो सकरी गांव में जो दूसरा डंपिंग एरिया बना रहा है, वो साइंटिफिक तरीके से बनेगा.

खुली गाड़ीयों से गिर जाता है कचरा
ट्रेंचिंग ग्राउंड पहुंचने के तकरीबन 2 किलोमीटर पहले से ही सड़कें खराब हो चुकी हैं. पूरे रास्ते पर कचरा बिखरा पड़ा है. इसकी सबसे बड़ी वजह है, जिन गाड़ियों में कचरा भराकर आता है, वो खुली रहती हैं, इसके कारण पूरा कचरा रास्ते पर बिखर जाता है.

कचरा लोगों के घरों में घूस रहा है
छत्तीसगढ़ में मानसून ने दस्तक दे दी है. मौसम वैज्ञानिकों की माने तो इस साल बारिश अच्छी होगी. ऐसे में वहां रह रहे लोगों के सामने यह एक बड़ी परेशानी है. हर साल बरसात होती है और पानी के साथ-साथ डंपिंग ग्राउंड का कचरा वहां के रहवासियों के घरों में घुस जाता है. जिससे वहां बीमारियों के फैलने का खतरा हमेशा बना रहता है.

सरोना में साइंटिफिक डंपिंग बनेगा
मामले को लेकर नगर निगम कमिश्नर शिव अनंत दयाल का कहना है कि 'सकरी गांव में साइंटिफिक तरीके से डंपिंग एरिया बनाया जा रहा है और जल्द ही सरोना को खाली कर दिया जाएगा.

रायपुर: नगर निगम हर रोज सरोना ट्रेंचिंग ग्राउंड पर तकरीबन 500 टन कचरा डंप करता है. कोर्ट के आदेश के बाद भी नेशनल ग्रीन ट्रिब्यूनल ने आपत्ति करते हुए नगर निगम को 2 जून पूरा कचरा हटाने का निर्देश दिया था. बावजूद इसके अभी भी यहां पर कचरा डंप किया जा रहा है.

कोर्ट के आदेश के बाद भी सरोना में डंप हो रहा कचरा

लोगों ने किया प्रदर्शन
महीने के शुरुआती दिनों में यहां एक बड़ा विवाद हुआ था. स्थानीय लोगों ने सरोना बचाओ समिति के साथ मिलकर नगर निगम की कचरा गाड़ियों को रोक कर जमकर हंगामा किया. इस दौरान निगम की तरफ से दलील आई कि, अभी ट्रेंचिंग ग्राउंड बनने में थोड़ा और समय लगेगा. इसके बाद प्रदर्शनकारियों ने उन्हें 15 जून तक का समय दिया था, जो पूरा हो चुका है, बावजूद इसके अभी भी सरोना ट्रेंचिंग ग्राउंड में लगातार कचरा डंप किया जा रहा है.

साइंटिफिक तरीके से डम नहीं हो रहा है कचरा
ट्रेंचिंग ग्राउंड से लगी एक बस्ती है, जहां बड़ी संख्या में लोग रहते हैं. उन सभी की एक ही शिकायत है कि, यहां पर इतनी बड़ी संख्या में कचरा डंप किया जाता है. सरोना में बनाए गए ट्रेंचिंग ग्राउंड की सबसे बड़ी परेशानी यह है कि वहां पर कचरा साइंटिफिक तरीके से डंप नहीं किया जाता. नगर निगम अब जो सकरी गांव में जो दूसरा डंपिंग एरिया बना रहा है, वो साइंटिफिक तरीके से बनेगा.

खुली गाड़ीयों से गिर जाता है कचरा
ट्रेंचिंग ग्राउंड पहुंचने के तकरीबन 2 किलोमीटर पहले से ही सड़कें खराब हो चुकी हैं. पूरे रास्ते पर कचरा बिखरा पड़ा है. इसकी सबसे बड़ी वजह है, जिन गाड़ियों में कचरा भराकर आता है, वो खुली रहती हैं, इसके कारण पूरा कचरा रास्ते पर बिखर जाता है.

कचरा लोगों के घरों में घूस रहा है
छत्तीसगढ़ में मानसून ने दस्तक दे दी है. मौसम वैज्ञानिकों की माने तो इस साल बारिश अच्छी होगी. ऐसे में वहां रह रहे लोगों के सामने यह एक बड़ी परेशानी है. हर साल बरसात होती है और पानी के साथ-साथ डंपिंग ग्राउंड का कचरा वहां के रहवासियों के घरों में घुस जाता है. जिससे वहां बीमारियों के फैलने का खतरा हमेशा बना रहता है.

सरोना में साइंटिफिक डंपिंग बनेगा
मामले को लेकर नगर निगम कमिश्नर शिव अनंत दयाल का कहना है कि 'सकरी गांव में साइंटिफिक तरीके से डंपिंग एरिया बनाया जा रहा है और जल्द ही सरोना को खाली कर दिया जाएगा.

Intro:रायपुर नगर निगम हर रोज सरोना ट्रेंचिंग ग्राउंड में तकरीबन 500 टन कचरा डंप करता है इस पर नेशनल ग्रीन ट्रिब्यूनल ने इस पर आपत्ती की कोर्ट ने भी नगर निगम को 2 जून तक वहां से पूरा कचरा हटाने का निर्देश दिया था बावजूद इसके अभी भी यहां पर कचरा डंप किया जा रहा है ।


Body:जून माह में यहां पर एक बड़ा विवाद हुआ स्थानीय लोगों ने सरोना बचाओ समिति ने निगम की कचरा गाड़ियों को रोक दिया जमकर हंगामा हुआ लेकिन बाद में निगम की तरफ से दलील आई कि अभी सकरी की ट्रेंचिंग ग्राउंड बनने में थोड़ा सा समय लगेगा । इसके बाद प्रदर्शनकारियों ने उन्हें 15 जून तक का समय दिया था निर्धारित समय भी अब पूरा हो चुका है बावजूद इसके अभी भी लगातार सरोना ट्रेंचिंग ग्राउंड में कचरा डंप किया जा रहा है

ट्रेंचिंग ग्राउंड से लगा हुआ एक बस्ती है जहां बड़ी संख्या में लोग रहते हैं उन सभी की एक ही शिकायत है कि यहां पर इतनी बड़ी संख्या में कचरा डंप किया जाता है सरोना में बनाए गए ट्रेंचिंग ग्राउंड की सबसे बड़ी परेशानी या है कि वहां पर कचरा साइंटिफिक तरीके से दम पर नहीं किया जाता नगर निगम अब जो दूसरा डंपिंग एरिया बना रही है जो कि सकरी में है उसे पूरा साइंटिफिक तरीके से बनाया गया है

ट्रेंचिंग ग्राउंड पहुंचने के तकरीबन 2 किलोमीटर पहले से ही सड़के पूरी तरीके से खराब हो चुकी है पूरे रास्ते पर कचड़े बिखरे मिलते हैं इसकी सबसे बड़ी वजह है जिन गाड़ियों में कचड़े भर कर जाते हैं वह गाड़ियां खोली जाती है जिसके कारण रास्ते पर कचरे बिखर जाते हैं यहां के रहवासी एक लंबे समय से कचरा डंपिंग एरिया वहां से हटाने की मांग कर रहे हैं बावजूद इसके अब तक निगम प्रशासन की नींद नहीं खुली है

छत्तीसगढ़ में मानसून आ चुका है मौसम वैज्ञानिकों की मानें तो इस वर्ष बरसात भी अधिक होगी ऐसे में वहां रह रहे लोगों के सामने यह एक बड़ी परेशानी है हर साल बरसात होती है और पानी के साथ साथ डंपिंग ग्राउंड का कचरा वहां के रहवासियों के घरों में घुस जाता है जिससे कि वहां बीमारियां भी फैलती है





Conclusion:इस पूरे मामले को लेकर नगर निगम कमिश्नर शिव अनंत दयाल का कहना है कि सकरी में साइंटिफिक तरीके से डंपिंग एरिया बनाया जा रहा है और जल्द ही सरोना को खाली कर दिया जाएगा

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