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नवरात्र का चौथा दिन, करें मां कुष्मांडा की आराधना - raipur news

रायपुर में नवरात्र का आज यानि की बुधवार को चौथा दिन है. इस दिन मां कुष्मांडा की पूजा अर्चना की जाती है.

नवरात्रि का चौथा दिन
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Published : Oct 2, 2019, 12:07 AM IST

Updated : Oct 2, 2019, 4:24 PM IST

रायपुरः शारदीय नवरात्र के चौथे दिन मां कुष्मांडा के साधना आराधना का दिन है. मां कुष्मांडा को ब्रह्मांड की देवी माना जाता है, सौरमण्डल की अधिष्ठात्री देवी मां कुष्मांडा ही हैं.

नवरात्रि का चौथा दिन, करें मां कुष्मांडा की आराधना

ऐसा है मां का स्वरूप

  • मां कुष्मांडा का दिव्य रूप 10 भुजाओं वाला है, जो दसों दिशाओं को आलोकित करती हैं.
  • कहा जाता है कि देवी की मुस्कान से सृष्टि की रचना हुई, मां का ये रूप पूरे ब्रह्मांड में शक्तियों को जागृत करने वाला स्वरूप है.

सूर्य होगा बेहतर
जिनकी कुंडली में सूर्य का प्रभाव कम या ज्यादा है उन्हें मां की साधना आराधना करने से कुंडली में सूर्य का प्रभाव बेहतर होता है.

करें इस मंत्र का जाप

सुरासम्पूर्णकलशं रुधिराप्लुतमेव च।
दधाना हस्तपद्माभ्यां कुष्मांडा शुभदास्तु मे।

रायपुरः शारदीय नवरात्र के चौथे दिन मां कुष्मांडा के साधना आराधना का दिन है. मां कुष्मांडा को ब्रह्मांड की देवी माना जाता है, सौरमण्डल की अधिष्ठात्री देवी मां कुष्मांडा ही हैं.

नवरात्रि का चौथा दिन, करें मां कुष्मांडा की आराधना

ऐसा है मां का स्वरूप

  • मां कुष्मांडा का दिव्य रूप 10 भुजाओं वाला है, जो दसों दिशाओं को आलोकित करती हैं.
  • कहा जाता है कि देवी की मुस्कान से सृष्टि की रचना हुई, मां का ये रूप पूरे ब्रह्मांड में शक्तियों को जागृत करने वाला स्वरूप है.

सूर्य होगा बेहतर
जिनकी कुंडली में सूर्य का प्रभाव कम या ज्यादा है उन्हें मां की साधना आराधना करने से कुंडली में सूर्य का प्रभाव बेहतर होता है.

करें इस मंत्र का जाप

सुरासम्पूर्णकलशं रुधिराप्लुतमेव च।
दधाना हस्तपद्माभ्यां कुष्मांडा शुभदास्तु मे।

Intro: शारदीय नवरात्र के चौथे दिन मां कुष्मांडा के साधना आराधना का दिन है।।
मां कुष्मांडा को ब्रह्मांड की देवी माना जाता है, सौरमण्डल की अधिष्ठात्री देवी मां कुष्मांडा है।।


Body:मां कुष्मांडा का दिव्य रूप 10 भुजाओं वाला है, जो दसों दिशाओं को आलोकित करती है, कहा जाता है कि देवी की मुस्कान से सृष्टि की रचना हुई, पूरे ब्रह्मांड में शक्तियों को जागृत करने वाला स्वरूप है।।


Conclusion:जिनकी कुंडली में सूर्य का प्रभाव कम या ज्यादा है उन्हें मां की साधना आराधना करने से कुंडली मे सूर्य का प्रभाव बेहतर होता है


बाईट


पंडित अरुणेश शर्मा
ज्योतिषाचार्य
Last Updated : Oct 2, 2019, 4:24 PM IST
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