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जगदलपुर देश का पहला नगर निगम जहां शहरी लोगों को मिला वन भूमि का अधिकार

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Published : Aug 9, 2020, 10:27 PM IST

मुख्यमंत्री भूपेश बघेल ने विश्व आदिवासी दिवस के मौके पर जगदलपुर के चार लोगों को वन भूमि का अधिकार पत्र प्रदान किया. इसी के साथ जगदलपुर देश का पहला नगर निगम बन गया है, जहां शहरी लोगों को वन भूमि का अधिकार पत्र प्रदान किया गया है.

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शहरी लोगों को मिला वन भूमि का अधिकार

रायपुर: छत्तीसगढ़ का जगदलपुर देश का पहला नगर निगम बन गया है, जहां शहरी लोगों को वन भूमि का अधिकार पत्र प्रदान किया गया है. मुख्यमंत्री भूपेश बघेल ने विश्व आदिवासी दिवस के मौके इसकी शुरुआत की है. सीएम हाउस में आयोजित कार्यक्रम के दौरान वीडियो कॉन्फ्रेंसिंग के जरिए जगदलपुर के चार लोगों को वन भूमि का अधिकार पत्र प्रदान किया गया.

जगदलपुर ऐसे विरले नगर निगम क्षेत्रों में से है, जिसकी सीमा में आज भी छोटे और बड़े जंगल की भूमि है. मुख्यमंत्री बघेल की विशेष पहल पर वन अधिकार अधिनियम के तहत शहरी क्षेत्रों के निवासियों को भी वन अधिकार पत्रक देने की शुरूआत की गई है. जगदलपुर में वन अधिकार पत्र के लिए 1,777 लोगों ने आवेदन किया है. जिनपर नियमानुसार कार्रवाई की जा रही है.

मुख्यमंत्री बघेल ने कहा कि 'वन अधिकार अधिनियम में शहरी क्षेत्रों में यदि वन भूमि है तो वहां भी पात्र परंपरागत निवासियों को वन भूमि के अधिकार पत्रक देने का प्रावधान है, लेकिन अबतक इस पर कोई कार्रवाई नहीं की गई थी. छत्तीसगढ़ में जनहित को ध्यान में रखते हुए इसकी शुरुआत की गई है.

पढ़ें-विश्व आदिवासी दिवस: छत्तीसगढ़ में शुरू होगी इंदिरा वन मितान योजना, सीएम ने की घोषणा

संग्रहालय की मांग को भी स्वीकृती

इस अवसर पर मुख्यमंत्री बघेल ने विधायक चित्रकोट राजमन बेंजाम की मांग पर कोया-कुटमा समाज के लिए पांच एकड़ जमीन और 6 करोड़ रुपये की स्वीकृति प्रदान की है. मुख्यमंत्री बघेल ने कोया-कुटमा समाज के लिए सामाजिक सामुदायिक भवन निर्माण के साथ ही बस्तर की विश्व प्रसिद्ध सांस्कृतिक रीति-रिवाजों, पारम्परिक नृत्यों, शिल्प कलाओं, ऐतिहासिक धरोहरों और पुरातात्विक विरासतों को सहेजने के लिए संग्रहालय की भी मांग को स्वीकृत दी है.

रायपुर: छत्तीसगढ़ का जगदलपुर देश का पहला नगर निगम बन गया है, जहां शहरी लोगों को वन भूमि का अधिकार पत्र प्रदान किया गया है. मुख्यमंत्री भूपेश बघेल ने विश्व आदिवासी दिवस के मौके इसकी शुरुआत की है. सीएम हाउस में आयोजित कार्यक्रम के दौरान वीडियो कॉन्फ्रेंसिंग के जरिए जगदलपुर के चार लोगों को वन भूमि का अधिकार पत्र प्रदान किया गया.

जगदलपुर ऐसे विरले नगर निगम क्षेत्रों में से है, जिसकी सीमा में आज भी छोटे और बड़े जंगल की भूमि है. मुख्यमंत्री बघेल की विशेष पहल पर वन अधिकार अधिनियम के तहत शहरी क्षेत्रों के निवासियों को भी वन अधिकार पत्रक देने की शुरूआत की गई है. जगदलपुर में वन अधिकार पत्र के लिए 1,777 लोगों ने आवेदन किया है. जिनपर नियमानुसार कार्रवाई की जा रही है.

मुख्यमंत्री बघेल ने कहा कि 'वन अधिकार अधिनियम में शहरी क्षेत्रों में यदि वन भूमि है तो वहां भी पात्र परंपरागत निवासियों को वन भूमि के अधिकार पत्रक देने का प्रावधान है, लेकिन अबतक इस पर कोई कार्रवाई नहीं की गई थी. छत्तीसगढ़ में जनहित को ध्यान में रखते हुए इसकी शुरुआत की गई है.

पढ़ें-विश्व आदिवासी दिवस: छत्तीसगढ़ में शुरू होगी इंदिरा वन मितान योजना, सीएम ने की घोषणा

संग्रहालय की मांग को भी स्वीकृती

इस अवसर पर मुख्यमंत्री बघेल ने विधायक चित्रकोट राजमन बेंजाम की मांग पर कोया-कुटमा समाज के लिए पांच एकड़ जमीन और 6 करोड़ रुपये की स्वीकृति प्रदान की है. मुख्यमंत्री बघेल ने कोया-कुटमा समाज के लिए सामाजिक सामुदायिक भवन निर्माण के साथ ही बस्तर की विश्व प्रसिद्ध सांस्कृतिक रीति-रिवाजों, पारम्परिक नृत्यों, शिल्प कलाओं, ऐतिहासिक धरोहरों और पुरातात्विक विरासतों को सहेजने के लिए संग्रहालय की भी मांग को स्वीकृत दी है.

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